Highlightsयुवराज ने कहा, 'करियर के आखिरी दिनों में बीसीसीआई का मुझे संभालने का तरीका अनप्रोफेशनल था'हरभजन, सहवाग और जहीर खान जैसे कुछ महान खिलाड़ियों को भी बहुत ही खराब ढंग से संभाला गया: युवराज
पूर्व भारतीय ऑलराउंडर युवराज सिंह ने अपने करियर के आखिरी दिनों के बारे बात करते हुए कहा कि वह बीसीसीआई से विदाई तो नहीं चाहते थे लेकिन थोड़े ज्यादा सम्मान के हकदार थे।
भारत के लिए आखिर बार 2017 में खेलने वाले युवराज सिंह ने जून 2019 में क्रिकेट के सभी फॉर्मेट से संन्यास ले लिया था।
नेटवर्क 18 की रिपोर्ट के मुताबिक, युवराज ने स्पोर्ट्सकीड़ा से बातचीत में कहा, पहली बात, मुझे नहीं लगता कि मैं लेजेंड हूं। मैंने खेल को सम्मान के साथ खेला लेकिन मैं बहुत ज्यादा टेस्ट क्रिकेट नहीं खेला। लेजेंडरी खिलाड़ी वे होते हैं, जिनका टेस्ट रिकॉर्ड अच्छा होता है। किसी को विदाई देने का फैसला मैं नहीं कर सकता, इसका फैसला बीसीसीआई करता है।
युवराज ने कहा, करियर के आखिरी दिनों में बीसीसीआई ने नहीं किया अच्छा व्यवहार
युवराज ने कहा कि बीसीसीआई खिलाड़ियों को उनके करियर के आखिरी दौर में जिस तरह संभालता है वह बहुत ही गैरपेशेवराना है।
युवराज ने कहा, 'मुझे लगा कि मेरे करियर के अंत में जिस तरह मुझे संभाला गया वह बहुत ही अनप्रोफेशनल था। पीछे मुड़कर देखने पर लगता है कि हरभजन, सहवाग और जहीर खान जैसे कुछ महान खिलाड़ियों को भी बहुत ही खराब ढंग से संभाला गया। तो ये भारतीय क्रिकेट का हिस्सा है। मैंने इसे अतीत में देखा था और मैं बहुत हैरान नहीं था।'
युवी ने कहा, सहवाग, गंभीर, जहीर सबके साथ हुआ खराब व्यवहार
युवी ने कहा कि लेकिन भविष्य में भारत के लिए लंबे समय तक खेलने वाले और मुश्किल वक्त से गुजरने वाले खिलाड़ी को आपको निश्चित तौर पर सम्मानित करना चाहिए।
युवी ने कहा, 'उन्हें वह सम्मान दीजिए, जैसे गौतम गंभीर, जिन्होंने हमारे लिए दो वर्ल्ड कप जीते। सहवाग, टेस्ट में सुनील गावस्कर के बाद से सबसे बड़े मैच विजेता रहे। वीवीएस, जहीर भी।'
युवराज ने अपने करियर में भारत के लिए 304 वनडे, 58 टी20 और 40 टेस्ट मैच खेले। उन्हें भारतीय क्रिकेट इतिहास में सफेद गेंद के सबसे कामयाब खिलाड़ियों में गिना जाएगा।