राजधानी में धर्मस्थल खोलने की तैयारी शुरू, दिल्ली सरकार के दिशा निर्देशों का इंतजार
By भाषा | Published: June 5, 2020 04:38 PM2020-06-05T16:38:30+5:302020-06-05T16:38:30+5:30
कोरोना वायरस के पांचवें लॉकडाउन के दौरान दिल्ली में धर्मस्थल को खोलने की तैयारी शुरू हो चुकी है। लेकिन दिल्ली सरकार के दिशा- निर्देश का इंतजार कर रहे हैं।
नई दिल्ली: धर्मस्थलों को खोलने के संबंध में केंद्र से मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) मिलने के बाद राजधानी के मंदिर, मस्जिद, चर्च और गुरूद्वारों को आम जनता के लिये खोलने की तैयारी शुरू कर दी गई है। हालांकि उन्हें अभी दिल्ली सरकार के दिशा निर्देशों का इंतजार है। केंद्र ने बृहस्पतिवार को जारी एसओपी में निषिद्ध इलाकों के अलावा सभी धर्मस्थलों को आठ जून से आम जनता के लिये खोलने की अनुमति दे दी है लेकिन इसके लिये सामाजिक दूरी और स्वास्थ्य संबंधी कई दिशा निर्देश भी दिये गए हैं।
राजधानी के 14 इस्कॉन मंदिर आठ जून को नहीं खुलेंगे। हालांकि एसओपी के अनुसार सारी तैयारियां शुरू कर दी गई हैं। इस्कॉन के राष्ट्रीय संचार निदेशक युधिष्ठिर गोविंद दास ने ‘भाषा’ से कहा ,‘‘ दूसरे प्रांतों में जहां हमारे मंदिर खुले हैं, वहां से फीडबैक को देखते हुए और दिल्ली के बाकी बड़े मंदिरों के ट्रस्ट से बातचीत के बाद हमने यही फैसला लिया है कि अभी आठ तारीख को इस्कॉन मंदिर नहीं खोलेंगे। हम दो तीन दिन देखने के बाद ही मंदिर खोलने को लेकर फैसला लेंगे।
’’ मंदिर के भीतर तैयारियों के बारे में उन्होंने कहा,‘‘ हमने फुल बॉडी सैनिटाइजेशन चैंबर्स लगा दिये हैं । जगह जगह निशान लगा रहे हैं ताकि सामाजिक दूरी बनी रहे । मंदिर में बैठने की समय सीमा रहेगी ।’’ दिल्ली सिख गुरूद्वारा प्रबंधन समिति के अध्यक्ष मनजिंदर सिंह सिरसा ने कहा कि गुरूद्वारों में तैयारियां चल रही हैं लेकिन दिल्ली सरकार से अभी तक कोई सूचना नहीं मिली है । उन्होंने कहा ,‘‘ हम अपने स्तर पर तैयारी कर रहे हैं । गुरूद्वारों को सैनिटाइज किया जा रहा है ।
अधिकतम प्रवेश और निकास द्वार बनाये गए हैं और जगह जगह सैनिटाइजिंग स्टैंड्स लगा दिये गए हैं ।’’ सिरसा ने कहा ,‘‘ इसके आगे हम तभी बढ़ पायेंगे जब दिल्ली सरकार से दिशा निर्देश आयेंगे । मसलन गुरूद्वारे के अंदर बैठने की अनुमति है या नहीं, कितनी देर बैठ सकते हैं और गुरूद्वारे कितनी देर खुले रहेंगे। दिल्ली सरकार सात तारीख को कहेगी कि आठ को नहीं खोलना है तो हम क्या करेंगे ? यहां तो लोग सुबह पांच बजे गुरूद्वारे के बाहर आ जायेंगे या फिर ऐसे दिशा निर्देश हुए जो रातोंरात लागू नहीं हो सकेंगे तो क्या करेंगे ?’’ उन्होंने कहा ,‘‘हम चाहते हैं कि कोई समय का प्रतिबंध नहीं रखें वरना बहुत भीड़ हो जायेगी ।
रात को देर तक खुला रखें ताकि लोग आराम से दर्शन करें । दिशा निर्देश जल्दी दें ताकि हम लोगों को बता सकें ।’’ फतेहपुरी मस्जिद के शाही इमाम डाक्टर मुफ्ती मुकर्रम अहमद ने कहा कि मस्जिद खुलने के बावजूद वे लोगों से अपील करेंगे कि दो तीन महीने घरों में ही इबादत करें ।
उन्होंने कहा, ‘‘ हम अपनी ओर से तैयारी कर रहे हैं लेकिन हम लोगों से अपील करेंगे कि मस्जिदें खुलने के बावजूद दो तीन महीने घरों में ही इबादत करें । इस्लामी शरीयत में भी कहा गया है कि तंदुरूस्ती का ख्याल रखो ।’’ उन्होंने कहा ,‘‘ हम लोगों से कहेंगे कि मस्जिद में मास्क लगाकर आयें और नमाज के लिये अपनी टोपी और पीने का पानी साथ लायें । घर से ही वजू करके आयें और नमाज से पहले की सुन्नतें घर से ही पढ़कर आयें । मस्जिद में कम समय के लिये रहें ।
हम सामाजिक दूरी के लिये सिल्वर और ग्रीन रंग का निशान लगा रहे हैं । जेब में सैनिटाइजर और साबुन रखें ।’’ अहमद ने कहा,‘‘ बारह साल से कम उम्र के बच्चों और बूढों को मस्जिद में प्रवेश नहीं मिलेगा । फतेहपुरी बड़ी मस्जिद है तो सामाजिक दूरी की कोई परेशानी नहीं आयेगी ।’’ दिल्ली के कैथोलिक आर्कडियोसेज के जनसंपर्क अधिकारी फादर सवरिमुथु शंकर ने कहा कि सामूहिक उपासना को लेकर उन्हें स्पष्ट दिशा निर्देशों का इंतजार है ।
उन्होंने कहा ,‘‘ केंद्र के दिशा निर्देशों में यह स्पष्ट नहीं है कि ये व्यक्तिगत प्रार्थना को लेकर हैं या सामूहिक उपासना (मास) को लेकर भी । अलग अलग चर्च में अलग अलग मास होते हैं जैसे सेक्रेड हार्ट कैथेड्रिल में रविवार को छह और बाकी दिन तीन मास रोज होते हैं । इनको लेकर क्या व्यवस्था होगी ?’’ दिल्ली में करीब 50 कैथोलिक चर्च हैं जिनमें से कुछ भीड़ भाड़ वाले इलाकों में हैं तो कुछ छोटी जगह पर भी हैं । शंकर ने कहा ,‘‘ सभी में सामाजिक दूरी के नियमों का पालन कड़ाई से कराया जायेगा ।
सैनिटाइजर्स और तापमान जांच का इंतजाम रहेगा । प्रवेश और निकास द्वार अलग होंगे और सीमित संख्या में ही प्रवेश मिलेगा ।’’ दिल्ली सरकार के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि आम तौर पर लॉकडाउन संबंधी केंद्र के निर्देशों का दिल्ली ने पूरा पालन किया है । उन्होंने कहा ,‘‘ केंद्र ने धर्मस्थलों को लेकर एसओपी जारी कर दिया है लेकिन राज्य सरकारें इसमें अपने अनुसार बदलाव कर सकती हैं । हम सात जून को इस पर फैसला लेंगे ।’’