बिहार विधानसभा उपचुनावः कांग्रेस प्रभारी भक्त चरण दास बोले-भाजपा से समझौते के कारण राजद ने साथ छोड़ा, आरजेडी ने कहा-19 विधायक नहीं चाहिए
By एस पी सिन्हा | Published: October 19, 2021 06:03 PM2021-10-19T18:03:01+5:302021-10-19T18:04:24+5:30
Bihar Assembly by-election: बिहार कांग्रेस प्रभारी भक्त चरण दास ने राजद पर जमकर हमला बोला है. भाजपा से समझौते के कारण राजद ने कांग्रेस का साथ छोड़ा है.
पटनाः बिहार विधानसभा की दो सीटों पर हो रहे उप चुनाव को लेकर महागठबंधन की दो बड़ी पार्टियां राजद और कांग्रेस एक दूसरे के आमने-सामने खड़ी हो गई हैं. ऐसे में कांग्रेस और राजद के बीच वार-पलटवार जारी है.
इस बीच बिहार कांग्रेस प्रभारी भक्त चरण दास ने राजद पर जमकर हमला बोला है. उन्होंने इशारों-इशारों में कहा कि भाजपा से समझौते के कारण राजद ने कांग्रेस का साथ छोड़ा है. दास ने कहा कि सब कुछ सामने है और संकेत साफ हैं, लेकिन राजद के नेता खुल कर बताने से अभी परहेज कर रहे हैं.
विधानसभा के आम चुनाव में कांग्रेस के हिस्से वाली कुशेश्वरस्थान सीट पर राजद के उम्मीदवार दिए जाने के बाद दोनों ही पार्टियां एक-दूसरे के खिलाफ आक्रामक हो गई हैं. बिहार कांग्रेस के प्रभारी कहा कि उप चुनाव के बाद राजद भाजपा के साथ हाथ मिला सकती है. उन्होंने कहा कि कुशेश्वरस्थान हमारा शुरू से ही सीट रहा है. पिछले चुनाव में हमने वहां से चुनाव हारा था.
लेकिन, वह सीट शुरू से ही ही रहा है और ऐसे में कुशेश्वरस्थान से हमें उम्मीदवार उतारने देना चाहिए था. लेकिन, राजद ने दोनों सीट से अपने पार्टी के उम्मीदवार उतार दिए. उन्होंने उप चुनाव में कांग्रेस की जीत का दावा भी किया. उन्होंने कहा कि राजद के पास सरकार बनाने लायक विधायकों की संख्या नहीं है और उन्हें कांग्रेस के 19 विधायकों समर्थन भी नहीं चाहिए, तो साफ है कि उन्हें किसकी जरूरत है.
भक्त चरण दास ने भाजपा का नाम तो नहीं लिया, लेकिन रही-सही कसर को कांग्रेस विधान पार्षद और प्रदेश प्रवक्ता प्रेमचंद्र मिश्रा ने पूरा कर दिया. उन्होंने साफ-साफ यह कह दिया कि तेजस्वी यादव भाजपा को फायदा पहुंचा रहे हैं. इन्होंने राजद के ऊपर गठबंधन धर्म का पालन नहीं करने का आरोप लगाया है. प्रेमचंद्र मिश्रा ने कहा कि कांग्रेस के साथ राजद ने नाइंसाफी की है.
राजद ने कांग्रेस का साथ लेकर फायदा उठाने का काम किया है. हमारा गठबंधन एनडीए को रोकने के लिए बना, लेकिन उप चुनाव में तेजस्वी यादव ने एकतरफा फैसला लिया. हम मात्र 6 हजार वोट से कुशेश्वरस्थान सीट हारे तो सीट छीन लिया और खुद तारापुर में राजद 7 हजार वोटों से हार गई तो वो सीट राजद का कैसे हो गया?
उन्होंने नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव पर करारा हमला बोलते हुए कहा कि राजद ने गठबंधन धर्म का पालन कभी नहीं किया. कांग्रेस की हकमारी की गई. तेजस्वी को अब आलोचना सुनने और सहने की हिम्मत होनी चाहिए. अकेले लड़कर राजद भाजपा और सांप्रदायिक ताकतों को फायदा पहुंचा रही है. राजद नीतीश सरकार को सपोर्ट कर रही है.
इधर, कांग्रेस नेता के इस बयान के राजद के नेता भी बौखलाहट में हैं. राजद के प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी ने कहा कि कांग्रेस अपने पैर पर खुद कुल्हाडी मार रही है. सोनिया गांधी और राहुल गांधी के साथ सबसे मुश्किल वक्त में भी लालू यादव और राजद ही खडे़ रहे. उन्होंने कहा कि विधानसभा उप चुनाव की दोनों सीटें जीतने पर ही बिहार में महागठबंधन की सरकार बनेगी.
कांग्रेस को यह बात समझनी चाहिए कि यह चुनाव जीतना बेहद जरूरी है और राजद ही यह सीटें जीत सकता है. वहीं, राजद के राज्यसभा सदस्य मनोज झा ने कहा कि भक्त चरण दास कांग्रेस की लुटिया डुबोने में लगे हैं. उन्हें बिहार में अपने नेताओं से बात करनी चाहिए. राजद और कांग्रेस के संबंधों को ठीक से समझना चाहिए, जमीनी हकीकत को जानकर ही बात करनी चाहिए.