Coronavirus: झारखंड हाईकोर्ट में पहली बार वीडियो कांफ्रेंसिंग से सुनवाई, टेरर फंडिंग के मामले में आधे घंटे चली बहस

By भाषा | Published: March 24, 2020 03:42 AM2020-03-24T03:42:53+5:302020-03-24T03:42:53+5:30

मुख्य न्यायाधीश डॉ. रवि रंजन एंव न्यायमूर्ति एस एन प्रसाद की खंडपीठ ने आरोपियों विनीत अग्रवाल, महेश अग्रवाल एवं अमित उर्फ सोनू अग्रवाल की अंतरिम राहत बरकरार रखी। पीठ ने इस मामले की अगली सुनवाई के लिए 20 अप्रैल की तिथि तय की है।

Coronavirus: Hearing through video conferencing first time in Jharkhand High Court | Coronavirus: झारखंड हाईकोर्ट में पहली बार वीडियो कांफ्रेंसिंग से सुनवाई, टेरर फंडिंग के मामले में आधे घंटे चली बहस

कोरोना वायरस से बचाव के चलते झारखंड हाईकोर्ट में पहली बार वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये हुई सुनवाई।

Highlightsकोरोना वायरस के फैलते संक्रमण को देखते हुए झारखंड हाइकोर्ट में पहली बार वीडियो कांफ्रेंसिंग से हुई सुनवाईपूरे देश में कोरोना वायरस के मरीजों की संख्या बढ़कर 499 हो गई है, अब तक 10 लोगों की जान ले चुका है यह खतरनाक वायरस

रांचीः इतिहास में पहली बार सोमवार को झारखंड उच्च न्यायालय में भी मुख्य न्यायाधीश की खंड पीठ ने कोरोना वायरस के संक्रमण को देखते हुए टेरर फंडिंग के एक मामले की वीडियोकांफ्रेंसिंग से सुनवाई की। सोमवार को आतंकी वित्त पोषण के एक मामले की सुनवाई करते हुए मुख्य न्यायाधीश डॉ. रवि रंजन एंव न्यायमूर्ति एस एन प्रसाद की खंडपीठ ने आरोपियों विनीत अग्रवाल, महेश अग्रवाल एवं अमित उर्फ सोनू अग्रवाल की अंतरिम राहत बरकरार रखी। पीठ ने इस मामले की अगली सुनवाई के लिए 20 अप्रैल की तिथि तय की है।

सुनवाई के दौरान मुख्य न्यायाधीश के चैंबर में न्यायमूर्ति रंजन एवं न्यायमूर्ति प्रसाद की खंड पीठ बैठी। अधिवक्ता इंद्रजीत सिन्हा ने वीडियो कांफ्रेंसिंग हॉल से ही इस मामले में बहस की। करीब आधे घंटे चली बहस के दौरान न्यायालय को बताया गया कि इन तीनों के खिलाफ एनआइए ने चार्जशीट दाखिल किया है, जिसमें कहा गया है कि इनकी ओर से टीपीसी को दिए गए लेवी का इस्तेमाल टेरर फंडिंग के लिए किया गया है।

जबकि टीपीसी की ओर से इन लोगों से लेवी वसूली की गई है और इस तरह तीनों इस मामले में पीडि़त हैं लेकिन एनआइए ने इन्हें आरोपी बना दिया है। इस पर न्यायालय ने इन तीनों की अंतरिम राहत को बरकरार रखते हुए 20 अप्रैल तक के लिए सुनवाई स्थगित कर दी। विनीत अग्रवाल, महेश अग्रवाल और अमित अग्रवाल ने याचिका दाखिल कर एनआइए द्वारा उनके खिलाफ बनाये गये मामले को निरस्त करने की मांग की है।

Web Title: Coronavirus: Hearing through video conferencing first time in Jharkhand High Court

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