बिहारः जदयू से निकाले गए अजय आलोक, अनिल कुमार, विपिन यादव और जितेंद्र नीरज, केंद्रीय मंत्री आरसीपी सिंह के नजदीकी के कारण एक्शन
By एस पी सिन्हा | Published: June 14, 2022 03:28 PM2022-06-14T15:28:57+5:302022-06-14T17:03:34+5:30
जदयू ने अनुशासनात्मक कार्रवाई करते हुए पार्टी के महासचिव अनिल कुमार, विपिन यादव, पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता डा. अजय आलोक और भंग समाज सुधार सेनानी प्रकोष्ठ के अध्यक्ष जितेंद्र नीरज पार्टी से बर्खास्त कर दिया गया है.
पटनाः बिहार में सत्ताधारी दल जदयू में सबकुछ ठीक-ठाक नहीं चल रहा है. अब केन्द्रीय मंत्री आरसीपी सिंह के करीबियों को पार्टी से बाहर का रास्ता दिखाया जाने लगा है. पार्टी ने संगठन का कामकाज देख रहे अपने चार पदाधिकारियों को पार्टी से बर्खास्त कर दिया है.
इनमें पार्टी के दो महासचिव, एक प्रदेश प्रवक्ता और एक भंग प्रकोष्ठ के प्रदेश अध्यक्ष हैं. पार्टी सूत्रों का कहना है कि निलंबित किए गए चारो नेता केंद्रीय मंत्री आरसीपी सिंह के करीबी हैं. हाल ही में जदयू ने राज्यसभा चुनाव में आरसीपी को टिकट नहीं दिया. साथ ही कई लोगों को पार्टी में किनारे लगाया गया जो आरसीपी के करीबी बताए जाते हैं.
अब इन चारों नेताओं पर हुई कार्रवाई भी उसी के अनुरूप बताया जा रहा है. हालांकि जदयू ने निलंबन को पार्टी विरोधी गतिविधियों के कारण की गई कार्रवाई बताया है. जदयू के प्रदेश अध्यक्ष उमेश कुशवाहा ने एक बयान जारी कर कहा कि पार्टी का अनुशासन तोड़ने के आरोप में इन नेताओं के खिलाफ कार्रवाई की गई है.
जदयू ने अनुशासनात्मक कार्रवाई करते हुए पार्टी के महासचिव अनिल कुमार, विपिन यादव, पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता डा. अजय आलोक और भंग समाज सुधार सेनानी प्रकोष्ठ के अध्यक्ष जितेंद्र नीरज पार्टी से बर्खास्त कर दिया गया है. उमेश कुशवाहा ने कहा कि पार्टी के कुछ पदाधिकारी लगातार अनुशासन भंग कर रहे थे. इसलिए उन पर कार्रवाई की गई है.
उन्होंने कहा कि कुछ जिलों से कई पदाधिकारियों की शिकायत मिल रही थी, वैसे लोगों पर कार्रवाई की गई है ताकि पार्टी में अनुशासन बनी रहे. बताया जाता है कि अनिल कुमार और विपिन कुमार काफी दिनों से जदयू प्रदेश कार्यालय के बाहर केंद्रीय मंत्री आरसीपी सिंह के कार्यक्रमों में सक्रिय थे.
वहीं, डा. अजय आलोक ने भी पिछले दिनों राज्यसभा चुनाव के समय प्रत्याशी के चयन को लेकर सार्वजनिक रूप से वक्तव्य दिया था. उल्लेखनीय है कि जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह और आरसीपी सिंह के बीच रिश्ते तल्ख होने की बात जगजाहिर है.
भले ही दोनों नेता इससे इनकार करें, लेकिन पार्टी के सूत्रों का कहना है कि दोनों के बीच तनाव के कारण ही अब ललन सिंह की ओर से आरसीपी खेमे के नेताओं को पार्टी से किनारे लगाया जा रहा है. बता दें कि हाल ही में हुए राज्यसभा चुनाव में जदयू ने केंद्रीय मंत्री आरसीपी सिंह को टिकट नहीं दिया. जिसके बाद माना जा रहा था कि जदयू में गुटबाजी तेज हो गई है.
ललन सिंह और आरसीपी सिंह के समर्थकों को उमेश कुशवाहा ने चेतावनी भी दी थी. वहीं अजय आलोक ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और आरसीपी सिंह के गहरे संबंधों का जिक्र करते हुए कहा था कि शिल्पकार अपनी मूर्ति कभी नहीं तोड़ते हैं.
साथ ही उन्होंने आरसीपी का नाम लेते हुए कहा था कि उनका अहम योगदान हमेशा रहेगा. मुख्य प्रवक्ता नीरज कुमार ने उनके ट्वीट पर अपनी प्रतिक्रिया में देते हुए उसे निजी विचार बताया था. साथ ही सलाह नहीं देने की नसीहत भी दी थी.