लोकसभा चुनाव 2019: सलमान खुर्शीद को ‘मोदी फैक्टर’ और गठबंधन से मिल रही है कड़ी चुनौती!

By भाषा | Published: April 28, 2019 05:18 PM2019-04-28T17:18:53+5:302019-04-28T17:19:51+5:30

संप्रग सरकार में विदेश, कानून और अल्पसंख्यक मामलों के मंत्रालय को संभालने वाले पूर्व केंद्रीय मंत्री खुर्शीद के विरोधी भले ही कोई राजनीतिक दिग्गज न हों, लेकिन इस सीट पर भाजपा के मौजूदा सांसद मुकेश राजपूत और बसपा के मनोज अग्रवाल से उन्हें कड़ी टक्कर मिल रही है।

lok sabha election 2019: Salman Khursheed is facing tough challenge to Modi Factor | लोकसभा चुनाव 2019: सलमान खुर्शीद को ‘मोदी फैक्टर’ और गठबंधन से मिल रही है कड़ी चुनौती!

लोकसभा चुनाव 2019: सलमान खुर्शीद को ‘मोदी फैक्टर’ और गठबंधन से मिल रही है कड़ी चुनौती!

Highlightsमुसलमान इस निर्वाचन क्षेत्र में 14 प्रतिशत से कुछ ही अधिक हैं।फर्रुखाबाद संसदीय सीट पर इस बार त्रिकोणीय मुकाबला देखने को मिल रहे हैं।

फर्रुखाबाद संसदीय सीट पर इस बार त्रिकोणीय मुकाबला देखने को मिल रहे हैं। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सलमान खुर्शीद अपने पारंपरिक निर्वाचन क्षेत्र फर्रुखाबाद से चुनावी दंगल जीतने के लिए अपना पूरा दमखम लगा रहे हैं, जहाँ उन्हें ‘‘मोदी फैक्टर’’ पर काबू पाने और भाजपा-विरोधी वोट को अपने पक्ष में करने की चुनौती है। उन्हें सपा-बसपा-रालोद गठबंधन से मजबूत टक्कर मिल रही है।

इस सीट को फतह करने के लिए उन्होंने अपनी पूरी ताकत झोंक दी है। संप्रग सरकार में विदेश, कानून और अल्पसंख्यक मामलों के मंत्रालय को संभालने वाले पूर्व केंद्रीय मंत्री खुर्शीद के विरोधी भले ही कोई राजनीतिक दिग्गज न हों, लेकिन इस सीट पर भाजपा के मौजूदा सांसद मुकेश राजपूत और बसपा के मनोज अग्रवाल से उन्हें कड़ी टक्कर मिल रही है।

यहां किसी एक जाति, धर्म या सामाजिक समूह का दबदबा नहीं है। मुसलमान इस निर्वाचन क्षेत्र में 14 प्रतिशत से कुछ ही अधिक हैं। यादवों के साथ मिलकर वह इस लोकसभा सीट के उम्मीदवारों के भाग्य का फैसला कर सकते हैं। उत्तर प्रदेश की कई अन्य सीटों की तरह मुसलमानों के सामने यहाँ भी उसी तरह की दुविधा है।

उनके सामने सवाल है कि वह कांग्रेस के मुस्लिम उम्मीदवार को वोट दें या यूपी के सपा-बसपा-रालोद गठबन्धन के उम्मीदवार को वोट दें। मुस्लिम वोटों के बंट जाने से भाजपा को फायदा होगा। उनके एकमुश्त वोट पड़ने से खुर्शीद या अग्रवाल के लिए फायदेमंद होगा। लोध और दलित भी काफी संख्या में हैं और चुनाव परिणाम पर गहरा प्रभाव डालने की स्थिति में हैं।

2014 लोकसभा चुनाव में मुकेश राजपूत ने सपा उम्मीदवार रामेश्वर सिंह यादव को 1.5 लाख मतों से हराया था। राजपूत को चार लाख से ज्यादा मत मिले थे। बसपा तीसरे स्थान पर रही थी जबकि खुर्शीद चौथे स्थान पर रहे थे। लोकसभा चुनाव के चौथे चरण के तहत सोमवार को फर्रुखाबाद में मतदान होंगे। 

Web Title: lok sabha election 2019: Salman Khursheed is facing tough challenge to Modi Factor