सर्वेक्षण में सामने आई बात: कोरोना को रोकने के लिए लॉकडाउन के बीच कम खाना खा रहे ग्रामीण

By भाषा | Published: May 13, 2020 05:31 PM2020-05-13T17:31:00+5:302020-05-13T17:31:24+5:30

देश के 12 राज्यों के ग्रामीण क्षेत्रों में 5,000 घरों को लेकर एक सर्वेक्षण किया गया, जिसमें ये खुलासा हुआ है कि महामारी को रोकने के लिए लागू बंद के बीच इनमें से आधे परिवार कम खाना खा रहे हैं।

Coronacirus Lockdown: 50% of survey households in rural India are eating less | सर्वेक्षण में सामने आई बात: कोरोना को रोकने के लिए लॉकडाउन के बीच कम खाना खा रहे ग्रामीण

अध्ययन के अनुसार इनमें से 84 फीसदी ऐसे परिवार हैं जिन्होंने सार्वजनिक वितरण प्रणाली के जरिए खाद्य पदार्थ हासिल किया। (प्रतीकात्मक तस्वीर)

Highlights68 फीसदी परिवार ऐसे हैं जिनके खाने की विविधता में कमी आई है यानी उनकी थाली में पहले के मुकाबले कम प्रकार के भोजन होते हैं। अध्ययन में यह खुलासा हुआ कि ये परिवार रबी की तुलना में खरीफ भंडार पर ज्यादा निर्भर हैं, लेकिन यह भंडार भी अब तेजी से समाप्त हो रहा है।

नई दिल्ली: देश के 12 राज्यों के ग्रामीण क्षेत्रों में 5,000 घरों को लेकर किए गए एक सर्वेक्षण में खुलासा हुआ है कि कोरोना वायरस महामारी को रोकने के लिए लागू बंद के बीच इनमें से आधे परिवार कम खाना खा रहे हैं। इस सर्वेक्षण का नाम ‘कोविड-19 इंड्यूस्ड लॉकडाउन-हाउ इज हिंटरलैंड कोपिंग’ यानी कोविड-19 की वजह से लागू बंद में दूरदराज के इलाके कैसे जीवनयापन कर रहे हैं। यह सर्वेक्षण 47 जिलों में किया गया है। बंद लागू होने के बाद ग्रामीण इलाकों में 50 फीसदी ऐसे परिवार हैं जो पहले जितनी बार भोजन करते थे उसमें कटौती कर दी है ताकि जितनी भी चीजें उपलब्ध हैं, उसी में किसी तरह से काम चलाया जा सके। 

वहीं 68 फीसदी परिवार ऐसे हैं जिनके खाने की विविधता में कमी आई है यानी उनकी थाली में पहले के मुकाबले कम प्रकार के भोजन होते हैं। अध्ययन के अनुसार इनमें से 84 फीसदी ऐसे परिवार हैं जिन्होंने सार्वजनिक वितरण प्रणाली के जरिए खाद्य पदार्थ हासिल किया और 37 फीसदी ऐसे परिवार हैं जिन्हें राशन मिला। वहीं, 24 फीसदी ऐसे हैं जिन्होंने गांवों में अनाज उधार लिया और 12 फीसदी लोगों को मुफ्त में खाद्य पदार्थ मिला। बुधवार को वेबिनार में यह सर्वेक्षण जारी किया गया। 

अध्ययन में यह खुलासा हुआ कि ये परिवार रबी की तुलना में खरीफ भंडार पर ज्यादा निर्भर हैं, लेकिन यह भंडार भी अब तेजी से समाप्त हो रहा है। अध्ययन में कहा गया कि ये परिवार अब कम खाना खा रहे हैं और पहले की तुलना में कम बार खाना खा रहे हैं तथा इनकी निर्भरता पीडीएस के जरिए हासिल किए गए अनाज पर बढ़ गई है। सर्वेक्षण में यह निकलकर सामने आया है कि खरीफ फसल 2020 के लिए तैयारी अच्छी नहीं है और बीज तथा नकदी राशि के लिए मदद की जरूरत है। 

अध्ययन में कहा गया है कि बंद और अफवाह की वजह से डेयरी और पॉल्ट्री क्षेत्र पर विपरीत प्रभाव पड़ा है। लोग अपने खाने की आदतों में बदलाव कर रहे हैं और खर्चे कम कर रहे हैं। यह अध्ययन असम, बिहार, छत्तीसगढ़, गुजरात, झारखंड, कर्नाटक, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, ओडिशा, राजस्थान, उत्तर प्रदेश, पश्चिम बंगाल में किया गया है। यह अध्ययन नागरिक संगठन प्रदान, ऐक्शन फॉर सोशल एडवांसमेंट, बीएआईएफ, ट्रांसफॉर्म रूरल इंडिया फाउंडेशन, ग्रामीण सहारा, साथी-उप्र और आगा खां रूरल सपोर्ट प्रोग्राम ने किया है।

Web Title: Coronacirus Lockdown: 50% of survey households in rural India are eating less

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