महाराष्ट्र विधानसभा सचिव ने शिवसेना के 53 विधायकों को कारण बताओ नोटिस जारी किया, जानें आखिर क्या है कारण
By सतीश कुमार सिंह | Published: July 10, 2022 05:02 PM2022-07-10T17:02:14+5:302022-07-10T17:04:05+5:30
महाराष्ट्र विधानसभा सचिव ने कुल 55 शिवसेना विधायकों में से 53 को कारण बताओ नोटिस जारी किया है। इनमें से 39 विधायक एकनाथ शिंदे के खेमे के और 14 विधायक उद्धव ठाकरे नीत गुट के हैं।
मुंबईः महाराष्ट्र विधानमंडल सचिव राजेंद्र भागवत ने नोटिस जारी किया है। भागवत ने कहा किदोनों पक्षों की शिकायत मिलने पर शिवसेना के दोनों धड़ों के 53 विधायकों को कारण बताओ नोटिस जारी किया है। सभी को एक सप्ताह के भीतर जवाब देना है।
शिवसेना के 53 विधायकों को कारण बताओ नोटिस के बारे में पूछे जाने पर महाराष्ट्र विधानमंडल सचिव राजेंद्र भागवत ने कहा, "जब भी हमें कोई आवेदन मिलता है, तो हमें उस पर कार्रवाई करनी होती है, इसलिए प्रत्येक विधायक को नोटिस जारी किया गया है जिसके खिलाफ आवेदन किया गया था।"
Maharashtra Legislature Secretary Rajendra Bhagwat, on being asked about the show-cause notices to 53 Shiv Sena MLAs said, "Whenever we get any application, we have to act on it, so notices have been issued to each MLA against whom there was an application."
— ANI (@ANI) July 10, 2022
ठाकरे खेमे के 14 विधायकों में से एक संतोष बांगर चार जुलाई को सरकार के शक्ति परीक्षण के दिन शिंदे खेमे में शामिल हो गए थे। दोनों पक्षों के विधायकों ने कारण बताओ नोटिस मिलने की पुष्टि की। दोनों पक्षों ने एक-दूसरे पर क्रमश: तीन और चार जुलाई को विधानसभा अध्यक्ष के चुनाव और विश्वास प्रस्ताव पर मतदान के दौरान पार्टी व्हिप की अवहेलना करने का आरोप लगाते हुए दोनों पक्षों के विधायकों को अयोग्य घोषित करने की मांग की है।
शिंदे खेमे ने उन विधायकों की सूची में पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के बेटे आदित्य ठाकरे का नाम शामिल नहीं किया है, जिन्हें उन्होंने अयोग्य ठहराने की मांग की है। नोटिस महाराष्ट्र विधानसभा के सदस्य (दल-बदल के आधार पर अयोग्यता) नियमों के तहत जारी किए गए हैं। सूत्रों ने बताया कि विधायकों को सात दिन के भीतर अपना पक्ष स्पष्ट करने को कहा गया है।
राज्य की 288 सदस्यीय विधानसभा में शिवसेना के 55 विधायक हैं। शिवसेना के एक विधायक की मृत्यु के कारण सदन के सदस्यों की मौजूदा संख्या 287 है। शक्ति परीक्षण के दौरान 164 विधायकों ने विश्वास प्रस्ताव के पक्ष में मतदान किया था, जबकि 99 ने इसके खिलाफ मतदान किया था।
चार जुलाई को राज्य विधानसभा में विश्वास मत हासिल करने के बाद एकनाथ शिंदे के खेमे ने उद्धव ठाकरे गुट के 14 विधायकों को शिवसेना के व्हिप और शिंदे के वफादार भरत गोगावले द्वारा जारी किए गए व्हिप का उल्लंघन करने के लिए नोटिस जारी किया था।
विश्वास प्रस्ताव पर मतदान से एक दिन पहले महाराष्ट्र विधानसभा अध्यक्ष राहुल नार्वेकर ने ठाकरे खेमे से जुड़े सुनील प्रभु के स्थान पर गोगावले को शिवसेना के मुख्य सचेतक के रूप में मान्यता दी थी। तीन जुलाई को भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के राहुल नार्वेकर महाराष्ट्र विधानसभा के अध्यक्ष चुने गए थे। विधानसभा अध्यक्ष के चुनाव में नार्वेकर उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाले शिवसेना गुट के उम्मीदवार राजन साल्वी को हराया था। नार्वेकर को 164 मत मिले थे, जबकि साल्वी को 107 वोट मिले थे।
(इनपुट एजेंसी)