सीएम नीतीश कुमार ने शिवसेना सांसद संजय राउत पर कसा तंज, कहा-उसे कुछ समझ है, मैं ऐसे लोगों के बयान का नोटिस भी नहीं लेता

By एस पी सिन्हा | Published: July 19, 2021 08:14 PM2021-07-19T20:14:34+5:302021-07-19T21:56:59+5:30

मुख्यमंत्री से कहा गया कि आपने जनसंख्या नियंत्रण कानून पर जो बयान दिया था, उसके बाद शिवसेना नेता ने भाजपा से समर्थन वापस लेने को कहा था.

CM Nitish Kumar Shiv Sena MP Sanjay Raut said he has some understanding I do not even take notice of such people's statements | सीएम नीतीश कुमार ने शिवसेना सांसद संजय राउत पर कसा तंज, कहा-उसे कुछ समझ है, मैं ऐसे लोगों के बयान का नोटिस भी नहीं लेता

डीजल-पेट्रोल के मूल्य में बेतहाशा वृद्धि पर कहा कि हां दाम तो बढे़ हैं. लेकिन मूल्य रोकने के लिए क्या उपाय किये जाएं.

Highlightsशिक्षा से लोगों में जागरूकता आ रही है. इससे प्रजनन दर में कमी आई है.शिवसेना पर तंज कसते हुए कहा कि किसको छोड़ कर कहां गया है? केंद्र सरकार ने कई दफे बातचीत की है, एक बार फिर से कर ले. लेकिन यह विरोध कुछ इलाकों में है.

पटनाः बिहार में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के द्वारा लगाई जा रही जनता दरबार में शिकायतों की भरमार लग जा रही है. वहीं लोगों की समस्‍याओं पर मुख्‍यमंत्री तत्‍काल कार्रवाई का आदेश दे रहे हैं.

आज जनता दरबार कार्यक्रम खत्म होने के बाद नीतीश कुमार ने पत्रकारों से बातचीत की. इस दौरान शिवसेना के जनसंख्या कानून पर दिए गए बयान से जुडे़ एक सवाल पर वह भड़क गए. शिवसेना नेता संजय राउत के भाजपा से नीतीश सरकार से समर्थन वापस लेने की बात पूछे जाने पर मुख्यमंत्री ने कहा कि उनको कुछ समझ है, वो कहां हैं पहले ये देखें. 

उन्होंने कहा कि हम लोग बिना वजह किसी पर कुछ बोलते नहीं हैं. हमारा अपना-अपना विचार है. हम ऐसे लोगों के बयान का नोटिस ही नहीं लेते हैं. आप सवाल पूछ रहे हैं तो बता देते हैं. उन्होंने कहा कि उसे कुछ समझ है, खुद कहां है जानते हैं? आप बता रहे हैं कि वो कुछ बोल रहा था? मुख्यमंत्री ने पूछा कि वो क्या बोल रहा था?

इस पर मुख्यमंत्री से कहा गया कि आपने जनसंख्या नियंत्रण कानून पर जो बयान दिया था, उसके बाद शिवसेना नेता ने भाजपा से समर्थन वापस लेने को कहा था. इस पर मुख्यमंत्री ने कहा कि हमने तो उस दिन कहा ही था कि शिक्षा से लोगों में जागरूकता आ रही है. इससे प्रजनन दर में कमी आई है.

शिवसेना पर तंज कसते हुए कहा कि किसको छोड़ कर कहां गया है? किसको छोड़कर कहां आने वाला है? यह तो वो जाने.... हमलोग बिना वजह किसी पर कुछ नहीं बोलते. कृषि कानून पर जारी विरोध पर मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना काल में इस तरह का विरोध उचित नहीं है. केंद्र सरकार ने कई दफे बातचीत की है, एक बार फिर से कर ले. लेकिन यह विरोध कुछ इलाकों में है.

उनलोगों के साथ बातचीत कर समाधान होना चाहिए. वहीं, डीजल-पेट्रोल के मूल्य में बेतहाशा वृद्धि पर कहा कि हां दाम तो बढे़ हैं. लेकिन मूल्य रोकने के लिए क्या उपाय किये जाएं, इस पर अभी विचार नहीं किया है. उन्होंने कहा कि टैक्स कम करने को लेकर हमलोगों ने कभी गौर नहीं किया है. ईमानदारी से बता देते हैं.... रेट तो बढ़ रहा है.

टैक्स करने के सवाल पर उन्होंने कहा कि हमलोग इस पर गौर करेंगे और आपस में विचार करेंगे. अखबार में रोज छपता है, हम देखते हैं...इस पर क्या किया जा सकता है. जनता दरबार में आज मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के ड्रीम प्रोजेक्ट सात निश्चय योजना के तहत आने वाले नल जल योजना में भारी गड़बड़ी का मामला सामने आया है.

जनता दरबार कार्यक्रम में आज कई फरियादी इस मामले को लेकर मुख्यमंत्री के सामने पहुंचे. फरियादियों ने यह शिकायत की कि नल जल योजना में भारी गडबडी देखने को मिल रही है. कई शिकायतकर्ताओं ने मुख्यमंत्री से कहा कि योजना पूरी तरह से बोगस है. नल-जल योजना का लाभ नहीं मिल रहा. धरातल पर कोई काम नहीं दिख रहा. नल तो है लेकिन उसमें जल नहीं आता.

शिकायत करने पर मुखिया द्वारा धमकी दी जाती है. दिखावे के लिए टंकी लगा दिया दिया गया, लेकिन पानी नहीं आ रहा. वहीं पाइप भी बहुत घटिया लगाया गया है. लोगों ने मुख्‍यमंत्री को बताया कि योजना के तहत आधा-अघूरा काम कराया गया है. कई जगह केवल टंकी लगाकर छोड़ दिया गया है, जिसमें पानी नहीं आता.

मुख्‍यमंत्री ने तत्‍काल पंचायती राज विभाग को इस मामले को देखने को कहा. मुख्यमंत्री इस बात को लेकर परेशान दिखे कि जल नल योजना में गड़बड़ी हो रही है. उन्होंने दोषियों पर तत्काल कार्यवाही का भी निर्देश दिया. इतना ही नहीं मुख्यमंत्री के सामने प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत से राशि नहीं मिलने और उद्योग विभाग की तरफ से दिए जाने वाले अनुदान की राशि मुहैया नहीं होने का मामला भी पहुंचा.

उद्योग विभाग के अंतर्गत एक युवक को जब अनुदान नहीं मिला तो उसने मुख्यमंत्री के जनता दरबार में पहुंचकर शिकायत की युवक ने आरोप लगाया कि डीएम साहब जाने पर उसे डांट कर भगा देते हैं. वहीं, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के जनता दरबार में फरियाद लगाते हुए एक बुजुर्ग रोने लगा.

बुजुर्ग ने मुख्यमंत्री से कहा कि बिजली विभाग ने दौड़ा-दौड़ाकर परेशान कर दिया. हमने हर जगह सेटलमेंट के लिए आवेदन दिया. जब मैंने मुख्यमंत्री दरबार में शिकायत की तो आनन-फानन में सेटलमेंट हो गया और 1542 रुपये का चेक दिया गया.

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