त्रिपुरा हिंसा और बीएसएफ के अधिकार क्षेत्र को लेकर पीएम मोदी से मिलीं सीएम ममता, केंद्रीय फंड और कोविड-19 वैक्सीन पर चर्चा
By सतीश कुमार सिंह | Published: November 24, 2021 08:02 PM2021-11-24T20:02:56+5:302021-11-24T20:05:14+5:30
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने दिल्ली की अपनी यात्रा के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की।
नई दिल्लीः पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने बुधवार को नई दिल्ली में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की। ममता ने राज्य में बीएसएफ के क्षेत्रीय अधिकार क्षेत्र का मुद्दा उठाया और इसे वापस लेने की मांग की। बैठक के दौरान ममता ने अप्रैल में एक बिजनेस समिट के लिए पीएम मोदी को मुख्य अतिथि के तौर पर भी आमंत्रित किया।
ममता ने पीएम से कहा, "बीएसएफ को अधिक अधिकार देने से राज्य पुलिस के साथ कानून-व्यवस्था में टकराव होता है। हम बीएसएफ के खिलाफ नहीं हैं। बिना किसी कारण के संघीय ढांचे को बिगाड़ना सही नहीं है।" बैठक में ममता ने केंद्र सरकार से ऐसी नीति मांगी, जिसमें दोनों कोविड-19 वैक्सीन की खुराक के बीच कोई अंतर न हो।
West Bengal CM Mamata Banerjee called on Prime Minister Narendra Modi today in Delhi.
— ANI (@ANI) November 24, 2021
(Photo source: PMO) pic.twitter.com/OwBqfRmn8v
दिल्ली में पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी ने कहा कि मैंने राज्य से जुड़े कई मुद्दों पर आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की। हमने बीएसएफ के अधिकार क्षेत्र के विस्तार के मुद्दे पर भी बात की और इस फैसले को वापस लेने की मांग की। त्रिपुरा में हो रहे अत्याचारों के मुद्दे पर बात की।
I also spoke to PM Modi on Tripura violence: West Bengal CM Mamata Banerjee
— ANI (@ANI) November 24, 2021
If Akhilesh (Samajwadi Party chief Akhilesh Yadav) needs our help, then we are ready to extend help, says Mamata Banerjee on being asked about UP Assembly elections pic.twitter.com/V2XqY7mO4q
बिप्लब देब नीत भाजपा सरकार के तहत त्रिपुरा की स्थिति को भयानक बताते हुए बनर्जी ने आश्चर्य व्यक्त किया कि मानवाधिकार आयोग पूर्वोत्तर के इस राज्य में क्रूर ताकत का किये जा रहे इस्तेमाल का "संज्ञान क्यों नहीं ले रहा” है। उन्होंने कहा, ‘‘त्रिपुरा में कोई लोकतंत्र नहीं है।
हत्याएं हो रही हैं। हथियारों के साथ गुंडे पुलिस थानों में घुस जा रहे हैं। मैं बता नहीं सकती कि कितने लोगों को कोलकाता लाया गया और एसएसकेएम अस्पताल में भर्ती कराया गया, जिन्हें त्रिपुरा में चोटें आई थी। ’’ तृणमूल कांग्रेस प्रमुख ने सवाल किया, ‘‘वह (त्रिपुरा में भाजपा सरकार) घायलों का मूलभूत उपचार तक नहीं करा रही है।
मानवाधिकार आयोग और वामपंथी अधिकार संगठन कहां हैं?’’ उन्होंने कहा, “त्रिपुरा के मुख्यमंत्री (बिप्लब देब) और उनकी सरकार उच्चतम न्यायालय के निर्देश की अवहेलना कर रही है। उन्हें आम लोगों को जवाब देना होगा। मैं शीर्ष अदालत से उनकी सरकार के खिलाफ कानून के अनुसार कार्रवाई करने की अपील करूंगी।”