चुनाव में कालेधन का इस्तेमाल करने वालों के खिलाफ कठोर कदम उठायें जांच एजेंसियां: EC

By भाषा | Published: April 10, 2019 04:34 AM2019-04-10T04:34:15+5:302019-04-10T04:35:03+5:30

आयकर विभाग मध्य प्रदेश के अलावा कर्नाटक, तमिलनाडु और आंध्र प्रदेश में भी विभिन्न नेताओं तथा उनके करीबी सहयोगियों के प्रतिष्ठानों एवं आवास पर कथित तौर पर अवैध रूप से एकत्र की गयी संपत्ति और धनराशि की तलाशी के लिये छापेमारी कर चुका है।

Lok sabha election 2019: EC said to Investigation Agencies Take tough steps against those who use black money in electionsLok sabha election 2019: EC said to Investigation Agencies Take tough steps against who use black money in elections | चुनाव में कालेधन का इस्तेमाल करने वालों के खिलाफ कठोर कदम उठायें जांच एजेंसियां: EC

चुनाव में कालेधन का इस्तेमाल करने वालों के खिलाफ कठोर कदम उठायें जांच एजेंसियां: EC

चुनाव आयोग ने राजस्व विभाग के तहत आने वाली सभी जांच एजेंसियों को निर्देश दिया है कि चुनाव प्रक्रिया को दूषित करने के लिए कालेधन और अन्य अवैध तरीकों का इस्तेमाल करने वालों के खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाये।

सूत्रों के अनुसार आयोग ने आयकर विभाग की पिछले दो दिनों से जारी छापेमारी को कांग्रेस द्वारा सत्तारूढ़ भाजपा के उकसावे पर की गयी कार्रवाई बताये जाने संबंधी आरोपों पर संज्ञान लेते हुय राजस्व सचिव और केन्द्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) के अध्यक्ष को मंगलवार को आयोग में बुलाकर विस्तृत जानकारी मांगी थी।

आयोग ने दोनों अधिकारियों से छापेमारी की अब तक की कार्रवाई का विस्तृत ब्योरा बुधवार तक देने को कहा है। इस सिलसिले में राजस्व सचिव ए बी पांडे और सीबीडीटी के अध्यक्ष पी सी मोदी ने मुख्य चुनाव आयुक्त सुनील अरोड़ा और चुनाव आयुक्त अशोक लवासा तथा सुशील चंद्रा से मुलाकात कर छापेमारी की कार्रवाई के बारे में जानकारी दी। सूत्रों के अनुसार दोनों अधिकारियों ने बताया कि चुनाव में कालेधन के इस्तेमाल संबंधी खुफिया सूचनाओं के आधार पर यह कार्रवाई की गयी। यह आगे भी जारी रहेगी।

आयोग ने चुनाव प्रक्रिया में अवैध संसाधनों और कालेधन का इस्तेमाल करने की किसी भी कोशिश के खिलाफ वित्तीय एजेंसियों को सख्त कार्रवाई करने का निर्देश दिया। उल्लेखनीय है कि कांग्रेस ने आयोग से की गयी अपनी शिकायत में सीबीडीटी और आयकर विभाग सहित अन्य वित्तीय जांच एजेंसियों की छापेमारी की कार्रवाई को राजनीति से प्रेरित बताया है। पार्टी का आरोप है कि आयकर विभाग की छापेमारी, चुनाव के दौरान सत्तारूढ़ भाजपा द्वारा जांच एजेंसियों के दुरुपयोग का नतीजा है।

इससे पहले रविवार को मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ के करीबी सहयोगियों के ठिकानों पर छापेमारी की कार्रवाई के बाद भी आयोग ने वित्त मंत्रालय को इस बारे में सख्त परामर्श जारी किया था। इसमें आयोग ने मंत्रालय को उसकी जांच एजेंसियों की चुनाव के दौरान कोई भी कार्रवाई ‘निष्पक्ष’ और ‘भेदभाव रहित’ होने का निर्देश दिया था। साथ ही आयोग ने आदर्श आचार संहिता का हवाला देते हुये इस तरह की कार्रवाई से पहले आयोग से भी संपर्क करने को कहा था।

आयकर विभाग मध्य प्रदेश के अलावा कर्नाटक, तमिलनाडु और आंध्र प्रदेश में भी विभिन्न नेताओं तथा उनके करीबी सहयोगियों के प्रतिष्ठानों एवं आवास पर कथित तौर पर अवैध रूप से एकत्र की गयी संपत्ति और धनराशि की तलाशी के लिये छापेमारी कर चुका है। दस मार्च से आदर्श आचार संहिता लागू किये जाने के बाद आयकर विभाग की छापेमारी में आई तेजी को देखते हुये आयोग ने इस पर संज्ञान लिया है। आयकर विभाग ने सोमवार को खुलासा किया कि कमलनाथ के सहयोगियों के ठिकानों पर की गयी छापेमारी में अवैध रूप से एकत्र की गयी 281 करोड़ रुपये नकदी बरामद की गयी। इसके अलावा सीबीडीटी ने भी एक प्रमुख राजनीतिक दल के दिल्ली स्थित मुख्यालय पर एक वरिष्ठ राजनेता के तुगलक रोड स्थित आवास से 20 करोड़ रुपये भेजे जाने की सूचना पर कार्रवाई किये जाने की जानकारी दी है। 

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