इसी महीने 77 वर्ष के हो रहे बीएस येदियुरप्पा, अज्ञात पत्र में की गई सीएम पद से हटाने की मांग
By रोहित कुमार पोरवाल | Published: February 19, 2020 09:59 AM2020-02-19T09:59:30+5:302020-02-19T09:59:30+5:30
बिना हस्ताक्षर के पत्र में बीएस येदियुरप्पा को सीएम पद से हटाने की मांग की गई है। पत्र में मांग की गई है कि येदियुरप्पा को मार्गदर्शक बनाया जाना चाहिए।
कर्नाटक के मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा इसी महीने की 27 तारीख को 77 वर्ष के हो जाएंगे। सोशल मीडिया पर उनकी उम्र और सेहत का हवाला देते हुए एक अज्ञात पत्र वायरल हो रहा है। बिना हस्ताक्षर के पत्र में बीएस येदियुरप्पा को सीएम पद से हटाने की मांग की गई है। पत्र में मांग की गई है कि येदियुरप्पा को मार्गदर्शक बनाया जाना चाहिए।
पार्टी में एक वर्ग येदियुप्पा की सरकार चलाने की क्षमता पर सवाल उठा रहा है। पत्र में हालांकि, येदियुरप्पा की तारीफ भी की गई है। उनके सिर राज्य में पार्टी की कामयाबी की तमगा बांधा गया है। पत्र में कहा गया है, ''उम्र उनकी सेहत पर भारी पड़ रही है। सर्वोत्तम प्रयासों के बावजूद, उनका शरीर उनकी भूमिका की कठोरता का जवाब नहीं दे पा रहा है। उन्हें सक्रिय राजनीति से एक सम्मानजनक निकास दिया जाना चाहिए और एक राज्य का राज्यपाल बनाया जाना चाहिए।''
पत्र में प्रशासन में उनके परिवार के सदस्यों के कथित हस्तक्षेप की बात की गई है और उनके एक बेटे को 'सुपर सीएम' कहा गया है।
पत्र में आरोप लगाया गया है कि शिवानंद सर्कल के पास एक अपार्टमेंट एक शक्ति केंद्र बन गया है। विधायकों, मंत्रियों, अधिकारियों और उद्योगपतियों को येदियुरप्पा द्वारा सुपर सीएम से मिलने का निर्देश दिया जा रहा है।
बता दें कि सोमवार रात को पूर्व मुख्यमंत्री जगदीश शेट्टार के घर पार्टी के कुछ कथित असंतुष्ट विधायकों ने और नेताओं ने मुलाकात की थी। उन्होंने येदियुरप्पा मंत्रिमंडल विस्तार में स्थान नहीं पाने पर नाखुशी जताई थी। सोशल मीडिया पर वायरल पत्र की पृष्ठभूमि इसी मुलाकात से जोड़कर देखी जा रही है।
हालांकि, शेट्टार ने इस बात से इनकार किया है कि बैठक में येदियुरप्पा के बारे में कोई चर्चा हुई। उन्होंने कहा, “मैं एक मंत्री हूं। कई विधायक रोज मुझसे मिलने आते हैं। सोमवार को 4-5 विधायक अपने काम के लिए आए थे। मैंने उनसे बात की और वे चले गए।''
अगली सुबह शेट्टार ने बीएस येदियुरप्पा के घर का रुख किया और स्पष्ट किया कि पार्टी के कुछ वरिष्ठ विधायकों ने उनके निर्वाचन क्षेत्रों में उद्योग मंत्रालय से संबंधित मुद्दों के बारे में उनसे मुलाकात की थी, और कोई असंतुष्ट गतिविधियां नहीं हुईं।
वहीं, दिल्ली में पार्टी के केंद्रीय नेतृत्व ने येदियुरप्पा का दृढ़ता से समर्थन करते हुए कहा कि राज्य में कोई अन्य नेता नहीं है जिसे उनकी तरह जनता का समर्थन प्राप्त हो। बीजेपी के महासचिव पी मुरलीधर राव ने कहा, "येदियुरप्पा या उनकी सरकार को कोई खतरा नहीं है।"