बिहार में फिर सामने आया झोला छाप डॉक्टर के द्वारा गर्भाशय निकाले जाने का मामला

By एस पी सिन्हा | Published: November 27, 2022 10:13 PM2022-11-27T22:13:57+5:302022-11-27T22:13:57+5:30

चिकित्सकों ने बताया कि महिलाओं की कम उम्र में गर्भाशय का ऑपरेशन होने से उन्हें जीवन भर कमर व पैर की दर्द जैसी बीमारियों की शिकायत होने की संभावना बढ़ जाती है। झोला छाप डॉक्टर ने इस घटना को अंजाम देने के बाद मौके से फरार हो गया।

Bihar Case of removal of uterus by fake doctor surfaced again in Bihar | बिहार में फिर सामने आया झोला छाप डॉक्टर के द्वारा गर्भाशय निकाले जाने का मामला

बिहार में फिर सामने आया झोला छाप डॉक्टर के द्वारा गर्भाशय निकाले जाने का मामला

Highlights चंपारण जिले के भैरोगंज के एक झोला छाप डॉक्टर के द्वारा चार महिलाओं का गर्भाशय निकाल लिए जाने का मामला सामने आया सभी महिलाओं की उम्र 30 से 35 वर्ष के बीच है, मरीजों का इलाज सदर अस्पताल में किया जा रहा है। वहीं झोला छाप डॉक्टर ने इस घटना को अंजाम देने के बाद मौके से फरार हो गया

पटना: बिहार में पश्चिम चंपारण जिले के भैरोगंज के एक झोला छाप डॉक्टर के द्वारा चार महिलाओं का गर्भाशय निकाल लिए जाने का मामला सामने आया है। सभी की उम्र 30 से 35 वर्ष के बीच है। पांचों मरीजों का इलाज सदर अस्पताल में किया जा रहा है। वहीं चिकित्सकों ने बताया कि महिलाओं की कम उम्र में गर्भाशय का ऑपरेशन होने से उन्हें जीवन भर कमर व पैर की दर्द जैसी बीमारियों की शिकायत होने की संभावना बढ़ जाती है। झोला छाप डॉक्टर ने इस घटना को अंजाम देने के बाद मौके से फरार हो गया। 

इधर, मामला सामने आने के बाद प्रशासन द्वारा इस अवैध क्लिनिक को सील तो कर दिया गया है। सबसे दिलचस्प बात तो यह है कि एक ही जिले में एक महीने के अंदर इस तरह की दो घटनाएं सामने आने से स्वास्थ्य व्यवस्था पर सवाल खड़े होने लगी है। बताया जाता है कि घटना की जानकारी मिलने पर भैरोगंज के इस अवैध क्लिनिक में छापेमारी की गई तो कुल पांच महिला अस्पताल में भर्ती मिली, जिनका ऑपरेशन किया गया था। इनमें से चार महिलाओं का ऑपरेशन के दौरान गर्भाशय निकाल लिया गया था। 

इसके बाद जब महिलाओं की जांच बगहा अनुमंडलीय अस्पताल में की गई तब जाकर गर्भाशय निकालने की पुष्टि हुई। जबकि एक महिला का पेट खोलकर ऑपरेशन किया गया था। जिसमें मृत नवजात पाया गया। जांच टीम के अधिकारियों ने सभी मरीजों को सुरक्षा की दृष्टिकोण से अनुमंडलीय अस्पताल में भर्ती करा दिया। 

जहां सर्जन चिकित्सक डॉ. विजय कुमार एवं अन्य सहयोगियों की देख रेख में उनका इलाज किया जा रहा है। पीएचसी प्रभारी ने बताया कि अवैध क्लिनिक से चार महिलाओं का गर्भाशय समेत पांच महिलाएं भर्ती मिलीं। जिन्हें बेहतर इलाज के लिए अनुमंडलीय अस्पताल बगहा भेजा गया। 

अवैध ऑपरेशन करने वाले चिकित्सक एवं सभी कर्मी छापेमारी दल के आते ही फरार होने में सफल हो गए। एसडीएम के निर्देश पर अज्ञात के विरुद्ध स्थानीय थाना में प्राथमिकी दर्ज की गई है। वहीं भवन मालिकों के विरुद्ध भी कार्रवाई की जा रही है। मकान मालिक से पूछताछ किया जाएगा कि आप किसके अनुमति से ऑपरेशन करने के लिए मकान को किराये पर दिया गया था।

Web Title: Bihar Case of removal of uterus by fake doctor surfaced again in Bihar

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