पटना में अस्पताल की बड़ी लापरवाही, कोरोना से 'मृत' घोषित मरीज जिंदा निकला, अंतिम संस्कार से पहले खुला राज
By विनीत कुमार | Published: April 12, 2021 11:21 AM2021-04-12T11:21:16+5:302021-04-12T11:21:16+5:30
पटना के पीएमसीएच में लापरवाही का एक बड़ा मामला सामने आया है। यहां एक मरीज को अस्पताल ने कोरोना से मृत घोषित कर दिया था पर वो जिंदा निकला।
बिहार की राजधानी पटना में अस्पताल की लापरवाही का एक हैरान करने वाला मामला सामने आया है। ये घटना पटना मेडिकल कॉलेज अस्पताल (PMCH) से जुड़ी है। यहां एक शख्स को ब्रैन हैमरेज के बाद भर्ती कराया गया था जिसे अस्पताल प्रशासन ने बाद में मृत घोषित कर दिया। साथ ही परिजनों को डेथ सर्टिफिकेट भी अस्पताल की ओर से दे दिया गया।
हालांकि, बाद में खुलासा हुआ कि शख्स जिंदा है। दरअसल, 40 साल चुन्नू कुमार को 3 अप्रैल को पटना के पीएमसीएच अस्पताल में उसके परिजनों द्वारा भर्ती कराया गया था। न्यूज एजेंसी एएनआई के अनुसार इसी रविवार को परिजनों को सूचना दी गई कि मरीज की मौत कोरोना से हो गई है।
परिजनों को जब ये सूचना मिली तो उन्होंने तमाम कोविड प्रोटोकॉल के तहत शव लिया और अंतिम संस्कार की तैयारी भी शुरू कर दी। हालांकि, पूरे मामले ने नया मोड़ उस समय लिया जब करीबी रिश्तेदारों ने अंतिम संस्कार से पहले चुन्नू कुमार का चेहरा देखने की जिद की।
आखिरकार जब शव से चादर हटाया गया तो परिजनों की हैरानी का ठिकाना नहीं रहा। दरअसल, वो शव चुन्नू कुमार का नहीं बल्कि किसी और का था। इसके बाद परिजनों ने जब छानबीन शुरू की तो पता चला कि चुन्नू अभी जिंदा और सही-सलामत हैं।
अस्पताल के कर्मचारियों की लापरवाही के कारण चुन्नू के परिजनों को किसी और शव का दे दिया गया था, जिसकी वे अंतिम संस्कार की तैयारी भी पूरी कर चुके थे।
एएनआई के अनुसार पूरा मामला जब पीएमसीएच से सुप्रीटेंडेंट डॉक्टर आईएस ठाकुर के पास पहुंचा तो उन्होंने मामले में कार्रवाई के आश्वासन दिए हैं। न्यूज एजेंसी के अनुसार उन्होंने कहा, 'इस मामले में जो दोषी पाए जाएंगे, उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।'
इस बीच चुन्नू कुमार के परिजनों में पूरे मामले को लेकर नाराजगी है और अस्पताल पर लापरवाही का आरोप लगा रहे हैं।
चुन्नू कुमार की पत्नी कविता ने बताया, 'मेरे पूरे परिवार की कोरोना रिपोर्ट निगेटिव आई है। मेरे पति पिछले कई दिनों से टूटे पैर का भी इलाज करा रहे थे। ऐसे में वो कहीं ज्यादा आना-जाना भी नहीं कर सकते फिर उन्हें कोरोना कैसे हो सकता है। अस्पताल अपने मरीजों के साथ लापरवाही कर रहा है नहीं तो ऐसी घटना कैसे हो सकती थी।'