बिहार: जलजमाव पर पटना हाईकोर्ट ने अधिकारीयों को लताड़ा, कहा-जिम्मेदार को नही बख्शा जायेगा
By एस पी सिन्हा | Published: October 16, 2019 06:50 PM2019-10-16T18:50:21+5:302019-10-16T18:50:21+5:30
हाईकोर्ट ने जलजमाव को लेकर मामले की सुनवाई करते हुए कड़ी नाराजगी जताई साथ ही अधिकारियों का तबादला किए जाने की सरकार की नीति पर भी नाराजगी जताते हुए कहा कि सभी जिम्मेदार अधिकारियों को जवाब देना होगा.
बिहार की राजधानी पटना में भयंकर जलजमाव के मामले पर पटना हाईकोर्ट में बुधवार को सुनवाई हुई, जिसपर कोर्ट ने बिहार सरकार के संबंधित अधिकारियों पर आंखे तरेरी हैं और कहा है कि इस स्थिति के लिए जो भी लोग जिम्मेवार हैं, उन्हें किसी भी हाल में बख्शा नहीं जायेगा.
वहीं, कोर्ट में इस मामले की सुनवाई करते हुए जस्टिस एस पांडेय की खंडपीठ ने मामले पर वकीलों की शिकायतें सुनते हुए सरकार के अधिकारियों के ट्रांसफर करने की नीति पर कड़ी नाराजगी जाहिर करते हुए कहा कि सभी जिम्मेदार अधिकारियों को इस मामले में जवाब देना होगा.
अब इस मामले को लेकर दायर सभी याचिकाओं की सुनवाई अब 18 अक्टूबर को होगी. पटना में पिछले दिनों बारिश के कारण हुए भयंकर जलजमाव मामले में वकीलों के अनुरोध पर न्यायाधीश शिवाजी पांडेय और न्यायाधीश पार्थ सार्थी की खंडपीठ ने सुनवाई की तारीख निर्धारित की थी.
अदालत ने माना है कि जलजमाव एक गंभीर समस्या है और इससे राजधानी पटना के नागरिकों को काफी परेशानी हुई है. हाईकोर्ट ने जलजमाव को लेकर मामले की सुनवाई करते हुए कड़ी नाराजगी जताई साथ ही अधिकारियों का तबादला किए जाने की सरकार की नीति पर भी नाराजगी जताते हुए कहा कि सभी जिम्मेदार अधिकारियों को जवाब देना होगा. साथ ही अदालत ने दानापुर नगर परिषद और बुडको को पार्टी बनाने का निर्देश दिया.
इसबीच, कोर्ट को अधिवक्ताओं ने बताया है कि पूरे पटना के नागरिकों को जलजमाव के दौरान नारकीय स्थिति में झोंक दिया गया था. कोर्ट ने कहा कि राजधानीवासियों की सुविधाओं एवं जलजमाव की समस्या को समाप्त करने के लिए बनी योजनाओं की राशि में हेरफेर की जांच के लिए कमेटी भी गठित की जा सकती है. कोर्ट ने कहा कि इस गंभीर मामले की मॉनिटरिंग भी की जायेगी ताकि जो भी लोग इस स्थिति के लिए जिम्मेदार होंगे, उन्हें जवाबदेह मानते हुए उनके खिलाफ कार्रवाई की जा सके. इसके साथ ही कोर्ट ने पूर्व सांसद सह जन अधिकार पार्टी के अध्यक्ष राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव को वकील के माध्यम से अपनी बात कोर्ट के सामने रखने को कहा है.
यहां बता दें कि राज्य सरकार ने पटना में भीषण जलजमाव के कारणों की जांच के लिए चार सदस्यीय कमीटी का गठन कर दिया है. विकास आयुक्त की अध्यक्षता में गठित यह कमेटी जलजमाव के कारणों और इसके लिए दोषी अधिकारियों और पदाधिकारियों को चिह्नित करते हुए रिपोर्ट तैयार कर सरकार को सौंपेगी. इस कमेटी को एक महीने में अपनी रिपोर्ट तैयार सौंपने के लिए कहा गया है. इसके पहले सरकार ने नगर विकास विभाग के प्रधान सचिव चैतन्य प्रसाद एवं बुडको के एमडी अमरेन्द्र कुमार सिंह का तबादला कर दिया है.