कम से कम आधे न्यायाधीशों को वैकल्पिक दिनों पर मुसीबत में फंसे लोगों की सुनवाई करनी चाहिए : न्यायालय

By भाषा | Published: June 16, 2021 08:30 PM2021-06-16T20:30:57+5:302021-06-16T20:30:57+5:30

At least half the judges should hear people in trouble on alternate days: SC | कम से कम आधे न्यायाधीशों को वैकल्पिक दिनों पर मुसीबत में फंसे लोगों की सुनवाई करनी चाहिए : न्यायालय

कम से कम आधे न्यायाधीशों को वैकल्पिक दिनों पर मुसीबत में फंसे लोगों की सुनवाई करनी चाहिए : न्यायालय

नयी दिल्ली, 16 जून उच्चतम न्यायालय ने कहा है कि नियमित जमानत संबंधी याचिका के सूचीबद्ध नहीं होने से हिरासत में बंद व्यक्ति की स्वतंत्रता प्रभावित होती है। न्यायालय ने इसके साथ ही जोर दिया कि मौजूदा कोविड-19 महामारी के बीच कम से कम आधे न्यायाधीशों को वैकल्पिक दिनों में बैठना चाहिए ताकि संकट में फंसे लोगों की सुनवाई हो सके।

उच्चतम न्यायालय ने पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय में दायर एक जमानत याचिका के एक साल से भी अधिक समय तक सुनवाई के लिए सूचीबद्ध नहीं किए जाने पर “हैरत” जताते हुए कहा कि सुनवाई से इनकार करना किसी आरोपी के अधिकार और स्वतंत्रता का हनन है।

न्यायमूर्ति हेमंत गुप्ता और न्यायमूर्ति वी रामसुब्रमण्यम की अवकाशकालीन पीठ ने कहा कि इस महामारी के दौरान भी, जब सभी अदालतें सभी मामलों की सुनवाई करने और फैसला करने का प्रयास कर रही हैं, जमानत के लिए इस प्रकार के किसी आवेदन के सूचीबद्ध नहीं होने से न्याय मुहैया कराने का मकसद नाकाम होता है।

पीठ ने मंगलवार को पारित अपने आदेश में कहा, “मौजूदा महामारी के बीच, कम से कम आधे न्यायाधीशों को वैकल्पिक दिनों में बैठना चाहिए ताकि संकट में फंसे व्यक्ति की सुनवाई हो सके।”

उच्चतम न्यायालय उस आदेश के खिलाफ एक याचिका पर सुनवाई कर रही थी जिसमें पिछले साल 28 फरवरी से लंबित एक जमानत याचिका पर सुनवाई के अनुरोध को उच्च न्यायालय ने खारिज कर दिया था।

पीठ ने कहा, ‘‘आम तौर पर, हम उच्च न्यायालय द्वारा पारित किसी अंतरिम आदेश में हस्तक्षेप नहीं करते हैं, लेकिन हम यह आदेश पारित करने के लिए विवश हैं क्योंकि हम यह देखकर हैरान हैं कि सीआरपीसी की धारा 439 के तहत जमानत याचिका को एक वर्ष से अधिक समय बाद भी सुनवाई के लिए सूचीबद्ध नहीं किया जा रहा है।

Disclaimer: लोकमत हिन्दी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।

Web Title: At least half the judges should hear people in trouble on alternate days: SC

भारत से जुड़ीहिंदी खबरोंऔर देश दुनिया खबरोंके लिए यहाँ क्लिक करे.यूट्यूब चैनल यहाँ इब करें और देखें हमारा एक्सक्लूसिव वीडियो कंटेंट. सोशल से जुड़ने के लिए हमारा Facebook Pageलाइक करे