India-China Border Dispute: भारत-चीन सीमा घटना के बाद संघर्ष के नियमों में बदलाव पर विचार कर रही सेना
By स्वाति सिंह | Published: June 17, 2020 06:32 PM2020-06-17T18:32:59+5:302020-06-17T18:32:59+5:30
भारत-चीन सीमा पर सोमवार रात को हुई हिंसक झड़प पर भारत ने चीन को कड़ा जवाब दिया है। चीन के विदेश मंत्री वांग यी ने विदेश मंत्री एस जयशंकर से फोन पर बात की और इस दौरान उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि दोनों पक्षों को सीमावर्ती क्षेत्र में अमन-चैन बनाये रखने के लिहाज से मतभेदों को सुलझाने के लिए संचार और समन्वय मजबूत करना चाहिए।
नई दिल्ली: भारत-चीन सीमा पर सोमवार को हुई हिंसक झड़प में 20 भारतीय सैनिकों के जान गंवाने के बाद सेना संघर्ष के दशकों पुराने नियमों में बदलाव पर विचार कर रही है। गौरतलब है कि पूर्वी लद्दाख की गलवान घाटी में सोमवार रात चीनी सैनिकों के साथ हिंसक झड़प में भारतीय सेना के एक कर्नल सहित 20 सैनिक शहीद हो गए। चीनी पक्ष के जवान भी ‘‘उसी अनुपात में हताहत’’ हुए हैं, लेकिन उन्हें स्पष्ट रूप से यह जानकारी नहीं है कि झड़प में कितने जवान हताहत हुए हैं।
NDTV ने सूत्रों के हवाले से छपी एक रिपोर्ट में बताया कि गलवान नदी में सोमवार रात की घातक झड़प के बाद सेना कथित रूप से इसकी समीक्षा कर रही है। सूत्रों ने कहा कि चीनी सैनिकों द्वारा भारतीय कर्नल बीएल संतोष बाबू को निशाना बनाने के बाद एक शारीरिक संघर्ष छिड़ गया और दोनों पक्षों के बीच डंडों, पत्थरों और रॉड का जमकर इस्तेमाल हुआ।
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा- देश सैनिकों की बहादुरी कभी नहीं भूलेगा
पूर्वी लद्दाख के गलवान घाटी में चीनी सैनिकों के साथ झड़प में भारतीय सैनिकों की शहादत की कल आई खबरों के बाद पहली बार सरकार की ओर से प्रतिक्रिया सामने आई है। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने इस घटना को बेहद पीड़ादायक और दुख देने वाला बताया। साथ ही राजनाथ सिंह ने कहा कि देश सैनिकों की बहादुरी और त्याग को कभी भी नहीं भूलेगा।
न्यूज एजेंसी एएनआई के अनुसार राजनाथ सिंह ने कहा, 'गलवान में सैनिकों की जान जाना बेहद पीड़ादायक और दुख देने वाली घटना है। हमारे सैनिकों ने ड्यूटी पर बहुत बहादुरी दुखाई और भारतीय सेना के उच्च परंपरा के तहत अपना जीवन बलिदान कर दिया।'
राजनाथ सिंह ने साथ ही कहा, 'राष्ट्र इन सैनिकों की बहादुरी और त्याग को कभी नहीं भूलेगा। मेरी संवेदना शहीदों के परिवार के साथ है। देश उनकी इस मुश्किल घड़ी में कंधा से कंधा मिलाकर उनके साथ खड़ा है। भारत को अपने इन बहादूर सपूतों पर गर्व है।'
भारतीय सेना के 20 जवान शहीद
बता दें कि पूर्वी लद्दाख में सोमवार रात गलवान घाटी में चीनी सैनिकों के साथ हिंसक झड़प में भारतीय सेना के एक कर्नल सहित 20 सैनिक शहीद हो गए । पिछले पांच दशक से भी ज्यादा समय में सबसे बड़े सैन्य टकराव के कारण क्षेत्र में सीमा पर पहले से जारी गतिरोध और भड़क गया है।
सेना ने शुरू में मंगलवार को कहा कि एक अधिकारी और दो सैनिक शहीद हुए । लेकिन, देर शाम बयान में कहा गया कि 17 अन्य सैनिक 'जो अत्यधिक ऊंचाई पर शून्य से नीचे तापमान में गतिरोध के स्थान पर ड्यूटी के दौरान गंभीर रूप से घायल हो गए थे, उन्होंने दम तोड़ दिया है। इससे शहीद हुए सैनिकों की संख्या बढ़कर 20 हो गई है।'
चीन का जवानों के हताहत होने पर टिप्पणी से किया इनकार
वहीं, भारत सरकार ने कहा है कि भारतीय सैनिकों की तरफ से पलटवार में चीन के 43 सैनिकों की मौत हुई है और घायल हुए हैं। हालांकि चीन ने पूर्वी लद्दाख की गलवान घाटी में चीनी और भारतीय सेना के बीच हुई हिंसक झड़प के बाद बुधवार को दावा किया कि घाटी पर ‘‘हमेशा से उसी की’’ सम्प्रभुता रही है, लेकिन उसने इस बात को रेखांकित किया कि बीजिंग ‘‘और झड़पें’’ नहीं चाहता है। भारत ने मंगलवार को कहा था कि पूर्वी लद्दाख में भारत और चीन की सेनाओं के बीच हिंसक झड़प क्षेत्र में ‘‘यथास्थिति को एकतरफा तरीके से बदलने के चीनी पक्ष के प्रयास’’ के कारण हुई। विदेश मंत्रालय ने कहा कि पूर्व में शीर्ष स्तर पर जो सहमति बनी थी, अगर चीनी पक्ष ने गंभीरता से उसका पालन किया होता, तो दोनों पक्षों को हुए नुकसान से बचा जा सकता था। चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता झाओ लिजियान ने एक संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘‘गलवान घाटी पर हमेशा से चीन की ही सम्प्रभुता रही है।’’