नड्डा का विपक्ष पर तंज, रस्सी जल गई पर बल नहीं गया, कभी कभी अहंकार विवेक पर पर्दा डाल देता है
By भाषा | Published: June 24, 2019 06:42 PM2019-06-24T18:42:42+5:302019-06-24T18:42:42+5:30
भाजपा नेता ने कहा ‘‘सदन में हम सहमत या असहमत हों, लेकिन हमें केवल असहमति के लिए ही असहमत नहीं होना चाहिए। मैं अपील करता हूं। हमें आप सबके सहयोग की जरूरत है। पहले भी सदन में कई बार व्यवधान हुआ है। इसका (व्यवधान का) सर्वाधिक प्रभाव विपक्ष पर पड़ता है।’’
भाजपा के कार्यकारी अध्यक्ष जगत प्रकाश नड्डा ने सदन को सुचारू रूप से चलाने के लिए विपक्ष का सहयोग मांगते हुए राज्यसभा में सोमवार को कहा कि व्यवधान का सबसे अधिक प्रभाव उन पर (विपक्ष पर) ही पड़ता है।
उच्च सदन में धन्यवाद प्रस्ताव पेश करते हुए भाजपा के कार्यकारी अध्यक्ष नड्डा ने विपक्षी दलों को इस बात पर विचार करने का परामर्श भी दिया कि क्या उनका रास्ता सही है। उन्होंने कहा कि सरकार न केवल सबका साथ, सबका विकास चाहती है बल्कि वह सबका विश्वास भी चाहती है।
भाजपा नेता ने कहा ‘‘सदन में हम सहमत या असहमत हों, लेकिन हमें केवल असहमति के लिए ही असहमत नहीं होना चाहिए। मैं अपील करता हूं। हमें आप सबके सहयोग की जरूरत है। पहले भी सदन में कई बार व्यवधान हुआ है। इसका (व्यवधान का) सर्वाधिक प्रभाव विपक्ष पर पड़ता है।’’
उन्होंने कहा कि हम आपकी असहमति का सम्मान करते हैं लेकिन विरोध महज विरोध के लिए नहीं होना चाहिए। नड्डा ने सदन में आए दिन होने वाले हंगामे की ओर संकेत करते हुए कहा ‘‘अवरोध कभी ताकत नहीं हो सकता।’’
नड्डा ने विपक्ष को उनके रास्ते पर विचार करने को कहा। उन्होंने कहा कि हमने अपने रास्ते पर भी विचार किया है और चुनाव में ‘‘जनता ने हमें भारी बहुमत से जिता कर यह साबित कर दिया है कि हमारा रास्ता सही है।’’
भाजपा नेता ने किसी का नाम लिए बिना कहा ‘‘कभी कभी अहंकार विवेक पर पर्दा डाल देता है।’’ उन्होंने यह भी कहा कि कुछ बातें देख कर ऐसा लगता है कि ‘‘रस्सी जल गई पर बल नहीं गया।’’ उन्होंने दावा किया कि मौजूदा भाजपा सरकार ने किसानों, महिलाओं, गरीबों, युवाओं के प्रति मानवीय दृष्टिकोण अपनाते हुए उन्हें सशक्त बना कर मुख्यधारा में लाने के उपाय किए हैं।
राष्ट्रपति अभिभाषण में इन्हीं उपायों की चर्चा की गई है। भाजपा नेता ने कहा कि विपक्ष में रहते हुए उन्हें सर्वश्रेष्ठ सांसद का अवार्ड मिला था। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को विभिन्न अंतरराष्ट्रीय अवार्ड दिए जाने का जिक्र करते हुए कहा ‘‘ये सभी अवार्ड भारत के लिए हैं। अब भारत केवल दर्शक नहीं है बल्कि वह अंतरराष्ट्रीय परिदृश्य की एक ताकत भी है।’’