राजस्थानः कर्मचारियों को दिवाली बोनस, वेतन कटौती अब स्वैच्छिक, मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने दी सौगात

By धीरेंद्र जैन | Published: November 9, 2020 09:26 PM2020-11-09T21:26:58+5:302020-11-09T21:28:08+5:30

मुख्यमंत्री की ओर से किए गए निर्णय के अनुसार कर्मचारियों को बोनस का 25 प्रतिशत हिस्सा नकद देय होगा तथा 75 प्रतिशत राशि कर्मचारी के सामान्य प्रावधायी निधि खाते (जीपीएफ) में जमा करवाई जाएगी।

Rajasthan jaipur Diwali bonus employees salary cut now voluntary Chief Minister Ashok Gehlot gift | राजस्थानः कर्मचारियों को दिवाली बोनस, वेतन कटौती अब स्वैच्छिक, मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने दी सौगात

अधिकारियों-कर्मचारियों के 29 संगठनों ने सरकार को संक्रमण रोकने और पीड़ितों की सहायतार्थ वेतन से कटौती का अनुरोध किया था।

Highlights नियुक्त कर्मचारियों को देय तदर्थ बोनस राज्य सरकार द्वारा एक पृथक योजना तैयार कर उसमें जमा कराया जाएगा। करीब 7.30 लाख से अधिक कर्मचारियों को तदर्थ बोनस दिए जाने से राजकोष पर करीब 500 करोड़ रुपये का वित्तीय भार आना संभावित है।बाढ़, भूकम्प, अतिवृष्टि एवं भू-स्खलन जैसी आपदाओं के समय कर्मचारियों ने आगे बढ़कर स्वेच्छा से वेतन कटौती करवाकर योगदान दिया है।

जयपुरः राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कोविड-19 महामारी से उपजी विकट स्थितियों के बावजूद कर्मचारियों के हित में दीपावली के अवसर पर बोनस दिए जाने का निर्णय लिया है।

 

साथ ही, उन्होंने कुछ कर्मचारी साथियों की ओर से वेतन कटौती समाप्त करने की मांग को दृष्टिगत रखते हुए कोविड-19 के बेहतर प्रबंधन के लिए हर माह की जा रही वेतन कटौती को भी आगे से स्वैच्छिक किए जाने का महत्वपूर्ण फैसला किया है। मुख्यमंत्री की ओर से किए गए निर्णय के अनुसार कर्मचारियों को बोनस का 25 प्रतिशत हिस्सा नकद देय होगा तथा 75 प्रतिशत राशि कर्मचारी के सामान्य प्रावधायी निधि खाते (जीपीएफ) में जमा करवाई जाएगी।

इसी प्रकार, एक जनवरी 2004 एवं इसके बाद नियुक्त कर्मचारियों को देय तदर्थ बोनस राज्य सरकार द्वारा एक पृथक योजना तैयार कर उसमें जमा कराया जाएगा। उल्लेखनीय है कि राज्य के करीब 7.30 लाख से अधिक कर्मचारियों को तदर्थ बोनस दिए जाने से राजकोष पर करीब 500 करोड़ रुपये का वित्तीय भार आना संभावित है। उन्होंने कहा कि पूर्व में अकाल, बाढ़, भूकम्प, अतिवृष्टि एवं भू-स्खलन जैसी आपदाओं के समय कर्मचारियों ने आगे बढ़कर स्वेच्छा से वेतन कटौती करवाकर योगदान दिया है।

मार्च में कोविड-19 का प्रकोप सामने आने पर अधिकारियों-कर्मचारियों के 29 संगठनों ने सरकार को संक्रमण रोकने और पीड़ितों की सहायतार्थ वेतन से कटौती का अनुरोध किया था। बाद में मुख्य सचिव और एसीएस (वित्त) के साथ 20 अगस्त, 2020 को विभिन्न कर्मचारी संगठनों की बैठक में भी वेतन कटौती पर सहमति बनी थी, लेकिन कुछ कर्मचारी साथियों के वेतन कटौती समाप्त करने के अनुरोध पर आगे से यह कटौती स्वैच्छिक किए जाने का निर्णय लिया है।

वेतन कटौती से प्राप्त राशि का उपयोग कोविड-19 से प्रभावित जरूरतमंदों की सहायता, कोरोना प्रबंधन तथा वित्तीय संसाधनों को सुदृढ़ करने में किया जा रहा है। राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा योजना से बाहर रहे लगभग 55.47 लाख जरूरतमंद एवं गरीब परिवारों को 10 किलो गेहूं प्रति व्यक्ति और दो किलो चना प्रति परिवार निःशुल्क वितरण किया है।

