विधानसभा चुनाव परिणाम ने खोली योगी आदित्यनाथ की पोल, 2019 में ले डूबेंगे पीएम मोदी की नाव?

By जनार्दन पाण्डेय | Published: December 11, 2018 02:24 PM2018-12-11T14:24:09+5:302018-12-11T16:05:03+5:30

Vidhan Sabha Chunav 2018: योगी आदित्यनाथ छत्तीसगढ़ में चुनाव प्रचार की जिम्मेदारी ले रखी थी। छत्तीसगढ़ सीएम जब राजनंदगांव में अपनी सीट पर नामांकन करने निकले थे तो उन्होंने योगी आदित्यनाथ का पैर छूकर उनकी आरती उतारकर आगे बढ़े थे।

Is Yogi Adityanath the key factor behind the huge lose in MP-CG and Rajasthan | विधानसभा चुनाव परिणाम ने खोली योगी आदित्यनाथ की पोल, 2019 में ले डूबेंगे पीएम मोदी की नाव?

फाइल फोटो

Highlightsयोगी आदित्यनाथ ने इस साल हुए त्रिपुरा विधानसभा चुनावों में प्रचार किया था।योगी आदित्यनाथ के उत्तर प्रदेश में सीएम बनने के बाद अपनी लोकसभा सीट उपचुनाव में बहुजन समाज पार्टी और समाजवादी पार्टी के सामने गंवानी पड़ी।

उत्तर प्रदेश में मुख्यमंत्री की कमान संभालते ही योगी आदित्यानाथ को भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) में उन्हें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विकल्प के तौर देखा जाने लगा था। इसकी गवाही चुनावों के दौरान उनके ताबड़तोड़ सभाएं देती हैं।

लेकिन तथ्य उनके खिलाफ हैं। योगी आदित्यनाथ बीजेपी के लिए लाभकारी साबित नहीं हो पा रहे हैं। 11 दिसंबर को हुई मतगणना में एक बार फिर यह साबित हुआ कि योगी आदित्यनाथ ने जिन-जिन राज्यों में बीजेपी के लिए ज्यादा प्रचार किया, बीजेपी वहां उतनी ही करारी हार का शिकार हुई।

उल्लेखनीय है कि इन चुनावों में योगी आदित्यनाथ छत्तीसगढ़ में चुनाव प्रचार की जिम्मेदारी ले रखी थी। छत्तीसगढ़ सीएम जब राजनंदगांव में अपनी सीट पर नामांकन करने निकले थे तो उन्होंने योगी आदित्यनाथ का पैर छूकर उनकी आरती उतारकर आगे बढ़े थे।

इसके बाद से योगी आदित्यनाथ ने प्रदेश में जमकर प्रचार किया। लेकिन ज्यादातर उन सीटों पर बीजेपी को हार का सामना करना पड़ा जहां योगी आदित्यनाथ ने प्रचार की कमान संभाली थी। छत्तीसगढ़ की 90 सीटों में बीजेपी 23 सीटों के इर्द-गिर्द सिमटती नजर आ रही है।

इसी तरह राजस्‍थान में योगी आदित्यनाथ को स्टार प्रचारक बनाया गया था। लेकिन वहां भी इसका कोई फायदा बीजेपी को नहीं मिला। राजस्‍थान में भी बीजेपी 199 सीटों में से महज 72 सीटों पर सिमटती नजर आ रही है।

कर्नाटक में कराई थी किरकिरी

कर्नाटक में जब यूपी सीएम योगी आदित्यनाथ चुनाव प्रचार कर रहे थे तब यूपी में लोग तूफान से हताहत होकर अस्पतालों में दम तोड़ रहे थे। कांग्रेस के सीएम रहे सिद्धारमैया इसके लिए उन्हें लताड़ा था। बाद में उन्हें प्रचार बीच में छोड़कर लौटना पड़ा था। वहां भी योगी ‌आदित्यनाथ के प्रचार वाली सीटों पर बीजपी को हार का सामना पड़ा था।

यूपी नहीं बचा पाए थे नाक

योगी आदित्यनाथ के उत्तर प्रदेश में सीएम बनने के बाद अपनी लोकसभा सीट उपचुनाव में बहुजन समाज पार्टी और समाजवादी पार्टी के सामने गंवानी पड़ी। गोरखपुर और फूलपुर सीटों पर बीजेपी की हार से ही पतन का दौर शुरू हुआ।

गुजरात-त्रिपुरा में रहे थे स्टार प्रचारक

योगी आदित्यनाथ ने इस साल हुए त्रिपुरा विधानसभा चुनावों में प्रचार किया था। लेकिन बीजेपी के जीत के चलते वहां उनके प्रदर्शन का ज्यादा मुआयना नहीं किया गया। इसी तरह जब योगी गुजरात में प्रचार के लिए उतरे तो बीजेपी की सीटें कम हो गईं।

लोकसभा चुनाव 2019 में क्या होगी भूमिका

योगी आदित्यनाथ को अभी तक किसी भी चुनाव के लिए बीजेपी ने किसी तरह की सीधी जिम्मेदारी नहीं दी है। बड़े शातिर अंदाज में वे अचानक चुनाव के समय सीधे उस राज्य में पहुंच जाते हैं जहां चुनाव होते हैं। ‌इसके बाद हार-जीत का श्रेय लेने नहीं आते।

लेकिन तथ्य अब ये कह रहे हैं अगर योगी आदित्यनाथ को इसी तरह चुनाव में प्रमुख चेहरे पर तौर पर पेश किया गया तो बीजेपी को इसका नुकसान होगा। यह सर्वविदित है कि देश में अगला चुनाव 2019 में है। ऐसे में पीएम मोदी की नाव पर योगी का ग्रहण लग सकता है।

English summary :
Uttar Pradesh Chief Minister Yogi Adityanath was seen as an alternative choice of Prime Minister Narendra Modi in Bharatiya Janata Party (BJP). His back to back Election campaigns during Vidhan Sabha Chunav 2018 prove the same. But the Chhattisgarh, Rajasthan and Madhya Pradesh assembly Elections figure doesn't support this fact and it seems that Yogi Adityanath is not beneficial for BJP.


Web Title: Is Yogi Adityanath the key factor behind the huge lose in MP-CG and Rajasthan