जम्मू-कश्मीर में संचार व्यवस्था पर प्रतिबंध सहित नेताओं को हिरासत मे लिये जाने संबंधी सभी आदेश पेश करे सरकार: सुप्रीम कोर्ट

By भाषा | Published: October 16, 2019 12:51 PM2019-10-16T12:51:30+5:302019-10-16T12:51:30+5:30

जम्मू-कश्मीर प्रशासन की ओर से पेश सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि जम्मू-कश्मीर में संचार पर लगाए गए प्रतिबंधों संबंधी परिस्थितियों में बदलाव आया है और वह इस मामले में ताजा जानकारी देते हुए एक शपथपत्र दायर करेंगे

Jammu and Kashmir Supreme Court asks Centre to place orders relating to restriction, shutdown and detention | जम्मू-कश्मीर में संचार व्यवस्था पर प्रतिबंध सहित नेताओं को हिरासत मे लिये जाने संबंधी सभी आदेश पेश करे सरकार: सुप्रीम कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट ने जम्मू-कश्मीर में प्रतिबंध से जुड़े सभी आदेश पेश करने को कहा है (फाइल फोटो)

Highlightsसुप्रीम कोर्ट ने जम्मू-कश्मीर में प्रतिबंध संबंधी आदेश सरकार को पेश करने को कहाजम्मू-कश्मीर से आर्टिकल 370 हटाने के बाद संचार सहित कई प्रतिबंध राज्य में लगाये गये थे

सुप्रीम कोर्ट ने जम्मू-कश्मीर प्रशासन से बुधवार को कहा कि वह उन आदेशों को पेश करे जिनके आधार पर राज्य में संचार व्यवस्था पर प्रतिबंध लगाए गए। जम्मू-कश्मीर को विशेष राज्य का दर्जा देने वाले संविधान के अनुच्छेद 370 के अधिकतर प्रावधानों को निरस्त करने के बाद राज्य में ये प्रतिबंध लगाए गए थे।

जम्मू-कश्मीर में आवाजाही पर प्रतिबंध और संचार बाधित होने के मामले संबंधी याचिका पर सुनवाई कर रही शीर्ष अदालत ने राज्य प्रशासन से सवाल किया कि उसने संचार व्यवस्था पर प्रतिबंध लगाने संबंधी आदेश एवं अधिसूचनाएं उसके सामने पेश क्यों नहीं कीं। 

जम्मू-कश्मीर प्रशासन की ओर से पेश सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने न्यायमूर्ति एन वी रमण की अध्यक्षता वाली पीठ से कहा कि वह इन प्रतिबंधों से संबंधित प्रशासनिक आदेश केवल पीठ के अध्ययन के लिए शीर्ष अदालत में पेश करेंगे। 

पीठ के अन्य सदस्यों में न्यायमूर्ति आर सुभाष रेड्डी और न्यायमूर्ति बी आर गवई शामिल हैं। मेहता ने पीठ ने कहा, 'हम उन्हें सुप्रीम कोर्ट के सामने पेश करेंगे। राष्ट्रहित में लिए गए प्रशासनिक फैसलों की अपील पर कोई नहीं बैठ सकता। केवल न्यायालय ही इसे देख सकती है और याचिकाकर्ता निश्चित ही इसे नहीं देख सकते।' 

मेहता ने पीठ को बताया कि जम्मू-कश्मीर में संचार पर लगाए गए प्रतिबंधों संबंधी परिस्थितियों में बदलाव आया है और वह इस मामले में ताजा जानकारी देते हुए एक शपथपत्र दायर करेंगे। पीठ ने जब घाटी में मोबाइल सेवाएं बहाल होने की मीडिया रिपोर्टों का जिक्र किया तो एक याचिकाकर्ता के वकील ने कहा कि केवल पोस्टपेड मोबाइल चल रहे हैं लेकिन प्राधिकारियों ने मंगलवार को एसएमएस सेवाएं रोक दी थीं।

Web Title: Jammu and Kashmir Supreme Court asks Centre to place orders relating to restriction, shutdown and detention

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