अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरि को दी गई भू समाधि, यूपी सीएम योगी सहित कई मंत्री पहुंचे
By सतीश कुमार सिंह | Published: September 22, 2021 05:50 PM2021-09-22T17:50:10+5:302021-09-22T17:51:25+5:30
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य, खादी एवं ग्रामोद्योग मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह, नागरिक उड्डयन मंत्री नंद गोपाल गुप्ता नंदी और अखाड़ों के संतों ने दिवंगत महंत को श्रद्धा सुमन अर्पित किया।
प्रयागराजः अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद (ABAP) के अध्यक्ष और श्रीमठ बाघंबरी गद्दी के महंत नरेंद्र गिरि को प्रयागराज के बाघंबरी मठ में 'भू समाधि' प्रदान की गई। महंत नरेंद्र गिरि सोमवार शाम को मठ स्थित अपने कमरे में मृत पाए गए थे।
पुलिस के मुताबिक प्रथम दृष्टया यह आत्महत्या का मामला लग रहा है। पुलिस ने बताया कि महंत के सुसाइड नोट में शिष्य आनंद गिरि का नाम है। उसे हिरासत में ले लिया गया है। इस बीच, स्वरूप रानी नेहरू मेडिकल कॉलेज में सुबह शव का पोस्टमार्टम किया गया।
पोस्टमार्टम के बाद उनके पार्थिव शरीर को संगम में स्नान अनुष्ठान के लिए ले जाया गया। इसके बाद इसे हनुमान मंदिर और फिर अल्लाहपुर के मठ में लाया गया। बुधवार दोपहर करीब तीन बजे उनके मठ में पूर्ण विधि विधान से भू समाधि दी गई। महंत नरेंद्र गिरि ने सोमवार को अपने मठ में कथित तौर पर आत्महत्या कर ली थी।
Prayagraj: Mortal remains of Mahant Narendra Giri taken to Swaroop Rani Nehru Medical College for post-mortem pic.twitter.com/9joefIyRaQ
— ANI UP (@ANINewsUP) September 22, 2021
मंगलवार को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य, खादी एवं ग्रामोद्योग मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह, नागरिक उड्डयन मंत्री नंद गोपाल गुप्ता नंदी और अखाड़ों के संतों ने दिवंगत महंत को श्रद्धा सुमन अर्पित किया। बुधवार सुबह महंत के शव का पोस्टमॉर्टम हुआ। जिसके बाद उनके पार्थिव शरीर को श्रीमठ बाघंबरी गद्दी लाया गया। यहां से उसे अंतिम स्नान के लिए संगम ले जाया गया।
अंतत: अपराह्न करीब तीन बजे महंत नरेंद्र गिरि को उनकी इच्छा के मुताबिक नींबू के पेड़ के नीचे समाधि दी गई। महंत नरेंद्र गिरि को समाधि दिए जाने के बाद निरंजनी अखाड़ा के आचार्य महामंडलेश्वर कैलाशानंद जी महाराज ने बताया, “आज महंत नरेंद्र गिरि को भू समाधि दी गई। संन्यास परंपरा के तहत मैंने उनके कान में दीक्षा दी। अंतिम समय में पारस मंत्र उनको दी गई। आनंद अखाड़े के हमारे आचार्य बालकानंद गिरि जी महाराज सहित अन्य साधु संतों ने महंत नरेंद्र गिरि को भू समाधि दी।”