Ayodhya Verdict: सुन्नी वक्फ बोर्ड पुनर्विचार याचिका नहीं दाखिल करने के रुख पर कायम
By भाषा | Published: November 18, 2019 05:06 AM2019-11-18T05:06:13+5:302019-11-18T05:06:13+5:30
बोर्ड के अध्यक्ष जुफर फारूकी ने कहा कि एआईएमपीएलबी ने भले ही बोर्ड अयोध्या मामले में उच्चतम न्यायालय के निर्णय पर पुनर्विचार याचिका दायर करने का फैसला किया हो, मगर सुन्नी वक्फ बोर्ड ऐसा नहीं करने के अपने रुख पर अब भी कायम है।
अयोध्या मामले में प्रमुख मुस्लिम पक्षकार रहे उत्तर प्रदेश सुन्नी सेंट्रल वक्फ बोर्ड ने रविवार को कहा कि वह ऑल इण्डिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड (एआईएमपीएलबी) के निर्णय के विपरीत मसले पर न्यायालय के फैसले के खिलाफ पुनर्विचार याचिका नहीं दाखिल करेगा।
बोर्ड के अध्यक्ष जुफर फारूकी ने कहा कि एआईएमपीएलबी ने भले ही बोर्ड अयोध्या मामले में उच्चतम न्यायालय के निर्णय पर पुनर्विचार याचिका दायर करने का फैसला किया हो, मगर सुन्नी वक्फ बोर्ड ऐसा नहीं करने के अपने रुख पर अब भी कायम है।
उन्होंने कहा कि जब फैसला आने से पहले ही एआईएमपीएलबी बार-बार कह रहा था कि वह उच्चतम न्यायालय के किसी भी निर्णय को मानेगा तो अब अपील क्यों की जा रही है। फारूकी ने कहा कि जहां तक बाबरी मस्जिद के बदले जमीन लेने का सवाल है तो उस पर वक्फ बोर्ड की आगामी 26 नवम्बर को होने वाली बैठक में ही कोई फैसला किया जाएगा।
गौरतलब है कि एआईएमपीएलबी की वर्किंग कमेटी की आज लखनऊ में हुई आपात बैठक में अयोध्या मामले पर उच्चतम न्यायालय के फैसले के खिलाफ पुनर्विचार याचिका दाखिल करने और बाबरी मस्जिद के बदले किसी और जगह जमीन न लेने का निर्णय लिया गया।
बोर्ड के सचिव जफरयाब जीलानी ने प्रेस कांफ्रेंस में बताया कि अयोध्या मामले पर गत नौ नवम्बर को दिये गये उच्चतम न्यायालय के निर्णय पर पुनर्विचार की याचिका दाखिल की जाएगी। उन्होंने कहा कि बोर्ड की बैठक में यह महसूस किया गया की उच्चतम न्यायालय के फैसले में कई बिंदुओं पर न सिर्फ विरोधाभास है बल्कि यह फैसला समझ से परे और पहली नजर में अनुचित महसूस होता है।