BJP के नाराज नेताओं को मनाने भैया जी जोशी पहुंचे पटना पहुंचे, आरके सिन्हा को समझाने का किया प्रयास
By एस पी सिन्हा | Published: May 2, 2019 04:59 AM2019-05-02T04:59:44+5:302019-05-02T04:59:44+5:30
आरके सिन्हा संघ के लिए समर्पित कार्यकर्ता हैं, कभी भी अपने आनुषांगिक राजनीतिक पार्टी भाजपा से कोई मांग नहीं रखी. इस बार स्वतः शत्रुघ्न सिन्हा के पार्टी से दूर होने के बाद से राज्यसभा सांसद आरके सिन्हा की चर्चा शुरु हो गई थी कि इन्हें पटना साहिब से भाजपा उम्मीदवार बना रही है.
बिहार में भाजपा के नाराज नेताओं की फेहरिस्त कम होने का नाम नहीं ले रही है. भाजपा में कई नाराज नेताओं को मनाने के लिए दिल्ली से लेकर पटना तक चार्टर प्लेन से बडे नेताओं का पटना आना और नाराज नेताओं को दिल्ली बुलाकर मना लिया जाना ये दौर चल रहा है. इस फेरहिस्त में नया नाम राज्यसभा सांसद आरके सिन्हा का है. पटना साहिब सीट से टिकट के दावेदार रहे आर के सिन्हा की नाराजगी उस वक्त जाहिर हो गई जब उनको मनाने संघ के एक बडे नेता पटना पहुंचे.
आर.के.सिन्हा एक समर्पित और ईमानदार संघ के कार्यकर्ता के रुप में जाने जाते हैं. इनकी पार्टी और संघ के प्रति समर्पण रहा है. इस बात को सभी कार्यकर्ता से लेकर वरिष्ठ नेता तक मानते हैं. आरके सिन्हा संघ के लिए समर्पित कार्यकर्ता हैं, कभी भी अपने आनुषांगिक राजनीतिक पार्टी भाजपा से कोई मांग नहीं रखी. इस बार स्वतः शत्रुघ्न सिन्हा के पार्टी से दूर होने के बाद से राज्यसभा सांसद आरके सिन्हा की चर्चा शुरु हो गई थी कि इन्हें पटना साहिब से भाजपा उम्मीदवार बना रही है. लेकिन ऐन मौके पर इनको पार्टी ने उनके बदले केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद के नाम की घोषणा कर दी गई. इतना ही नहीं इन्हें इस बात के लिए किसी स्तर से पूछा भी नहीं गया.
प्राप्त जानकारी के अनुसार सिन्हा के बडे कद को देखते हुए भाजपा के साथ-साथ आरएसएस के प्रमुख नेता भी उन्हें मनाने में लगे हैं. इसी क्रम में सर सहकार्यवाहक भैया जी जोशी पटना पहुंचे. आरके सिन्हा को पटना स्थित आरएसएस कार्यालय में बुलाया गया. आरके सिन्हा ने लगभग एक घंटे तक भैया जी जोशी के साथ मीटिंग की. दरअसल, आरके सिन्हा पटना साहिब से टिकट चाहते थे लेकिन उन्हें टिकट ना मिलने से वह नाराज चल रहे थे. पटना साहिब में आरके सिन्हा की अच्छी पकड है. इसको लेकर आरएसएस के तरफ से आरके सिन्हा को मनाने की कोशिश की गई है. हालांकि भैया जी जोशी से मिलने के बाद जब आरके सिन्हा बाहर निकले तो उन्होंने बताया कि भैया जी जोशी ने उन्हें बुलाया था और हम दोनों के बीच काफी बेहतर बातचीत हुई है. सिन्हा ने साफ किया कि उनकी कोई नाराजगी नहीं है. संघ कार्यालय में राजनीतिक बात करने से आरके सिन्हा बचते रहे. आरके सिन्हा के साथ उनके पुत्र और भाजपा चुनाव प्रचार प्रभारी ऋतुराज सिन्हा भी थे.