मौसम का हालः बाढ़ और बारिश से 19 मरे, कई दिनों के बाद सूरज निकलने से लोगों ने राहत ली

By शिवअनुराग पटैरया | Published: September 1, 2020 04:24 PM2020-09-01T16:24:48+5:302020-09-01T16:24:48+5:30

राज्य सरकार द्वारा बाढ़ प्रभावितों क्षेत्रोें  में राहत कार्य तेजी से प्रारंभ हो गए है. प्रदेश भर में भारी बरसात के थमने के बाद नर्मदा समेत राज्य के प्रमुख नदियों, चंबल, कैन, बेतवा, तवा में पानी का प्रवाह कम हो रहा है.

Madhya Pradesh bhopal Weather conditions 19 died floods and rain after several days people got relief sun | मौसम का हालः बाढ़ और बारिश से 19 मरे, कई दिनों के बाद सूरज निकलने से लोगों ने राहत ली

कृषि मंत्री कमल पटेल ने ट्रेक्टर पर बैठकर हरदा में बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों और फसलों के खराब होंने का आकलन किया. (file photo)

Highlightsभोपाल में बरसात थमी रही. कई दिनों के बाद सूरज निकलने से लोगों ने राहत ली.राज्य भर में राहत कार्य तेजी से प्रारंभ हो गए हैं. इसके साथ ही बड़ी मात्रा में फसलों के खराब होने की स्थिति पैदा हो गई है. बाढ़ से उपजे हालातों के आकलन के लिए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने देवास, हरदा और सीहोर का दौरा किया.

भोपालः मध्य प्रदेश में भारी बरसात का दौर थम गया है. आज राजधानी भोपाल में बरसात थमी रही. कई दिनों के बाद सूरज निकलने से लोगों ने राहत ली.

वही बाढ़ प्रभावितों क्षेत्रों में फसलों के खराब होंने का खतरा बढ़ गया है. इसके साथ ही राज्य सरकार द्वारा बाढ़ प्रभावितों क्षेत्रोें  में राहत कार्य तेजी से प्रारंभ हो गए है. प्रदेश भर में भारी बरसात के थमने के बाद नर्मदा समेत राज्य के प्रमुख नदियों, चंबल, कैन, बेतवा, तवा में पानी का प्रवाह कम हो रहा है.

भारी बरसात थमने के बाद राज्य भर में राहत कार्य तेजी से प्रारंभ हो गए हैं. इसके साथ ही बड़ी मात्रा में फसलों के खराब होने की स्थिति पैदा हो गई है. खासतौर पर सोयाबीन की फसलों के खराब होने का संकट काफी ज्यादा है.

बाढ़ से उपजे हालातों के आकलन के लिए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने देवास, हरदा और सीहोर का दौरा किया. वहीं कृषि मंत्री कमल पटेल ने ट्रेक्टर पर बैठकर हरदा में बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों और फसलों के खराब होंने का आकलन किया.

नर्मदा घाटी में भारी वर्षा ने फसलों के साथ-साथ सड़कों, मकानों और पुलों को भी भारी नुकसान पहुंचाया. बाढ़ के कारण राज्य के  13 जिलों बालाघाट, भोपाल, सागर, छिंदवाड़ा, देवास, सीहोर, होशंगाबाद, मंडला, सिवनी, बैतूल, नरसिंहपुर, रायसेन और विदिशा में 10 लाख हैक्टेयर में फसलों को नुकसान पहुंचा है.

इसमें 7 लाख हैक्टेयर में तो सिर्फ सोयाबीन है. भारी वर्षा से प्रदेश में 19 हजार 600 घर आंशिक और पूरी तौर पर बर्बाद हुए है. बाढ़Þ डूबने और मकान के गिरने से 19 लोगों की मौत हो चुकी है. राज्य सरकार ने प्रारंभिक आंकलन करा लिया है.

बड़े बांध भरे:

28 बड़े बांध में से 22  बांध पूरी तौर पर भर चुके है.  भोपाल संभाग के भी सभी 8 बांध भर चुके है. पिछले 24 घंटों के दौरान प्रदेश के इंदौर एवं उज्जैन संभागों के जिलों में कुछ स्थानों पर होशंगाबाद, भोपाल, चंबल तथा जबलपुर संभागों के जिलों में कहीं-कहीं वर्षा दर्ज की गई व शेष संभागों के जिलों का मौसम मुख्यत: शुष्क रहा.

बीते 24 घंटोंं में राज्य के  खंडवा में 9, धार में 4.8, इंदौर में 2.8, रतलाम में 3, छिंदवाड़ा में 1, उज्जैन में 0.6 मिली मीटर वर्षा दर्ज की गई. मौसम विभाग ने आगामी 24 घंटों में भोपाल, होशंगाबाद, इंदौर, उज्जैन एवं रीवा संभागों के जिलों में व उमरिया, डिंडोरी, मंडला एवं बालाघाट जिलों में कहीं-कहीं वर्षा या गरज चमक के साथ बौछारे पड़ सकती है.

Web Title: Madhya Pradesh bhopal Weather conditions 19 died floods and rain after several days people got relief sun

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