जामिया प्रदर्शन: छात्रों ने की दिल्ली पुलिस पर कार्रवाई की मांग, दिल्ली पुलिस ने हिरासत में लिए गए 50 छात्र को रिहा किया
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: December 16, 2019 09:12 AM2019-12-16T09:12:41+5:302019-12-16T09:12:41+5:30
जामिया में प्रदर्शन के दौरान झड़प में छात्रों, पुलिसकर्मियों और दमकलकर्मी समेत करीब 60 लोग घायल हो गए।
नागरिकता संशोधन कानून के खिलाफ जामिया मिल्लिया इस्लामिया में रविवार को प्रदर्शन के दौरान हिरासत में लिए गए कम से कम 50 छात्रों को सोमवार तड़के रिहा कर दिया गया। एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि 50 छात्रों में से 35 छात्रों को कालकाजी पुलिस थाने से और 15 छात्रों को न्यू फ्रेंड्स कॉलोनी पुलिस थाने से रिहा किया गया। वहीं सोमवार सुबह जामिया के छात्रों ने दिल्ली पुलिस पर कार्रवाई की मांग की है।
Delhi: A student of Jamia Millia Islamia University removes his shirt and sits at the gate of university demanding action against Delhi police following yesterday's incident. pic.twitter.com/IlE1Ea2nk0
— ANI (@ANI) December 16, 2019
इससे पहले रविवार रात को दिल्ली अल्पसंख्यक आयोग (डीएमसी) ने कालकाजी पुलिस थाना प्रभारी को जामिया के ‘‘घायल’’ छात्रों को रिहा करने अथवा बिना किसी विलंब के उन्हें इलाज के लिए किसी अच्छे अस्पताल ले जाने के निर्देश दिए थे।
आयोग ने अधिकारी को सोमवार दोपहर तीन बजे तक अनुपालन रिपोर्ट दायर करने का भी निर्देश दिया था। डीएमसी के प्रमुख जफरुल इस्लाम खान ने आदेश में कहा कि इसे पूरी तरह लागू ना करने पर उचित कार्रवाई की जाएगी। गौरतलब है कि नागरिकता संशोधन कानून का विरोध कर रहे प्रदर्शनकारियों की जामिया मिल्लिया इस्लामिया के समीप न्यू फ्रेंड्स कॉलोनी में पुलिस के साथ झड़प हो गई, जिसमें प्रदर्शनकारियों ने डीटीसी की चार बसों और दो पुलिस वाहनों में आग लगा दी।
झड़प में छात्रों, पुलिसकर्मियों और दमकलकर्मी समेत करीब 60 लोग घायल हो गए। पुलिस ने भीड़ को खदेडने के लिए लाठीचार्ज किया और आंसू गैस के गोले छोड़े लेकिन उन पर गोलियां चलाने की बात से इनकार किया है।
हालांकि, सोशल मीडिया पर वीडियो वायरल हो रहे हैं जिनमें कथित तौर पर पुलिस गोलीबारी करती हुई, विश्वविद्यालय के बाथरूम में घायल छात्र, और लहुलुहान हालत में छात्र दिखाई दे रहे हैं। वहीं दिल्ली पुलिस ने झड़पों के दौरान किसी के हताहत होने की खबरों से इनकार किया है। सड़कों पर आगजनी के बाद पुलिस जामिया विश्वविद्यालय के परिसर में घुस गई जहां हिंसा में कथित तौर पर शामिल कई लोगों को हिरासत में लिया था।
समाचार एजेंसी पीटीआई-भाषा के इनपुट के साथ