इसी तरह, सामाजिक सुरक्षा योजनाओं से वंचित गरीबों, निर्माण श्रमिकों, असहाय, रिक्शा चालक, स्ट्रीट वेण्डर आदि विभिन्न श्रेणी के 32.27 लाख परिवारों को प्रति परिवार 3500 रुपये के हिसाब से कुल 1144.39 करोड़ रुपये की नकद सहायता दी गई।मुख्यमंत्री ने कहा कि विषम आर्थिक चुनौतियों के बावजूद राज्य सरकार इस महामारी से मुकाबले एवं जरूरतमंदों की सहायता के लिए संसाधनों में किसी तरह की कमी नहीं रखेगी। 

जयपुर में आतिशबाजी की दुकानों को सील करने के निर्देश, पुलिस ने शुरू की कार्रवाई

राजस्थान में सरकार ने पटाखों से निकलने वाले विषैले धुएं से कोविड-19 संक्रमित रोगियों और स्वास्थ्य की रक्षा के लिए पूरे प्रदेश में पटाखों की बिक्री, आतिशबाजी पर रोक लगाई है। मुख्यमंत्री के निर्देशों के बाद गृह विभाग ने भी पटाखे बेचने और चलाने पर जुर्माना लगाने के लिए अधिसूचना जारी कर दी है। लेकिन, इसके बावजूद शहर में कई जगह चोरी छिपे पटाखों की बिक्री हो रही है।

ऐसे में जयपुर पुलिस कमिश्नर आनंद श्रीवास्तव के निर्देशों के बाद पुलिस ने सोमवार को शहर के बाजारों मे जयपुर की सभी पटाखों की दुकानों को सील करने की कार्रवाई शुरू कर दी। दुकानें सील करने के बाद एक नोटिस भी दुकानों के शटर पर चस्पा किया जा रहा है। इस संबंध में शहर के सभी थाना इलाकों में थानाधिकारियों को अपने इलाके में पटाखे की दुकानें सील करने के निर्देश दिए गए हैं।

अतिरिक्त पुलिस कमिश्नर राहुल प्रकाश के मुताबिक कोई चोरी छिपे पटाखे बेचता है तो उस पर 10 हजार रुपए का जुर्माना किया जाएगा। वहीं, पटाखे जलाने और खरीदने पर 2 हजार रुपए का जुर्माना किया जाएगा। उन्होंने कहा कि शहर में पुलिस पूरी तरह पटाखों और आतिशबाजी की बिक्री और चलाने पर रोक को लेकर सख्ती दिखा रही है। पटाखों का अवैध भंडारण करने पर भी पुलिस पटाखों को जब्त कर सख्त कार्रवाई करेगी। 

सरकार और गुर्जरों में हुई वार्ता विफल

राजस्थान में गुर्जर आरक्षण सहित अन्य मांगों को लेकर पिछले नौ दिनों से गुर्जर आन्दोलन जारी है। गुर्जरों को मनाने के लिए गहलोत सरकार द्वारा गुर्जर समाज के प्रतिनिधियों से की गई वार्ता विफल हो गई। एक ओर सरकार कह रही है कि समाज की मानने योग्य सात मांगों को मान लिया गया है वहीं दूसरी ओर गुर्जर समाज कुछ अन्य मांगों को लेकर हाइवे और रेलवे ट्रैक पर जमा हुआ है। गुर्जर आरक्षण समिति के संयोजक कर्नल किरोड़ी सिंह बैंसला ने आज से प्रदेश भर में चक्काजाम करने की चेतावनी दी है जिसके बाद से प्रदेश में पुलिस और प्रशासन अलर्ट मोड पर आ गए है।

पुलिस प्रशासन की ओर से गुर्जर बाहुल्य करौली, भरतपुर, सवाई माधोपुर दौसा आदि 8 जिलों में इंटरनेट सेवाएं बंद कर दी गई हैं। वहीं गुर्जर आन्दोलन के प्रतिनिधियों द्वारा आन्दोलन को सफल बनाने के लिए करौली, भरतपुर, सवाई माधोपुर के अनेक गांवों और कस्बों में पीले चावल बांटे गए। गुर्जर समाज की ओर से सवाई माधोपुर स्थित कुशाली दर्रा के गुर्जर शहीद स्थल से आज गुर्जरों ने चक्काजाम शुरू किया।

वहीं पुलिस की ओर से पूरी तैयारियां कर ली गई है। 8 जिलों से इंटरनेट सेवाएं बंद कर दी है वहीं गुर्जर बहुल करौली, भरतपुर, सवाई माधोपुर और दौसा सहित अन्य जिलों में आरएसी की 20 बटालियनों को गुर्जरों के चक्काजाम को देखते हुए तैनात किया गया है।

Web Title: Rajasthan jaipur Diwali bonus employees salary cut now voluntary Chief Minister Ashok Gehlot gift

भारत से जुड़ीहिंदी खबरोंऔर देश दुनिया खबरोंके लिए यहाँ क्लिक करे.यूट्यूब चैनल यहाँ इब करें और देखें हमारा एक्सक्लूसिव वीडियो कंटेंट. सोशल से जुड़ने के लिए हमारा Facebook Pageलाइक करे