दिल्ली में केजरीवाल सरकार का ऐलान, शहर के निजी अस्पतालों के 20 प्रतिशत बिस्तर कोरोना मरीजों के लिए आरक्षित होंगे
By भाषा | Published: May 25, 2020 04:39 AM2020-05-25T04:39:26+5:302020-05-25T04:39:26+5:30
दिल्ली के इन प्राइवेट अस्पतालों में कोरोना मरीजों के लिए अधिकृत कुल 631 में से 507 बेड पर कोई ना कोई मरीज अभी भर्ती है।
नयी दिल्ली: दिल्ली सरकार ने 50 या उससे अधिक बिस्तरों वाले सभी निजी अस्पतालों और नर्सिंग होम को निर्देश दिया है कि वे अपनी कुल क्षमता के 20 प्रतिशत बिस्तर कोविड-19 मरीजों के इलाज के लिए सुरक्षित रखें। दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येन्द्र जैन ने रविवार को ट्वीट किया, ‘‘दिल्ली सरकार को कोविड-19 मरीजों के लिए सुरक्षित बिस्तरों की संख्या बढ़ाना महत्वपूर्ण लगा।’’
मंत्री ने कहा, ‘‘इसलिए, 50 या उससे अधिक बिस्तरों वाले सभी 117 निजी अस्पतालों/नर्सिंग होम को अपने कुल बिस्तरों में से 20 प्रतिशत को कोविड-19 मरीजों के लिए आरक्षित रखना होगा।’’
दरअसल, राजधानी दिल्ली में कोरोना के मामले लगातार तेजी से बढ़ रहे हैं। सरकारी अस्पतालों के अलावा राजधानी के प्राइवेट अस्पतालों में भी मरीजों का इलाज चल रहा है। बढ़ते मरीजों की संख्या की वजह से अस्पतालों पर लगातार दबाव बढ़ रहा है। कोरोना के मरीजों का इलाज कर रहे शहर के 8 प्राइवेट अस्पतालों के 80 फीसदी बेड फिलहाल इस्तेमाल किए जा रहे हैं।
दिल्ली के इन प्राइवेट अस्पतालों में कोरोना मरीजों के लिए अधिकृत कुल 631 में से 507 बेड पर कोई ना कोई मरीज अभी भर्ती है। अपोलो (सरिता विहार), मैक्स (साकेत), फोर्टिस (शालीमार बाग), सर गंगाराम सिटी और सर गंगाराम कोलमेट (पूसा रोड) जैसे बड़े अस्पतालों कोरोना मरीजों से लगभग पूरी तरह भर चुके हैं। अपोलो अस्पताल के एक सीनियर डॉक्टर ने बताया कि उनके यहां 80 बेड कोरोना मरीजों के लिए हैं, इनमें से कोई भी बेड फिलहाल खाली नहीं है। डॉक्टर ने आगे बताया, 'हमारे यहां संदिग्धों के लिए भी कुछ अतिरिक्त बेड तैयार किए गए हैं, वहां भी 1-2 लोग कोरोना पॉजिटिव मिले हैं।