पीएम नरेंद्र मोदी पर फूटा राहुल गांधी का गुस्सा, कहा- ना टेस्ट है, ना वेंटिलेटर, वैक्सीन भी नहीं, बस उत्सव का ढोंग है
By अमित कुमार | Published: April 15, 2021 12:24 PM2021-04-15T12:24:51+5:302021-04-15T12:26:13+5:30
देश में कोरोना महामारी बहुत तेजी से फैल रही है। शहरों में हालात बेकाबू हो गए हैं। एक बार फिर पिछले साल जैसा माहौल देश में पनप रहा है।
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने कोरोना वायरस संक्रमण के मामले बढ़ने को लेकर सरकार पर निशाना साधा। राहुल ने आरोप लगाया कि जरूरी चिकित्सा सुविधाओं के अभाव के बीच टीका का उत्सव एक ढोंग है। उन्होंने ट्वीट किया कि ना टेस्ट, ना अस्पताल में बेड, ना वेंटिलेटर, ना ऑक्सीजन......, टीका भी नहीं है, बस एक उत्सव का ढोंग है। पीएम केयर्स ...?’’
भारत में कोविड-19 के एक दिन में रिकॉर्ड दो लाख से अधिक मामले सामने आने के बाद संक्रमण के कुल मामले 1,40,74,564 पर पहुंच गए हैं। जबकि इस बीमारी का इलाज करा रहे मरीजों की संख्या 14 लाख के पार चली गई है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के बृहस्पतिवार को सुबह आठ बजे तक जारी आंकड़ों के अनुसार, बीते 24 घंटे में कोरोना वायरस के 2,00,739 मामले आए जबकि 1,038 लोगों के जान गंवाने से मृतकों की संख्या बढ़कर 1,73,123 हो गई है।
तीन अक्टूबर 2020 के बाद से एक दिन में मरने वाले लोगों की यह सर्वाधिक संख्या है। लगातार नौवें दिन संक्रमण के मामले एक लाख से अधिक दर्ज किए गए हैं। भारत में नौ दिनों में संक्रमण के 13,88,515 मामले आए हैं। संक्रमण के मामलों में लगातार 36वें दिन वृद्धि हुई है। देश में उपचाराधीन मरीजों की संख्या बढ़कर 14,71,877 हो गई है जो संक्रमण के कुल मामलों का 10.46 प्रतिशत है जबकि स्वस्थ होने वाले लोगों की दर गिरकर 88.31 प्रतिशत रह गई है। सबसे कम 1,35,926 उपचाराधीन मरीज 12 फरवरी को थे और सबसे अधिक 10,17,754 उपचाराधीन मरीज 18 सितंबर 2020 को थे।
इस बीमारी से स्वस्थ होने वाले लोगों की संख्या बढ़कर 1,24,29,564 हो गई है जबकि मृत्यु दर 1.23 प्रतिशत है। भारत में कोविड-19 के मामले सात अगस्त को 20 लाख का आंकड़ा पार कर गए थे। इसके बाद संक्रमण के मामले 23 अगस्त को 30 लाख, पांच सितंबर को 40 लाख और 16 सितंबर को 50 लाख के पार चले गए थे। वैश्विक महामारी के मामले 28 सितंबर को 60 लाख, 11 अक्टूबर को 70 लाख, 29 अक्टूबर को 80 लाख, 20 नवंबर को 90 लाख और 19 दिसंबर को एक करोड़ का आंकड़ा पार कर गए थे। (भाषा इनपुट के साथ)