राजस्थान कांग्रेसः अपने मंत्रियों के खिलाफ कई विधायक, कहा- सुनते नहीं, अजय माकन ने विधायकों से ली रायशुमारी
By सतीश कुमार सिंह | Published: July 29, 2021 05:05 PM2021-07-29T17:05:37+5:302021-07-29T17:06:45+5:30
हजारों की संख्या में राजनीतिक नियुक्तियों की सुगबुगाहट के बीच ने कांग्रेस व समर्थक विधायकों से चर्चा का काम बृहस्पतिवार को दूसरे दिन भी जारी रखा।
जयपुरः राजस्थान में अशोक गहलोत मंत्रिमंडल में फेरबदल जल्द होने की उम्मीद है। इस बीच कांग्रेस महासचिव व पार्टी के राजस्थान प्रभारी अजय माकन जयपुर पहुंचे। पहले दिन वह 66 विधायकों से मिले। आज उनका 52 विधायकों से मिलने का कार्यक्रम है।
कांग्रेस महासचिव अजय माकन ने जयपुर में विधानसभा में कांग्रेस विधायकों के साथ आमने-सामने बातचीत की कवायद शुरू की। इस बातचीत में कई विधायक नाखुश दिखे। अपने मंत्री के खिलाफ जमकर बोले। कुछ विधायकों ने कहा कि यही हाल रहा तो पार्टी 2023 विधानसभा चुनाव हार जाएगी।
विधायकों ने कहा कि मंत्री हमें सुनते ही नहीं। कई एमएलए ने शिक्षा मंत्री शिक्षा मंत्री गोविंद सिंह डोटासरा, यूडीएच मंत्री शांति धारीवाल, ऊर्जा मंत्री बीडी कल्ला और चिकित्सा मंत्री रघु शर्मा की। कल्ला और शर्मा न तो मिलते हैं या न ही काम कराते हैं। विधायकों ने माकन से कहा कि शांति धारीवाल तो जयपुर के प्रभारी भी हैं। जीरो कहा।
विधानसभा में उप मुख्य सचेतक महेंद्र चौधरी ने विधानसभा भवन के बाहर संवाददाताओं को बताया,' माकन ने कल 66 विधायकों से संवाद किया। आज 52 विधायकों से चर्चा करेंगे।' चौधरी ने इस चर्चा को कांग्रेस की राज्य में संगठन को मजबूत करने की कवायद बताते हुए कहा कि आगामी विधानसभा चुनाव में राज्य में फिर कांग्रेस की सरकार कैसे बने और राजनीतिक नियुक्तियां जैसे मुद्दों पर संवाद हो रहा है। इस दो दिन के कार्यक्रम के तहत माकन यहां विधानसभा भवन में कांग्रेस व समर्थक विधायकों से एक एक कर मिल रहे हैं।
वे प्रस्तावित मंत्रिमंडल फेरबदल व पार्टी के संगठन में जिला व ब्लॉक स्तर की नियुक्तियों के लिए उनकी राय रहे हैं। बृहस्पतिवार का उनका 20 जिलों के 52 विधायकों से मिलने का कार्यक्रम है। जिन जिलों के विधायक माकन से मिलेंगे उनमें अजमेर, नागौर, भीलवाडा, बाड़मेर, जोधपुर, जैसलमेर, हनुमानगढ़, गंगानगर व बीकानेर शामिल है।
माकन से मिलने के बाद चिकित्सा व स्वास्थ्य मंत्री डा. रघु शर्मा ने कहा, 'कांग्रेस पार्टी में फीडबैक लेना कोई नई बात नहीं। पहले से चला आ रहा है। यह नई बात नहीं बल्कि अच्छी बात है। कांग्रेस को जिन चीजों से मजबूती मिले अगर आम विधायक की राय पार्टी आलाकमान तक पहुंचे तो इसेस अच्छी बात क्या होगी।' वहीं मुख्य सचेतक महेश जोशी ने कहा,'पाट्री इस तरह के फीडबैक लेती रहती है यह परंपरा है। जिसके मन में जो बात है कहेगा और हालाकमान के सामने अपनी बात रखने का हक है। यह स्वाभाविक प्रक्रिया है।'
विधायक रामनिवास गावड़िया ने मीडिया से कहा,'जिन वर्गों ने जिन लोगों ने अपना खून पसीना बहाकर सरकार बनाई उनको प्रतिनिधित्व मिलना चाहिए।' उन्होंने कहा कि जिन मंत्रियों को लेकर शिकायत थी उनको लेकर भी बात रखी। उल्लेखनीय है कि राज्य की अशोक गहलोत सरकार दिसंबर 2018 में सत्ता में आई और अपना लगभग आधा कार्यकाल पूरा कर चुकी है। राजस्थान की 200 सदस्यों वाली विधानसभा में कांग्रेस के 106 विधायक हैं। इसके अलावा 13 निर्दलीय विधायकों का उसे समर्थन प्राप्त है।