Budget 2019: इधर किसानों और बेरोजगारों को राहत, उधर मध्यम वर्ग पर बजट मेहरबान!
By लोकमत समाचार ब्यूरो | Published: February 2, 2019 07:59 AM2019-02-02T07:59:16+5:302019-02-02T16:05:13+5:30
वित्त मंत्री पीयूष गोयल ने बजट पेश करते हुए बताया कि 5 लाख रुपए तक की सालाना आय वालों को टैक्स नहीं देना होगा. अर्थात, अब पांच लाख रुपए तक की आय पर किस भी तरह का कोई टैक्स नहीं लगेगा. इतना ही नहीं, निवेश करने पर 6.5 लाख रुपए तक कोई टैक्स नहीं देना होगा.
लोकसभा चुनाव से पहले चुनावी समीकरण साधने की हर संभव कोशिश की जा रही है, इसके तहत जहां राजस्थान सरकार अपने हर वादे को पूरा करने में लगी है, वहीं केन्द्र की मोदी सरकार बीजेपी के नाराज वोट बैंक- मध्यम वर्ग सहित किसानों, व्यापारियों को मनाने में लगी है.
हालांकि, ऐसी राहत के लिए पैसा कहां से आएगा, इसका फिलहाल कोई स्पष्ट संकेत नहीं है. अलबत्ता, या तो अगली सरकारें भारी आर्थिक परेशानियों का सामना करेंगी या फिर उंचे रेट पर गैस, पेट्रोल, डीजल आदि बेच कर जरूरी धन जुटाया जाएगा.
मिडल क्लास को मिला सबसे बड़ा तोहफा
वित्त मंत्री पीयूष गोयल ने बजट पेश करते हुए बताया कि 5 लाख रुपए तक की सालाना आय वालों को टैक्स नहीं देना होगा. अर्थात, अब पांच लाख रुपए तक की आय पर किस भी तरह का कोई टैक्स नहीं लगेगा. इतना ही नहीं, निवेश करने पर 6.5 लाख रुपए तक कोई टैक्स नहीं देना होगा.
समझा जाता है कि करीब 3 करोड़ मध्यम वर्ग के लोगों को इससे फायदा मिलेगा. वैसे तो आयकर छूट की सीमा बढ़ाने की मांग कई बार की गई, लेकिन इस वर्ष लोकसभा चुनाव होने के कारण आयकर सीमा में छूट मिल ही गई, अब लोस चुनाव के बाद ही पता चलेगा कि इस छूट का बीजेपी को कितना सियासी फायदा होगा, इस वक्त तो ऐसे ऐलान के बाद सेंसेक्स में उछाला जरूर आया है.
ताजा विस चुनाव के दौरान राहुल गांधी ने दस दिन में जो किसान कर्जामाफी का वादा किया था, उसने असर दिखाया और बीजेपी के असर वाले तीन राज्य- एमपी, राजस्थान और छत्तीसगढ़, बीजेपी के हाथ से निकल गए.
छोटे किसानों पर मेहरबान सरकार
इसीलिए, इस बार का बजट किसानों के लिए भी है, बजट पेश करते हुए गोयल ने ऐलान किया कि- प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना में 2 हेक्टेयर तक की जमीन वाले छोटे किसानों को 6,000 रुपये प्रति वर्ष मिलेंगे. तीन किस्तों में पैसे मिलेंगे. पहली किस्त जल्द मिलेगी. यह पैसा 2 हेक्टेयर जमीन वाले किसानों को दिया जाएगा. यह योजना दिसंबर 2018 से ही लागू हो जाएगी. इसका पूरा खर्च केंद्र सरकार उठाएगी.
इससे 12 करोड़ किसानों को फायदा होगा. इसके साथ ही प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना को मंजूरी दी गई. इस वर्ष किसान निधि के लिए 75 हजार करोड़ रुपए दिए गए हैं.
इधर, राजस्थान की अशोक गहलोत सरकार ने किसान कर्जामाफी का एलान तो पहले ही कर दिया था, अब राज्य के पढ़ेलिखे बेरोजगार युवकों को 3000 रुपए प्रतिमाह का बेरोजगारी भत्ता देने की घोषणा की गई है, जो 1 मार्च 2019 से दिया जाएगा. इसके तहत शिक्षित लड़कों को 3000 रुपए प्रति माह और लड़कियों को 3500 रुपए प्रतिमाह बतौर बेरोजगारी भत्ता दिए जाएंगे.
राजस्थान में लोस की 25 सीटें हैं, पिछली बार लोस चुनाव में बीजेपी ने 25 सीटें जीत लीं थी, लेकिन इस बार राजनीतिक तस्वीर बदली हुई है. विस चुनाव में बीजेपी और कांग्रेस दोनों को करीब-करीब बराबर वोट मिले थे.
प्रदेश की कांग्रेस सरकार 25 सीटें जीतना चाहती है तो बीजेपी की नजर भी इन 25 सीटों पर है, लिहाजा वोटर को मनाने के लिए जहां कांग्रेस की प्रदेश सरकार किसान कर्जामाफी, बेरोजगारी भत्ता आदि से आगे बढ़ने की कोशिश कर रही है, वहीं बीजेपी की केन्द्र सरकार बजट में आयकर मे छूट जैसे मुद्दों पर फोकस है. देखना दिलचस्प होगा कि मतदाता किस पर भरोसा करते हैं?