'भारत जोड़ो यात्रा' में प्रियंका गांधी पहली बार हुईं शामिल, पति रॉबर्ट वाड्रा और बेटे रेहान भी राहुल के साथ कदमताल करते आए नजर
By भाषा | Published: November 24, 2022 09:24 AM2022-11-24T09:24:56+5:302022-11-24T09:28:37+5:30
कांग्रेस की 'भारत जोड़ो यात्रा' अभी मध्य प्रदेश में है। इस दौरान पहली बार गुरुवार को प्रियंका गांधी इस यात्रा में शामिल हुईं। रॉबर्ट वाड्रा और बेटे रेहान भी इस यात्रा का हिस्सा बने।
बोरगांव (मध्य प्रदेश): कांग्रेस के उत्तर प्रदेश मामलों की प्रभारी महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी की अगुवाई वाली ‘भारत जोड़ो यात्रा’ में अपने पति और बेटे के साथ गुरुवार को पहली बार शामिल हुईं। मध्य प्रदेश में इस यात्रा के दूसरे दिन राहुल ने खंडवा जिले के बोरगांव से पैदल चलना प्रारंभ किया। यात्रा में प्रियंका के साथ उनके पति रॉबर्ट वाड्रा और बेटे रेहान भी पैदल चलते दिखाई दिए।
राहुल जब पदयात्रा पर निकलते हैं तो सड़क के दोनों ओर पुलिस कर्मी उनकी सुरक्षा के लिए रस्सियों का सुरक्षा घेरा बनाकर साथ चलते हैं। प्रियंका के यात्रा में शामिल होने के बाद कांग्रेस के उत्साहित कार्यकर्ता भाई-बहन के समर्थन में नारेबाजी करते हुए उनके करीब आने की बार-बार कोशिश करते दिखाई दिए। उन्हें सुरक्षित घेरे से दूर करने के लिए पुलिस कर्मियों को अतिरिक्त मशक्कत करनी पड़ी।
Congress general secretary Priyanka Gandhi Vadra and her husband Robert Vadra joined Bharat Jodo Yatra today for the first time since the Yatra started. Their son Raihan Vadra has also joined the Yatra.
— ANI (@ANI) November 24, 2022
(Pics: AICC) pic.twitter.com/oDGqTwsvqO
सचिन पायलट भी हुए भारत जोड़ो यात्रा में शामिल
बहरहाल, सूर्योदय के बाद जब बोरगांव से यात्रा ने मध्य प्रदेश में अपने दूसरे दिन में प्रवेश किया तो पहले दिन के मुकाबले भीड़ कम नजर आई, लेकिन दिन चढ़ने के साथ ही इसमें लोगों और गाड़ियों का काफिला बढ़ता गया। इस बीच, राजस्थान के पूर्व उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट भी यात्रा में राहुल और प्रियंका के साथ कदमताल करते दिखाई दिए।
गौरतलब है कि राहुल नीत ‘भारत जोड़ो यात्रा’ मध्य प्रदेश में 380 किलोमीटर का फासला तय करने के बाद चार दिसंबर को राजस्थान में प्रवेश करेगी। पायलट पड़ोसी मध्य प्रदेश में ऐसे समय में यात्रा में शामिल हुए, जब यात्रा के राजस्थान पहुंचने से पहले इस कांग्रेस शासित राज्य में नेतृत्व में बदलाव की मांग एक फिर जोर पकड़ने लगी है। पूर्व उप मुख्यमंत्री के समर्थकों ने मुख्यमंत्री पद के लिए उनके नाम को लेकर दबाव बनाना शुरू कर दिया है।