यूनिफॉर्म सिविल कोड पर भाजपा के विचार को सरकार के रुख के रूप में लिया जाना चाहिए: किरेन रिजिजू
By अनिल शर्मा | Published: July 27, 2022 10:08 AM2022-07-27T10:08:43+5:302022-07-27T10:19:07+5:30
पिछले हफ्ते लोकसभा में एक लिखित जवाब में कानून मंत्री ने कहा था कि यूनिफॉर्म सिविल कोड को लागू करने पर कोई फैसला नहीं हुआ है क्योंकि मामला विचाराधीन है।
नई दिल्लीः केंद्रीय कानून मंत्री किरेन रिजिजू ने मंगलवार को कहा कि समान नागरिक संहिता ( यूनिफॉर्म सिविल कोड) पर भाजपा का दृष्टिकोण स्पष्ट है और इसे सरकार का भी विचार माना जाना चाहिए।
कानून मंत्री का यह बयान लोकसभा में उस वक्त आया जब फैमिली कोर्ट्स अमेंडमेंट बिल पर बहस चल रही थी। विपक्ष ने इसका विरोध किया और कहा कि एक पार्टी का रुख सरकार का नहीं हो सकता जिसपर रिजिजू ने जवाब दिया कि यही एक पार्टी है जो सरकार बनाती है।
पिछले हफ्ते लोकसभा में एक लिखित जवाब में कानून मंत्री ने कहा था कि यूनिफॉर्म सिविल कोड को लागू करने पर कोई फैसला नहीं हुआ है क्योंकि मामला विचाराधीन है। मंगलवार को उन्होंने कहा, यूनिफॉर्म सिविल कोड के बारे में, आप जानते हैं कि हमारी सरकार की इस पर क्या सोच है। हम चाहते हैं कि इसको लेकर हमारी पार्टी की जो विचारधारा इसे देश की विचारधारा के रूप में लिया जाना चाहिए।
लोकसभा ने मंगलवार को हिमाचल प्रदेश और नागालैंड में पारिवारिक न्यायालयों को वैधानिक कवर देने के लिए एक विधेयक पारित किया। रिजिजू ने कहा कि वह सभी राज्य सरकारों से हर जिले में एक परिवार स्थापित करने का अनुरोध करेंगे। उन्होंने कहा, लंबित मामलों के लिए सरकार या न्यायपालिका को दोष देना अनुचित है, हालांकि यह चिंता का विषय है कि संख्या बढ़ रही है।
कानून मंत्री ने कहा कि "लोग सवाल करते हैं कि सरकार क्या कर रही है, कानून मंत्री क्या कर रहे हैं। मुझे दुख होता है। लंबित मामलों जैसे गंभीर मुद्दों को उठाते हुए, लोगों को पहले विवरण में जाना चाहिए। न्यायाधीश कड़ी मेहनत करते हैं ... ऐसे न्यायाधीश हैं जिन्होंने एक दिन में सैकड़ों मामलों को सुलझाया है... वे सुबह 9 बजे से रात 9 बजे तक काम करते हैं। रिजिजू ने कहा कि मामलों के लंबित रहने का कारण कुछ और है।