दिल्ली हिंसाः जजों ने कोर्ट के भीतर चलवाया कपिल मिश्रा का वीडियो, पुलिस को लगाई फटकार
By गुणातीत ओझा | Published: February 26, 2020 02:02 PM2020-02-26T14:02:48+5:302020-02-26T17:47:45+5:30
कोर्ट के भीतर जजों ने भाजपा नेता कपिल मिश्रा का वीडियो भी चलवाया। नफरत फैलाने वाले बयानों पर कोर्ट ने पुलिस को भाजपा नेताओं पर FIR दर्ज करने की सलाह दी।
दिल्ली हाईकोर्ट ने आज बुधवार को नागरिकता संशोधन कानून को लेकर उत्तर पूर्वी दिल्ली में हुई हिंसा को लेकर सुनवाई की। हाईकोर्ट ने कहा उत्तर पूर्वी दिल्ली में हिंसा के चलते बाहर के हालात बहुत ही खराब हैं। कोर्ट के भीतर जजों ने भाजपा नेता कपिल मिश्रा का वीडियो भी चलवाया। नफरत फैलाने वाले बयानों पर कोर्ट ने पुलिस को भाजपा नेताओं पर FIR दर्ज करने की सलाह दी। हाईकोर्ट की सुनवाई में सॉलिसिटर जनरल, डीसीपी देव और सभी वकील मौजूद रहे। मामले में सुनवाई कुछ घंटे बाद फिर होगी।
सुनवाई के दौरान हाईकोर्ट ने सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता, डीसीपी (अपराध) से प्रश्न किया, क्या आपने भाजपा नेता कपिल मिश्रा के भाषण का वीडियो क्लिप देखा है? बाद में उस क्लिप को अदालत कक्ष में चलाया गया। इसके बाद हाईकोर्ट ने पुलिस की कार्रवाई पर अचंभित होते हुए सॉलिसीटर जनरल से कहा कि वे पुलिस आयुक्त से तीन भाजपा नेताओं द्वारा कथित तौर पर नफरत फैलाने वाले भाषण देने के मामले में रिपोर्ट दर करें।
दिल्ली हाईकोर्ट ने बुधवार को सॉलिसीटर जनरल तुषार मेहता से कहा कि वे पुलिस आयुक्त को भाजपा के तीन नेताओं द्वारा कथित तौर पर नफरत फैलाने वाले भाषण देने के संबंध में प्राथमिकी दर्ज करने की सलाह दें। न्यायमूर्ति एस. मुरलीधर और न्यायमूर्ति तलवंत सिंह की पीठ संशोधित नागरिकता कानून को लेकर उत्तरपूर्वी दिल्ली के विभिन्न हिस्सों में भड़की सांप्रदायिक हिंसा में शामिल लोगों पर प्राथमिकी दर्ज करने और उन्हें गिरफ्तार करने की मांग करने वाली एक याचिका पर सुनवाई कर रही थी। सुनवाई दोपहर ढाई बजे जारी रहेगी।
हाईकोर्ट ने कहा कि बाहर के हालात बहुत ही खराब हैं। हाईकोर्ट ने सॉलिसीटर जनरल तुषार मेहता, डीसीपी (अपराध) से कहा कि क्या उन्होंने भाजपा नेता कपिल मिश्रा का कथित तौर पर नफरत फैलाने वाले भाषण का वीडियो क्लिप देखा है, उस क्लिप को अदालत कक्ष में चलाया गया। वकील फजल अब्दाली और नबीला हसन के जरिए दाखिल याचिका में कहा गया है कि 22 फरवरी को करीब 500 लोग जाफराबाद मेट्रो स्टेशन पहुंचे, जहां पर महिलाएं सीएए के खिलाफ शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रही थीं ।
इसमें आरोप लगाया गया कि 23 फरवरी को भाजपा नेता कपिल मिश्रा ने मौजपुर मेट्रो स्टेशन के पास सीएए के समर्थन में रैली निकाली और भड़काऊ, आपत्तिजनक बयान दिए और इस संबंध में सोशल मीडिया पर एक ट्वीट भी पोस्ट किया । याचिका में मिश्रा, केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर और भाजपा सांसद प्रवेश वर्मा तथा अन्य के खिलाफ अधिकारियों को प्राथमिकी दर्ज करने के लिए निर्देश देने का भी अनुरोध किया गया है। संशोधित नागरिकता कानून (सीएए) को लेकर उत्तर पूर्वी दिल्ली के विभिन्न इलाकों में हुई हिंसा में 20 लोगों की मौत हो गयी और बड़ी संख्या में लोग घायल हुए हैं।