यूरोप को सता रहा है कोरोना महामारी के दूसरे दौर के लौटने का डर: डॉक्टर लुइगी तोटा
By शीलेष शर्मा | Published: October 17, 2020 07:11 PM2020-10-17T19:11:46+5:302020-10-17T19:12:28+5:30
डॉक्टर लुइगी के अनुसार आज भी इटली में लगभग 4 लाख कोरोना संक्रमित बने हुए है। उन्होंने साफ़ किया कि यह स्थिति केवल इटली की नहीं समूचे यूरोप में कोरोना के मामले फिर से ज़ोर पकड़ रहे हैं।
नयी दिल्ली: कोरोना वायरस महामारी को लेकर लगभग एक वर्ष पूरा होने के बावजूद यूरोप द्वारा हुआ है। भारत में जिस तरह संक्रमित लोगों का आंकड़ा 74 लाख के पाकर जा चुका है उससे इटली सहित तमाम दूसरे देश अब यह आशंका व्यक्त कर रहे है कि इन देशों में कोरोना महामारी का दूसरा दौर ठीक उसी तरह लौट सकता है जैसे मार्च 2020 में कोरोना वायरस का प्रकोप आया था।
इटली के सबसे मशहूर पोलिसिनिको उम्बर्तो हस्पताल के डॉक्टर लुइगी तोटा ने लोकमत से ख़ास बातचीत में बताया कि हालात उनके देश में सामान्य की ओर लौट अवश्य रहे हैं लेकिन लोगों को भय है कि कोरोना महामारी मार्च 2020 की तरह अपनी तांडव लीला फिर से दिखा सकती है।
डॉक्टर लुइगी के अनुसार आज भी इटली में लगभग 4 लाख कोरोना संक्रमित बने हुए है। उन्होंने साफ़ किया कि यह स्थिति केवल इटली की नहीं समूचे यूरोप में कोरोना के मामले फिर से ज़ोर पकड़ रहे हैं। फ्रांस में तो मेडिकल इमरजेंसी घोषित कर दी गयी है और रात का कर्फ्यू लगा दिया गया है।
पर्यटन उद्योग बुरी तरह प्रभावित हुआ है क्योंकि यूरोपीय देशों ने पर्यटकों के आवागमन पर रोक लगा रखी है। भारत में तेज़ी से बढ़ रहे कोरोना मामलों पर चिंता जताते हुए लुइगी ने कहा कि इससे निपटने के लिए बेहतर प्रबंधन की आवश्यकता है क्योंकि जब तक इसकी कोई वैक्सीन नहीं आती तब तक इस महामारी पर पूरी तरह अंकुश लगाना संभव नहीं है।
भारत में कोरोना प्रबंधन की व्यवस्था को लेकर न ख़ुशी ज़ाहिर करते हुए उन्होंने इटली का उदाहरण दिया कि दुनिया के देशों में स्वास्थ्य की दृष्टि से दूसरे नंबर का देश होते हुए भी सरकार ने कोरोना काल में सभी गतिविधियों पर अंकुश लगा कर पूरा ध्यान कोरोना प्रबंधन में लगाया जिससे इटली जल्दी ही इस महामारी पर आंशिक अंकुश लगा सका।
उनका यह भी कहना था कि पूरे देश की समूची व्यवस्था इस समय उन मरीज़ों पर केंद्रित है जो इस संक्रमण के शिकार हुए हैं ताकि किसी भी खतरनाक परिस्तिथि से समय रहते निपटा जा सके। ग़ौरतलब है कि कोरोना महामारी प्रबंधन को लेकर राहुल गाँधी मोदी सरकार की पहले ही तीखी आलोचना कर चुके हैं।