किसान आंदोलन: कांग्रेस 15 जनवरी को राजभवनों का करेगी घेराव, रणदीप सुरजेवाला ने मोदी सरकार को बताया '60 किसानों की कुर्बानी के लिए जिम्मेदार'
By शीलेष शर्मा | Published: January 9, 2021 04:58 PM2021-01-09T16:58:37+5:302021-01-09T17:17:53+5:30
किसान आंदोलन को समर्थन दे रही कांग्रे ने अब इसमें शामिल होने का फैसला किया है...
आंदोलनकारी किसानों का समर्थन करने के लिये कांग्रेस सड़कों पर उतरेगी यह फैसला 9 जनवरी को पार्टी महासचिव केसी वेणुगोपाल के नेतृत्व में हुई कांग्रेस पदाधिकारियों की बैठक में किया गया,हालांकि यह बैठक सोनिया गांधी की अध्यक्षता में होनी थी लेकिन उनके स्वास्थ्य कारणों से यह जिम्मेदारी वेणुगोपाल को दे दी गयी।
कांग्रेस देशभर में मनायेगी "किसान अधिकार दिवस"
इस फैसले के तहत 15 जनवरी को सरकार और किसानों के बीच होने वाली बातचीत से पहले कांग्रेस देशभर में "किसान अधिकार दिवस" मनायेगी जिसके तहत हर प्रदेश मुख्यालयों में धरना ,प्रदर्शन और रैली कर राजभवन का घिराव करेगी।
कांग्रेस ने पीएम मोदी पर साधा निशाना
पार्टी ने आंदोलन के दौरान जान गंवा देने वाले किसानों का जिक्र करते हुये प्रधानमंत्री मोदी पर सीधा हमला बोला और कहा कि मोदी पूरी तरह संवेदना विहीन हैं,वह चुप्पी नहीं तोड़ रहे हैं, यहां तक कि सांत्वना का एक शब्द भी उनके मुहँ से नहीं निकला है। कांग्रेस ने मांग की कि मोदी सरकार तीनों काले कानून वापस ले अथवा मोदी इस्तीफा दें।
रणदीप सुरजेवाला का सरकार पर तीखा हमला
बैठक के बाद पार्टी के महासचिव रणदीप सुरजेवाला ने सरकार पर तीखा हमला करते हुये कहा कि भारत की यह पहली सरकार है जो जिम्मेदारी से पीछा छुड़ा किसान को कह रही है कि ‘सुप्रीम कोर्ट चले जाओ’, ऐसी मोदी सरकार गद्दी छोड़ घर चली जाए, तो अच्छा न किसान थकने वाला, न झुकने वाला और न रुकने वाला मोदी सरकार षड्यंत्रकारी तरीके से न्याय मांग रहे देश के अन्नदाता किसानों को ‘थकाने और झुकाने’ की साजिश कर रही है।
‘किसानों की आजीविका’ और ‘सरकार की वसरवादिता’ की लड़ाई
सुरजेवाला ने मोदी पर निशाना साधते हुये कहा कि नरेंद्र मोदी और उनकी सरकार 60 किसानों की कुर्बानी के लिए जिम्मेदार है। ये लड़ाई ‘किसानों की आजीविका’ और ‘सरकार की वसरवादिता’ की है। ये लड़ाई ‘किसानों की खुद्दारी’ और ‘सरकार की खुदगर्जी’ के बीच है।
ये लड़ाई ‘किसानों की बेबसी’ और ‘सरकार की बर्बरता’ की है।ये लड़ाई सत्ता के सिंहासन पर ‘मदमस्त सरकार’ और ‘न्याय मांगते’ सड़क पर बैठे किसानों के बीच है।ये लड़ाई ‘दीया’ और ‘तूफान’ की है,इस संघर्ष में कांग्रेस तब तक डटी रहेगी जब तक काले कानून वापस नहीं ले लिये जाते।