महबूबा मुफ़्ती के बयान पर रविशंकर प्रसाद ने उठाए सवाल, 370 अब बहाल नहीं होगा, क्यों शांत हैं सेक्युलर लॉबी के लोग
By सतीश कुमार सिंह | Published: October 24, 2020 07:55 PM2020-10-24T19:55:07+5:302020-10-24T21:03:28+5:30
केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा कि भारत के तिरंगे का जिस तरह से अपमान किया गया उसकी हम भर्त्सना करते हैं। तिरंगा देश का झंडा है, J&K भारत का अविभाज्य अंग। बता दें 370 अब बहाल नहीं होगा। एक देश में दो निशान और दो प्रधान अब नहीं चलेंगे कि यहां भी झंडा होगा वहां भी झंडा होगा।
नई दिल्लीः महबूबा मुफ़्ती के बयान पर रविशंकर प्रसाद ने विपक्ष पर कड़ा हमला किया है। हालांकि कांग्रेस सहित कई दलों ने इसकी निंदा की है। सभी ने कहा कि पीडीपी प्रमुख को ऐसा नहीं बोलना चाहिए।
केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा कि भारत के तिरंगे का जिस तरह से अपमान किया गया उसकी हम भर्त्सना करते हैं। तिरंगा देश का झंडा है, J&K भारत का अविभाज्य अंग। बता दें 370 अब बहाल नहीं होगा। एक देश में दो निशान और दो प्रधान अब नहीं चलेंगे कि यहां भी झंडा होगा वहां भी झंडा होगा।
आश्चर्य है कि तथाकथित सेक्युलर लॉबी के लोग इस मामले पर क्यों शांत हैं। जो देश में कुछ भी हो रोज भाजपा के खिलाफ झंडा लेकर खड़ा हो जाते हैं, वो महबूबा जी के इतने बड़े राष्ट्रविरोधी वक्तव्य पर भी खामोश हैं। ये दिखाता है कि उनका दोहरा चरित्र और दोहरे मानदंड क्या है।
देश में कुछ भी होने पर आए दिन भाजपा के खिलाफ झंडा लेकर खड़ा हो जाने वाले लोग महबूबा मुफ्ती के इतने बड़े राष्ट्रविरोधी बयान पर खामोश हैं। यह इन लोगों के दोहरे मानदंड को दिखाता है। महबूबा मुफ्ती का यह कहना तिरंगे की पवित्रता का अपमान है कि वह तब तक तिरंगा नहीं थामेंगी, जब तक कश्मीर का झंडा दोबारा बहाल नहीं किया जाता। अनुच्छेद 370 दोबारा लागू नहीं होगा, उसे निरस्त करना राष्ट्र के लिए हमारी प्रतिबद्धता थी और लोगों ने इसका स्वागत किया है।
How Mehbooba Mufti insulted national flag, there can be nothing more objectionable. J&K is India's inseparable part. Art. 370 abrogation was constitutional process. We condemn her remark but why's so-called secular lobby silent at this anti-national remark?: Union Min RS Prasad https://t.co/h2XZzrHnNGpic.twitter.com/rcJjVwugtk
— ANI (@ANI) October 24, 2020
भाजपा ने पीडीपी अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती पर भारतीय ध्वज का ‘‘अनादर’’ करने का आरोप लगाते हुए शनिवार को इस बात पर जोर दिया कि अनुच्छेद 370 के अधिकतर प्रावधान संवैधानिक तरीके से समाप्त किये गए थे और इसे बहाल नहीं किया जाएगा। भाजपा के वरिष्ठ नेता एवं केंद्रीय कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा कि महबूबा मुफ्ती की यह टिप्पणी राष्ट्रीय ध्वज की शुचिता का ‘‘घोर अपमान’’ है कि जब तक कश्मीर का ध्वज बहाल नहीं हो जाता, तब तक वह तिरंगा नहीं उठाएंगी।
चुनाव लड़ने या राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा उठाने में कोई दिलचस्पी नहीं
जम्मू कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने शुक्रवार को कहा था कि उन्हें तब तक चुनाव लड़ने या राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा उठाने में कोई दिलचस्पी नहीं है जब तक पिछले साल पांच अगस्त को लागू किए गए संवैधानिक बदलाव वापस नहीं लिये जाते। उन्होंने कहा था कि वह तिरंगे को तभी उठाएंगी जब तत्कालीन राज्य के अलग ध्वज को बहाल कर दिया जाएगा। प्रसाद ने इस बात पर जोर दिया कि अनुच्छेद 370 पूर्ववर्ती राज्य को एक विशेष दर्जा प्रदान करता था और इसे पिछले वर्ष समाप्त कर दिया गया था।
कहा कि इसे अब बहाल नहीं किया जाएगा। उन्होंने कहा कि इसे एक उचित संवैधानिक प्रक्रिया के तहत समाप्त किया गया और संसद के दोनों सदनों ने इसे अच्छी संख्या बल से मंजूरी दी थी। कानून मंत्री ने कहा कि इसे समाप्त करना देश के प्रति हमारी प्रतिबद्धता थी और लोगों ने इसकी प्रशंसा की। उन्होंने कहा कि मुफ्ती ने कई तरीकों से उस भारत की छवि का घोर अनादर किया है जिसका प्रतिनिधित्व तिरंगा करता है।
मंत्री ने अन्य विपक्षी दलों पर भी निशाना साधा और कहा कि उन्होंने राष्ट्रीय ध्वज के प्रति गंभीर अनादर दिखाने वाली , महबूबा की टिप्पणी पर चुप्पी साध रखी है जबकि वे ‘‘मामूली मुद्दों’’ पर भी भाजपा की आलोचना करते हैं। प्रसाद ने कहा, ‘‘यह पाखंड और दोहरा मापदंड है।’’
उन्होंने दावा किया कि अनुच्छेद 370 के अधिकतर प्रावधान समाप्त किये जाने से केंद्र शासित प्रदेश में विकास को बढ़ावा मिला है और समाज के कमजोर वर्ग जैसे अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, अन्य पिछड़ा वर्ग और महिलाओं को वही अधिकार प्राप्त हो रहे हैं जो उन्हें देश के बाकी हिस्सों में मिलते हैं। कानून मंत्री ने कहा कि जम्मू कश्मीर में लोगों ने खुशी-खुशी स्थानीय चुनावों में हिस्सा लिया। उन्होंने कहा, ‘‘कुछ लोगों और परिवारों को दिक्कतें होंगी जो बिना किसी जवाबदेही के शासन करते थे।’’