वैक्सीन को लेकर राज्य और केंद्र में टकराव, कांग्रेस ने कहा जीएसटी हटाओ
By शीलेष शर्मा | Published: May 12, 2021 07:56 PM2021-05-12T19:56:04+5:302021-05-12T19:57:22+5:30
कोरोना महामारी की जंग में दवाइयों , वैक्सीन , सैनिटाइज़र , ऑक्सीजन कॉन्सेंट्रेटर सहित दूसरी वस्तुओं पर लगे जीएसटी की मार राज्य सरकारों को परेशान कर रही है
कोरोना महामारी की जंग में वैक्सीन की कमी को लेकर राज्य सरकारों और केंद्र के बीच जंग छिड़ गयी है। राज्य सरकारों का आरोप है कि वैक्सीन की पर्याप्त सप्लाई न मिलने के कारण 18 से 44 वर्ष के बीच के लोगों को वैक्सीन देना संभव नहीं हो पा रहा है नतीजा वैक्सीन देने के लिए बनाये गए अधिकांश केंद्र फिलहाल बंद करने पड़ रहे हैं।
क्योंकि प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व वाली सरकार ने इन सभी जीवन रक्षक उपकरणों और दवाइयों पर भारी जीएसटी की दरें लागू कर राखी हैं। राजस्थान के स्वास्थ्य मंत्री रघु शर्मा ने लोकमत को दी जानकारी के अनुसार साफ़ किया कि वैक्सीन के लगभग आठ लाख वाइल्स मई के तीसरे सप्ताह तक राज्य सरकार को प्राप्त होंगे जिसके लिए राज्य सरकार पहले ही उसका भुगतान कर चुकी है।
अकेले जयपुर में दो दिन पहले तक 7412 लोगों को वैक्सीन की पहली डोज़ दी जा चुकी है जबकि पूरे राज्य में सभी आयु वर्ग के लोगों की संख्या जोड़ी जाए तो यह 79075 तक पहुँच चुकी है। पिछले रविवार तक 45757 लोगों को जो 18 से 44 वर्ष के बीच के हैं को वैक्सीन देने का मुहीम शुरू किया है। सरकार का इरादा सबसे पहले 18 से 44 वर्ष के बीच के वर्ग में उन 18 श्रेणियों को वैक्सीन देने का फैसला किया गया है जिनमें रेलवे और हवाई सेवा के फ्रंट लाइन वर्कर, पत्रकार , यातायात विभाग के कर्मचारी जैसी श्रेणियां शामिल हैं।
इधर कांग्रेस ने सरकार पर आज जीएसटी की मार को लेकर तीखा हमला बोला और आरोप लगाया कि मोदी सरकार करवा महामारी के बीच भी व्यापार कर रही है। पार्टी की ओर से पार्टी प्रवक्ता गौरव वल्लभ ने आंकड़े पेश करते हुए कहा कि रेमडेसिविर , ऑक्सीजन कॉन्सेंट्रेटर , वेंटीलेटर और मेडिकल ऑक्सीजन पर 12 फीसदी जीएसटी , फेस शील्ड , पीपीई किट, सैनिटाइज़र पर 18 फीसदी जीएसटी और एम्बुलेंस पर 28 फीसदी जीएसटी लागू किया गया है।
कांग्रेस ने यह भी आरोप लगाया कि कोविशिल्ड पर लागू जीएसटी से केंद्र सरकार 1968 करोड़ की रकम वसूल रही है जो निजी अस्पतालों और राज्य सरकारों के खाते से जायेगी। यदि केवल वैक्सीन की बात करें तो राज्यों से और देश के लोगों से 3018 करोड़ की रकम जीएसटी के रूप में केंद्र वसूली कर रहा है। पार्टी की मांग थी कि जीएसटी को तत्काल समाप्त किया जाए।
ताकि केवल कांग्रेस शासित प्रदेश ही नहीं अन्य राज्य जिसमें दिल्ली , महाराष्ट्र , उत्तर प्रदेश , मध्य प्रदेश , पंजाब , छत्तीसगढ़ सहित दूसरे राज्य शामिल हैं पर्याप्त मात्रा में वैक्सीन ले सकें बिना किसी अतिरिक्त आर्थिक बोझ के। साथ ही यह भी सुनिश्चित किया जाये कि राज्य सरकारों को मांग के अनुरूप वैक्सीन मिल सके। एक तरफ स्वास्थ्य मंत्रालय महाराष्ट्र सरकार के कोरोना महामारी से निपटने के मॉडल की तारीफ कर रही है लेकिन दूसरी तरफ पर्याप्त मात्रा में वैक्सीन उपलब्ध नहीं करा रही है।