राजस्थान: कल से फिर गुर्जर आरक्षण आंदोलन, करौली में धारा 144 लागू, कई जिलों में इंटरनेट सेवा बंद, अतिरिक्त पुलिस बल तैनात
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: October 31, 2020 03:01 PM2020-10-31T15:01:40+5:302020-10-31T15:01:40+5:30
भरतपुर, धौलपुर, सवाई माधोपुर, दौसा, टोंक, बूंदी और झालावाड़ जिलों में राष्ट्रीय सुरक्षा कानून के तहत रखा गया है। गुर्जर नेता कर्नल किरोड़ी सिंह बैंसला ने हिंडौन में संवाददाताओं से बातचीत में समाज के लोगों से एक नवंबर को पीलूपुरा (बयाना) पहुंचने को कहा।
जयपुरः राजस्थान में गुर्जर आरक्षण संघर्ष समिति ने अपनी विभिन्न मांगों को लेकर एक नवंबर से फिर आंदोलन करने की घोषणा की। इस बीच, आंदोलन को देखते हुए कई जिलों में मोबाइल इंटरनेट सेवा बंद कर दी गयी है और वहां अतिरिक्त पुलिस बल भेजा जा रहा है।
भरतपुर, धौलपुर, सवाई माधोपुर, दौसा, टोंक, बूंदी और झालावाड़ जिलों में राष्ट्रीय सुरक्षा कानून के तहत रखा गया है। गुर्जर नेता कर्नल किरोड़ी सिंह बैंसला ने हिंडौन में संवाददाताओं से बातचीत में समाज के लोगों से एक नवंबर को पीलूपुरा (बयाना) पहुंचने को कहा।
बैंसला ने कहा,‘‘एक तारीख से पीलूपुरा में आंदोलन का आगाज होगा क्योंकि सरकार पिछले दो साल से हमारी मांगें मान नहीं रही है। पिछले तीन महीने से तो हम रोज इनको कहते आ रहे हैं लेकिन इनके कान पर जूं नहीं रेंग रहीं तो हमारे पास और कोई विकल्प बचा ही नहीं।’’ माना जा रहा है कि आंदोलन से निपटने के लिए गृह विभाग गुर्जर बाहुल्य जिलों के कलेक्टर की मांग पर रासुका लगा सकती है।
आपको बता दें कि रासुका के जरिए पुलिस की पकड़ में आए प्रदर्शनकारियों को अधिकतम एक साल जेल में रखा जा सकता है। एक जानकारी यह भी आ रही है कि भरतपुर कलेक्टर ने प्रमुख गृह सचिव को रासुका लगाने के लिए एक पत्र ईमेल के जरिए भेजा भी है।
Rajasthan: Bharatpur, Dholpur, Sawai Madhopur, Dausa, Tonk, Bundi and Jhalawar districts placed under National Security Act, ahead of November 1 Gurjar protest
— ANI (@ANI) October 31, 2020
उन्होंने कहा कि राज्य सरकार गुर्जर आरक्षण को नौंवी अनुसूची में शामिल करवाए, बैकलॉग भरे तथा प्रक्रियाधीन भर्ती में अति पिछड़ा वर्ग (एमबीसी) को पांच प्रतिशत आरक्षण का लाभ दे। उल्लेखनीय है कि समिति ने 17 अक्टूबर को को बयाना में महापंचायत की और उनकी आरक्षण संबंधी मागों को मानने के लिए राज्य सरकार को एक नवंबर तक का समय दिया था।
इसके बाद इस बृहस्पतिवार को मंत्रीमण्डलीय समिति की बैठक हुई जिसने गुर्जर आरक्षण संघर्ष समिति की तीन प्रमुख मांगों पर सकारात्मक फैसला किया। इस बीच गुर्जरों के प्रस्तावित आंदोलन को लेकर करौली, अलवर, दौसा, बूंदी, सवाई माधोपुर व भरतपुर आदि जिलों में प्रशासन चौकस हो गया है।
अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (कानून व्यवस्था) सौरभ श्रीवास्तव ने कहा,‘‘करौली, भरतपुर, जयपुर व सवाई माधोपुर में मोबाइल इंटरनेट सेवाएं स्थगित की गयी हैं। किसी भी हालात से निपटने के लिए रेपिड एक्शन फोर्स सहित अतिरिक्त सुरक्षाबल लगाया जा रहा है।’’ आंदोलन को लेकर जयपुर में पुलिस प्रशासन की उच्च स्तरीय बैठक हुई । सम्बद्ध जिलों में उच्च अधिकारियों के साथ अतिरिक्त सुरक्षाबल भेजा जा रहा है।