बाम्बे हाई कोर्ट ने मुंबई हवाई अड्डे के पास बनी 48 ऊंची इमारतों के उन हिस्सों को गिराने का आदेश दिया, जिनसे विमान दुर्घटना की अंदेशा है

By आशीष कुमार पाण्डेय | Published: July 29, 2022 09:15 PM2022-07-29T21:15:52+5:302022-07-29T21:19:04+5:30

बाम्बे हाईकोर्ट ने एयरपोर्ट से सटे उन 48 इमारतों के ऊंचे हिस्सों को गिराने का आदेश दिया है, जिनसे विमान दुर्घटना की आशंका पैदा होती है।

Bombay High Court orders demolition of 48 high-rise buildings suspected to have crashed near Mumbai airport | बाम्बे हाई कोर्ट ने मुंबई हवाई अड्डे के पास बनी 48 ऊंची इमारतों के उन हिस्सों को गिराने का आदेश दिया, जिनसे विमान दुर्घटना की अंदेशा है

फाइल फोटो

Highlightsबाम्बे हाईकोर्ट ने मुंबई एयरपोर्ट के पास बनी ऊंची इमारतों के कुछ हिस्सों को गिराने का आदेश दियाहाईकोर्ट ने यह आदेश नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (डीजीसीए) के आदेशों के अनुपालन में दियाहाईकोर्ट ने कहा कि इमारतों के उन हिस्सों को गिरा दिया जाए, जिनसे विमान हादसे की आशंका हो

मुंबई: बाम्बे हाईकोर्ट ने शुक्रवार को मुंबई उपनगरीय इलाके में इंटरनेशनल एयरपोर्ट के पास तय मानक से अधिक ऊंचाई की कुल 48 इमारतों के उन हिस्सों को गिराने का आदेश दिया है, जिनसे उड़ानों को प्रभावित कर सकते हैं।

इस संबंध में हाईकोर्ट ने जिला कलेक्टर को फौरी एक्शन लेते हुए कहा कि जिन 48 इमारतों ने ऊंचाई मानदंडों का उल्लंघन किया है, उनके उन हिस्सों को गिरा दिया जाए, जिनसे विमान दुर्घटना की आशंका पैदा होती हो। हाईकोर्ट ने यह सख्त आदेश नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (डीजीसीए) के आदेशों के अनुपालन में दिया है।

दरअसल इस मामले में बाम्बे हाईकोर्ट के समक्ष एक जनहित याचिका (पीआईएल) दायर की गई थी। इस याचिका को दायर करने वाले हाईकोर्ट के वकील यशवंत शेनाय ने हाईकोर्ट से कहा था कि गैरकानूनी तौर पर निश्चित ऊंचाई से ऊपर बनी इमारतों के उन हिस्सों को ध्वस्त किया जाना है जिनके कारण मुंबई हवाई अड्डे के लिए हमेशा खतरा बना रहता है।

जानकारी के मुताबिक वकील यशवंत शेनाय की याचिका पर सुनवाई से पहले हाईकोर्ट ने बीते 25 जुलाई यानी सोमवार को मुंबई हवाई अड्डे के पास बनी ऊंची इमारतों से विमानों के लिए खतरा होने वाली एक याचिका पर सुनवाई की। उस दौरान कोर्ट ने बेहद तल्ख टिप्पणी करते हुए कहा था कि उड़ानों में सब कुछ हवाई यातायात नियंत्रण पर निर्भर करता है और किसी भी गलती के कारण विमान में सवार यात्रियों के सामने जीवन का संकट पैदा हो सकता है।

आज के मामले में बाम्बे हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस दीपांकर दत्ता और जस्टिस एमएस कार्णिक की बेंच ने इस संबंध में वकील यशवंत शेनाय की दायर जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए कहा कि मुंबई हवाई अड्डे के आसपास के क्षेत्र में निर्धारित ऊंचाई सीमा से ऊपर बने भवनों के खिलाफ सख्त एक्शन लिया जाना चाहिए।

मामले में फैसला देने पहले चीफ जस्टिस दीपांकर दत्ता ने अजय देवगन की फिल्म 'रनवे 34' का भी जिक्र करते हुए विमान की सुरक्षा केवल कुशल पायलटों की जिम्मेदारी नहीं होती, बल्कि विमान की सुरक्षा अन्य कारणों पर भी निर्भर रहती है। हवाई यातायात नियंत्रण भी विमानों की सुगम यात्रा के लिए बहुत हद तक जिम्मेदार होता है। ऐसे में हवाई अड्डे के पास बनी गैर-कानूनी ऊंची इमारतों के उच्चे हिस्से इसके लिए बराबर खतरे की तरह हैं। इसलिए इन इमारतों के उन हिस्सों को गिराया जाना बेहद आवश्यक है। (समाचार एजेंसी पीटीआई के इनपुट के साथ)

Web Title: Bombay High Court orders demolition of 48 high-rise buildings suspected to have crashed near Mumbai airport

भारत से जुड़ीहिंदी खबरोंऔर देश दुनिया खबरोंके लिए यहाँ क्लिक करे.यूट्यूब चैनल यहाँ इब करें और देखें हमारा एक्सक्लूसिव वीडियो कंटेंट. सोशल से जुड़ने के लिए हमारा Facebook Pageलाइक करे