Cyclone Nisarga: मुंबई में हवाई अड्डे, बंदरगाह पर तूफान के खतरे से बचाव के किए उपाय, कई उड़ानें रद्द
By रामदीप मिश्रा | Published: June 3, 2020 05:23 AM2020-06-03T05:23:47+5:302020-06-03T05:23:47+5:30
Cyclone Nisarga: जेएनपीटी ने भारतीय मौसम विभाग के अनुमान का हवाला देते हुए कहा है कि चक्रवात के तट पर प्रवेश के समय 50-60 किलो मीटर प्रति घंटे की रफ्तार से आंधी चल सकती है।
मुंबई: मुंबई पर समुद्री चक्रवात के खतरे को देखते हुए महानगर के हवाईअड्डे और बंदरगाहों पर अधिकारियों ने सुरक्षा के विषेश प्रबंध किए हैं। चक्रवात निसर्ग बुधवार को मुंबई के निकट तट पर पहुंचेगा। मुंबई हवाई अड्डे की परिचालक कंपनी मुंबई इंटरनेशनल एयरपोर्ट लिमिटेड (मायल) ने मंगलवार को कहा कि चक्रवात के खतरे को देखते हुए उसने यात्रियों और हवाई जहाजों की सुरक्षा के लिए वहां अनेक प्रबंध किए हैं।
नागर विमानन महानिदेशालय ने भी एक परिपत्र जारी करके एयरलाइनों और पायलटों को खराब मौसम में विमान सेवाओं के परिचालन के संबंध में स्थायी दिशा निर्देशों का पालन करने को कहा है। हवाई अड्डे पर बिजली की आपातकालीन व्यवस्था के लिए डीजल जनरेटरों का विशेष प्रबंध किया गया है।
जवाहरलाल नेहरू बंदरगाह न्यास (जेएनपीटी) ने भी कहा है कि उसने तूफान के दौरान कठिनाई कम करने के लिए विभिन्न उपाय किए है। बंदरगाह प्रबंधकों ने सुरक्षा की दृष्टि से यात्री पोतों की सेवाएं निलंबित कर दी हैं।
इधर, IndiGo ने आज मुंबई आने जाने वाली 17 उड़ानों को रद्द कर दिया है। वही आज केवल तीन उड़ानों को ऑपरेट करेगी। वहीं, बताया गया है कि छत्रपति शिवाजी महाराज अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा 3 जून को केवल 12 आगमन उड़ानों का संचालन करेगा। उड़ानें 4 एयरलाइनों द्वारा संचालित की जाएंगी, जिसमें एयर एशिया इंडिया, एयर इंडिया, गोएयर और स्पाइसजेट शामिल हैं।
जेएनपीटी ने भारतीय मौसम विभाग के अनुमान का हवाला देते हुए कहा है कि चक्रवात के तट पर प्रवेश के समय 50-60 किलो मीटर प्रति घंटे की रफ्तार से आंधी चल सकती है। लंगर डाले जहाजों से मंगलवार सात 11 बजे तक सामान उतरवा उन्हें बंदरगाह क्षेत्र से बाहर करने की योजना पर काम चल रहा था। प्रवेश के लिए इंतजार कर रहे जहाजों को स्थिति सामान्य होने तक रुके रहने का निर्देश है।
महाराष्ट्र के मुंबई, ठाणे, रायगढ़ और पालघर जैसे तटीय जिले तूफान से प्रभावित हो सकते हैं। इसके साथ ही गुजरात के वलसाड, नवसारी, सूरत, भावनगर और भरुच जिलों के अलावा केंद्र शासित प्रदेश दादरा एवं नागर हवेली और दमन एवं दीव के भी तूफान से प्रभावित होने की आशंका है।
गृह मंत्रालय के बयान के मुताबिक, कैबिनेट सचिव राजीव गौबा की अध्यक्षता में हुई राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन समिति (एनसीएमसी) की एक बैठक में आसन्न चक्रवात से निपटने की तैयारियों की समीक्षा की गई। इसमें कहा गया कि चक्रवात के महाराष्ट्र के तट से बुधवार दोपहर अथवा शाम तक टकराने की आशंका है। इस दौरान राज्य के तटीय जिलों में तेज हवाओं के साथ ही भारी बारिश और एक से दो मीटर ऊंची लहरें उठने का अनुमान है।