ज्ञानवापी विवाद: ऐतिहासिक गलती को ठीक कर सकती है अदालत, इलाहाबाद हाईकोर्ट में बोले हिंदू पक्ष के वकील
By शिवेंद्र राय | Published: July 14, 2022 11:00 AM2022-07-14T11:00:39+5:302022-07-14T11:04:25+5:30
ज्ञानवापी विवाद को लेकर इलाहाबाद हाईकोर्ट ने सुनवाई 15 जुलाई तक के लिए स्थगित कर दी है। मामले में हिंदू और मुस्लिम पक्ष की तरफ से अपनी दलीलें रखी गई हैं। हिंदू पक्ष का कहना है कि अदालत फैसला सुनाकर ऐतिहासिक गलती को ठीक कर सकती है।
प्रयागराज: वाराणसी के ज्ञानवापी मस्जिद विवाद मामले में इलाहाबाद हाईकोर्ट में सुनवाई चल रही है। इस मामले में बुधवार को हिंदू पक्ष की तरफ से पेश की गई। दलील में कहा गया कि अगर अतीत में कोई ऐतिहासिक गलती हुई है तो अब अदालत उस पर फैसला देकर उसे ठीक कर सकती है।
इस मामलें में हिंदू पक्ष और अंजुमन इंतेजामिया मस्जिद कमेटी की तरफ से पेश की गई दलीलों को सुनने के बाद इलाहाबाद हाईकोर्ट ने 15 जुलाई तक सुनवाई स्थगित कर दी है। हाईकोर्ट में इस मामले की सुनवाई जस्टिस प्रकाश पाडिया की बेच कर रही है। ज्ञानवापी विवाद को लेकर हाईकोर्ट में पांच याचिकाएं दायर हैं। इस मामले में उत्तर प्रदेश सरकार को भी अपना पक्ष रखना है।
सर्वेक्षण को लेकर हो सकता है फैसला
इलाहाबाद हाईकोर्ट में सुनवाई में ये भी तय होना है कि ज्ञानवापी परिसर की खुदाई कराकर पुरातात्विक सर्वेक्षण कराया जा सकता है कि नहीं। हालांकि फिलहाल हाईकोर्ट के आदेश से 31 जुलाई तक विवादित परिसर के सर्वे पर रोक है। ज्ञानवापी परिसर विवाद से जुड़ी मूल याचिका साल 1991 में वाराणसी जिला अदालत में दाखिल की गई थी। इस याचिका में कहा गया था कि जिस जगह पर वर्तमान में ज्ञानवापी मस्जिद मौजूद है वहां एक प्राचीन हिंदू मंदिर हुआ करता था।
8 अप्रैल 2021 को वाराणसी की जिला अदालत ने ज्ञानवापी परिसर का सर्वेक्षण करने का आदेश दिया था। सर्वेक्षण के लिए एक कमेटी बनाई गई जिसमें दो हिंदू, दो मुस्लिम और एक पुरातत्व विशेषज्ञ शामिल थे। इलाहाबाद हाईकोर्ट में मुस्लिम पक्ष की तरफ से ज्ञानवापी परिसर में सर्वेक्षण के वाराणसी जिला अदालत के फैसले के खिलाफ याचिका दायर की गई थी।
वाराणसी जिला अदालत में भी चल रहा है मामला
ज्ञानवापी मामले में वाराणसी जिला अदालत में भी सुनवाई जारी है। ये मामला श्रृंगार गौरी की पूजा की अनुमति से संबंधित है। ज्ञानवापी-श्रृंगार गौरी मामले में मंगलवार को मुस्लिम पक्ष की तरफ से दलीलें पेश की गईं। बुधवार को हिंदू पक्ष ने अपनी दलीलें रखीं।