महाराष्ट्र में सियासी घमासान जारी, एकनाथ शिंदे ने SC में याचिका दायर कर कहा- MVA ने सदन में खो दिया बहुमत
By मनाली रस्तोगी | Published: June 27, 2022 01:00 PM2022-06-27T13:00:41+5:302022-06-27T13:02:00+5:30
शिवसेना के बागी विधायक एकनाथ शिंदे ने सुप्रीम कोर्ट में दायर अपनी याचिका में कहा कि महा विकास अघाड़ी (एमवीए) गठबंधन ने सदन में बहुमत खो दिया है क्योंकि शिवसेना विधायक दल के 38 सदस्यों ने अपना समर्थन वापस ले लिया है और इस तरह सदन में बहुमत से नीचे आ गया है।
नई दिल्ली: बागी विधायकों ने महाराष्ट्र की महा विकास आघाड़ी (एमवीए) गठबंधन सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है जिससे सरकार गिरने का खतरा उत्पन्न हो गया है। यही नहीं, अब ये मामला सुप्रीम कोर्ट भी पहुंच गया है। इस बीच शिवसेना के बागी विधायक एकनाथ शिंदे ने सुप्रीम कोर्ट में दायर अपनी याचिका में कहा कि महा विकास अघाड़ी (एमवीए) को लेकर एक बड़ा दावा किया है।
Maha Vikas Aghadi (MVA) alliance has lost the majority in the house as 38 of the members of the Shiv Sena Legislature Party have withdrawn their support thus bringing it below the majority in the house: Eknath Shinde in his petition filed in Supreme court
— ANI (@ANI) June 27, 2022
शिंदे ने कोर्ट में दायर अपनी याचिका में कहा कि महा विकास अघाड़ी (एमवीए) गठबंधन ने सदन में बहुमत खो दिया है क्योंकि शिवसेना विधायक दल के 38 सदस्यों ने अपना समर्थन वापस ले लिया है और इस तरह सदन में बहुमत से नीचे आ गया है। सुप्रीम कोर्ट आज एकनाथ शिंदे द्वारा महाराष्ट्र के बागी विधायकों के खिलाफ डिप्टी स्पीकर द्वारा जारी अयोग्यता नोटिस के खिलाफ दायर याचिका पर सुनवाई करेगा। इस बीच शिंदे के समर्थक ठाणे में उनके आवास के बाहर जमा हो गए है।
Maharashtra | Supporters of rebel Shiv Sena MLA Eknath Shinde gather outside his residence in Thane
— ANI (@ANI) June 27, 2022
Supreme Court to hear today the plea moved by Eknath Shinde against the disqualification notices issued by the Dy Speaker against rebel Maharashtra MLAs. pic.twitter.com/IHtC3fkpb4
बता दें कि शिंदे और शिवसेना के विधायकों का बड़ा हिस्सा 22 जून से असम की राजधानी गुवाहाटी के एक होटल में डेरा डाले हुए है। शिंदे के नेतृत्व वाला विद्रोही समूह मांग कर रहा है कि शिवसेना को महा विकास आघाड़ी गठबंधन (एमवीए) से हट जाना चाहिए, लेकिन शिवसेना सुप्रीमो और मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने हार मानने से इनकार कर दिया है और पार्टी ने अब असंतुष्टों से कहा है कि वे इस्तीफा दें और फिर से चुनाव लड़ें। एमवीए में कांग्रेस और राकांपा भी शामिल हैं।