Delhi Malaria Death: दिल्ली में मलेरिया से चार सालों में पहली मौत, 6 साल के बच्चे की गई जान
By विनीत कुमार | Published: December 2, 2020 11:50 AM2020-12-02T11:50:31+5:302020-12-02T11:55:43+5:30
Malaria in Delhi: दिल्ली में मलेरिया से पिछले चार साल में पहली मौत का मामला सामने आया है। बच्चे की मौत सितंबर में ही हो गई थी। अब रिव्यू के बाद ये बात सामने आई है कि उसकी मौत मलेरिया से हुई थी।
कोरोना के प्रकोप के बीच देश की राजधानी दिल्ली में मलेरिया से मौत का मामला सामने आया है। मलेरिया से राजधानी दिल्ली में 6 साल के बच्चे की जान चली गई है। पिछले पांच सालों में दिल्ली में मलेरिया से पहली मौत का मामला है। यह मौत दक्षिणी दिल्ली के मदनपुर खादर इलाके के जेजे कॉलोनी में हुई है।
इस बच्चे की मौत दरअसल सितंबर में ही हो गई थी। मौत के कारण को पता करने के लिए राज्य सरकार और नगर निगम ने डेथ रिव्यू कमेटी का गठन किया था। रिपोर्ट्स के अनुसार बच्चे की तबीयत काफी दिन खराब रही और फिर उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया। बच्चे को इलाज के लिए पहले भर्ती कराया जाता तो उसे बचाया जा सकता था।
2016 के बाद दिल्ली में मलेरिया से पहली मौत
स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के अनुसार इससे पहले सितंबर 2016 में मंडावली के रहने वाले एक शख्स की सफदरगंज अस्पताल में मलेरिया से मौत हो गई थी। नगर निगम के मुताबिक पिछले हफ्ते में वैसे मलेरिया का कोई मामला सामने नहीं आया है। हालांकि, इस साल मलेरिया के 223 मामले सामने आ चुके हैं।
बताया जा रहा है कि जिस बच्चे की मौत हुई है, वो कुछ दिन पहले यूपी के अमरोहा भी गया था। ऐसे में संभव है कि उसे वहां से मलेरिया हुआ हो। हालांकि, निगम के अधिकारी ने कहा कि इसके बावजूद कर्मचारियों को मच्छर रोधी अभियान को लेकर विशेष सतर्कता बरतने और इस पर ध्यान देने को कहा गया है।
इस बीच पिछले एक हफ्ते में दिल्ली में डेंगू के 49 नए मामले सामने आए हैं। इस साल दिल्ली में इसी के साथ कुल डेंगू मरीजों की संख्या 950 हो गई है।
भारत में मलेरिया के मामलों में कमी
गौरतलब है कि मंगलवार को ही विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने कहा है कि भारत ने मलेरिया से निपटने की दिशा में ‘बड़ी प्रगति’ दिखाई है। दक्षिण-पूर्व एशिया में मलेरिया के मामले 2000 में दो करोड़ थे, जो पिछले साल कम होकर 56 लाख हो गए।
‘विश्व मलेरिया रिपोर्ट 2020’ के अनुसार 2019 में दुनियाभर में मलेरिया के 22.9 करोड़ मामले सामने आए। भारत में मलेरिया के मामलों में सबसे अधिक गिरावट आई है, जहां मामले दो करोड़ से गिरकर 60 लाख हो गए हैं।