हार्ट अटैक, ब्लड प्रेशर से बचने के लिए आज ही से यह काम शुरू कर दें डायबिटीज के मरीज
By उस्मान | Published: May 27, 2019 04:31 PM2019-05-27T16:31:31+5:302019-05-27T16:31:31+5:30
डायबिटीज के मरीजों हार्ट अटैक और हाई ब्लड प्रेशर जैसी गंभीर बीमारियों का अधिक खतरा होता है। यही वजह है कि उन्हें स्वस्थ रहने के लिए खानपान की विशेष सलाह दी जाती है। हालांकि वजन कम करके इन समस्याओं से छुटकारा पाया जा सकता है।
इस भागदौड़ भरी जिंदगी में लोगों के डायबिटीज, हाई ब्लड प्रेशर, हार्ट अटैक जैसी गंभीर बीमारियों की चपेट में आने का खतरा बढ़ गया है लेकिन कुछ वजन कम करके हम इन रोगों के खतरों को कम कर सकते हैं। शोधकर्ताओं का कहना है कि कुछ वजन घटाकर टाइप 2 डायबिटीज के साथ जीवन व्यतीत करने वाले लोगों में हार्ट अटैक और स्ट्रोक जैसे हृदय रोगों के दीर्घकालिक जोखिम को काफी कम किया जा सकता है।
डायबिटोलॉजी जर्नल में प्रकाशित कैम्ब्रिज विश्वविद्यालय द्वारा किये गए अध्ययन में यह बात सामने आई है। इस अध्ययन में इंग्लैंड के 725 श्वेत, अधिक वजन वाले वयस्क प्रतिभागियों को शामिल किया गया। अध्ययन में पाया गया कि समुचित ढ़ंग से वजन को नियंत्रित करके हार्ट अटैक और स्ट्रोक जैसे हृदय संबंधी रोगों (सीवीडी) के जोखिम को काफी कम किया जा सकता है।
ब्रिटेन में कैम्ब्रिज विश्वविद्यालय में पोस्टडॉक्टोरल सदस्य जीन स्ट्रेलित्ज़ के अनुसार, ‘हमारे अध्ययन में, हमने देखा कि टाइप 2 डायबिटीज से पीड़ित कम से कम पांच प्रतिशत वजन कम करने वाले लोगों में अपना वजन बरकरार रखने वाले लोगों की तुलना में सीवीडी का 48 प्रतिशत कम खतरा था।’
शोध में हिस्सा लेने वाले लोगों का वजन डायबिटीज का पता लगने के दौरान और फिर उसके एक वर्ष बाद मापा गया। स्ट्रेलित्ज़ ने आगाह किया कि अध्ययन से यह संकेत नहीं मिलता है कि जीवनशैली में बदलाव सीवीडी के इलाज या रोकथाम के लिए मधुमेह रोगियों द्वारा ली जाने वाली दवाओं की जगह ले सकते हैं।
उन्होंने कहा, ‘हमारे अध्ययन में ऐसा कोई सबूत नहीं मिलता है कि जीवनशैली में बदलाव मधुमेह की दवाओं का स्थान ले सकते हैं।’
स्ट्रेलित्ज ने बताया, ‘हालांकि हमारे शोध से पता चलता है कि टाइप 2 डायबिटीज से पीड़ित लोगों को डायबिटीज के निदान के बाद सीवीडी का दीर्घकालीन खतरा कम करने में वजन कम करने से कुछ फायदा हो सकता हैं।