बिहार में क्वॉरंटाइन सेंटर में रखे गए आप्रवासी मजदूरों को नहीं भा रहा है भजन, मांग है- 'लॉलीपॉप गाना और छलकता हमरो...'

By एस पी सिन्हा | Published: May 26, 2020 02:00 PM2020-05-26T14:00:13+5:302020-05-26T14:00:13+5:30

सीवान की एक महिला शिक्षक ने इसको लेकर शिक्षक संघ से शिकायत की है. कहा क्वॉरंटाइन सेंटर में प्रवासी मजदूर भोजपुरी के अश्लील गाने की डिमांड कर रहे हैं. ऐसे में काम करना वहां पर मुश्किल हो रहा है. संघ ने कहा कि क्वॉरंटाइन सेंटर से महिला शिक्षकों की ड्यूटी हटाई जाए या महिला को सुरक्षा दी जाए.

Bihar immigrant laborers housed in quarantine center are not pleased | बिहार में क्वॉरंटाइन सेंटर में रखे गए आप्रवासी मजदूरों को नहीं भा रहा है भजन, मांग है- 'लॉलीपॉप गाना और छलकता हमरो...'

संघ ने कहा कि क्वॉरंटाइन सेंटर से महिला शिक्षकों की ड्यूटी हटाई जाए या महिला को सुरक्षा दी जाए

Highlightsआप्रवासी मजदूरों के तरह-तरह के फरमाईश को सुनकर सरकार भी परेशानी में पड़ गई हैलॉकडाउन में फंसे बिहारी प्रवासी मजदूरों को ट्रेनों से रोज लाया जा रहा है.

पटना: बिहार में क्वॉरंटाइन सेंटर में रखे गये आप्रवासी मजदूरों के तरह-तरह के फरमाईश को सुनकर सरकार भी परेशानी में पड़ गई है. उनके लिए किए गए खाने और रहने के इंतजाम के अलावे अब उनके मनोरंजन के लिए भी राज्य सरकार को परेशान होना पड़ रहा है. 

ऐसे में सरकार ने उनके लिए वंदे मातरम और भजन सुनने  की वयवस्था कर दी है. लेकिन इससे उनका मन नही भर रहा है. आप्रवासी मजदूर भजन के बदले लॉलीपॉप गाना और छलकता हमरो जवनिया ए राजा जैसे जाने की फरमाईश स्कूलों में तैनात महिला संगीत शिक्षक से डिमांड कर रहे है. यही नहीं इस तरह के गाना नहीं गाने पर महिला शिक्षकों को गाली भी दे रहे है.

प्राप्त जानकारी के अनुसार सीवान की एक महिला शिक्षक ने इसको लेकर शिक्षक संघ से शिकायत की है. कहा क्वॉरंटाइन सेंटर में प्रवासी मजदूर भोजपुरी के अश्लील गाने की डिमांड कर रहे हैं. ऐसे में काम करना वहां पर मुश्किल हो रहा है. संघ ने कहा कि क्वॉरंटाइन सेंटर से महिला शिक्षकों की ड्यूटी हटाई जाए या महिला को सुरक्षा दी जाए. दरअसल, क्वॉरंटाइन सेंटर में रह रहे प्रवासी मजदूरों के मनोरंजन के लिए भजन, गाने का कार्यक्रम किया जा रहा है. जिससे प्रवासी मजदूरों का तनाव कम हो सके. ऐसे में बिहार के संगीत शिक्षकों को भी ड्यूटी में लगाया गया है. लेकिन प्रवासी मजदूर इस तरह का डिमांड कर रहे है कि ड्यूटी करने वाली महिला शिक्षक परेशान हो गई हैं. यहां बता दें कि लॉकडाउन में फंसे बिहारी प्रवासी मजदूरों को ट्रेनों से रोज लाया जा रहा है.

सूचना एवं जनसंपर्क विभाग के सचिव अनुपम कुमार ने बताया कि राज्य में स्पेशल ट्रेनों की जरिए प्रवासियों की वापसी दौर जारी है. एक जून को देश में श्रमिक स्पेशल ट्रेन शुरू की गई थी. पहली ट्रेन 2 जून को जयपुर से दानापुर आई थी. तब से लेकर 25 मई तक कुल 1029 श्रमिक स्पेशल ट्रेन आ चुकी है. जिसके जरिए 15.36 लाख प्रवासी बिहार आ चुके हैं. हालांकि इसमें से बड़ी संख्या में आप्रवासी मजदूरों में कोरोना संक्रमण के मामले सामने आ रहे हैं. क्वॉरंटाइन सेंटर पर लगातार सैंपल लेकर जांच करने का काम तेजी से किया जा रहा है. 3 मई के बाद से दिल्ली से 411, महाराष्ट्र से 403, गुजरात से 278, हरियाणा से 148, राजस्थान से 95, उत्तर प्रदेश से 89, तेलंगना से 81 प्रवासियों को कोरोना पॉजिटिव पाया गया है. 

Web Title: Bihar immigrant laborers housed in quarantine center are not pleased

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