हैदराबाद: PM Modi टेस्ट करेंगे करीमनगर की मशहूर शेफ डी यदम्मा के हाथों से बना 25-30 तेलंगाना भोजन, ये खाने होंगे मेनू में शामिल
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: June 30, 2022 12:41 PM2022-06-30T12:41:48+5:302022-07-01T16:33:57+5:30
आपको बता दें कि पीएम मोदी दो और तीन जुलाई को आयोजित होने वाली भाजपा की दो दिवसीय राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में भाग लेंगे। इस दौरान उन्हें रीमनगर की जी यदम्मा की बनाई हुई भोजन परोसी जाएगी।
हैदराबाद: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हैदराबाद में दो और तीन जुलाई को आयोजित होने वाली भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की दो दिवसीय राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में भाग लेंगे। इस दौरान उन्हें तेलंगाना के विभिन्न प्रकार के व्यंजन परोसे जाने की उम्मीद है। इसके लिए खास तैयारी की जा रही है।
रीमनगर की डी यदम्मा बनाएंगी पीएम मोदी के लिए भोजन
राज्य के भाजपा नेताओं ने बैठक में हिस्सा लेने वाले अति-विशिष्ट लोगों के भोजन की व्यवस्था करने के लिए करीमनगर की डी यदम्मा को चुना है। उन्हें यहां हैदराबाद अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन केंद्र (एचआईसीसी) में आयोजित होने वाली बैठक में नेताओं के लिए भोजन की व्यवस्था करने की जिम्मेदारी सौंपी गई है। यदम्मा ने कहा कि उन्होंने अपने जीवन में कभी नहीं सोचा था कि वह देश के प्रधानमंत्री के लिए भोजन बनाएंगी।
क्या कहा रीमनगर की डी यदम्मा ने
इस बात से खुस यदम्मा ने कहा, ‘‘मैं इस पर विश्वास नहीं कर पा रही हूं। मुझे बहुत खुशी है कि मोदी सर मेरे द्वारा तैयार किए गए भोजन का स्वाद लेने जा रहे हैं। मैं यह सुनिश्चित करूंगी कि मोदी सर हमारे तेलंगाना के व्यंजनों को पसंद करें।’’
1 जुलाई को ही यदम्मा को होटल चले जाना होगा
यदम्मा ने कहा कि उन्हें तीन जुलाई को भोजन बनाने के लिए कहा गया है, जिसके लिए उन्हें एक जुलाई को होटल में आना होगा। इस पर बोलते हुए यदम्मा के बेटे जी वेंकटेश्वर ने कहा कि उनकी मां को भाजपा की तेलंगाना इकाई के प्रमुख बंदी संजय कुमार ने कहा था कि मोदी यहां अपने प्रवास के दौरान तेलंगाना के कुछ व्यंजनों का स्वाद लेना चाहेंगे। इसलिए उनकी मां को इसके लिए चुना जा रहा है।
25-30 भोजन तैयार करेंगी यदम्मा
यदम्मा गंगावेल्ली-ममिदकाया पाप्पू, मुड्डा पाप्पू, सर्व पिंडी, सक्किनाल, बेंदाकाया फ्राई, बूरेलु और बेलम परमानम (मिठाई) जैसे तेलंगाना के लगभग 25-30 व्यंजन तैयार करेंगी। आपको बता दें कि यदम्मा पिछले तीन दशक से तेलंगाना के पारंपरिक व्यंजनों को बनाने के व्यवसाय से जुड़ी हुईं हैं, जिसमें उनके बेटे जी वेंकटेश्वर उनकी मदद करते हैं।