किरण मोरे ने कहा, 'सुनील गावस्कर नेट्स में सबसे खराब बल्लेबाजों में से थे, पर मैच में एकदम बदल जाता था अंदाज'

Sunil Gavaskar, Kiran More: पूर्व विकेटकीपर किरण मोरे ने खुलासा किया है कि सुनील गावस्कर उनके द्वारा नेट्स में देखे गए सबसे खराब बल्लेबाजों में एक थे, लेकिन मैच में वह छा जाते थे

By अभिषेक पाण्डेय | Published: July 4, 2020 03:08 PM2020-07-04T15:08:42+5:302020-07-04T15:20:54+5:30

Sunil Gavaskar was one of the worst players I’ve ever seen in the nets, Says Kiran More | किरण मोरे ने कहा, 'सुनील गावस्कर नेट्स में सबसे खराब बल्लेबाजों में से थे, पर मैच में एकदम बदल जाता था अंदाज'

किरण मोरे ने कहा कि गावस्कर का नेट्स और मैदान में बैटिंग का अंदाज एकदम अलग था (Twitter)

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Highlightsसुनील गावस्कर टेस्ट इतिहास में 10 हजार रन बनाने वाले पहले बल्लेबाज हैं, जड़े 34 शतककिरण मोरे ने कहा कि नेट्स में गावस्कर बेहद खराब खेलते थे लेकिन मैदान में बदल जाता था अंदाज

पूर्व भारतीय विकेटकीपर किरण मोरे ने सुनील गावस्कर की महानता पर जोर देते हुए भारतीय टीम के पूर्व बल्लेबाज के मैच और नेट्स में एकदम उलट प्रदर्शन पर हैरानी जताई। गावस्कर टेस्ट क्रिकेट में 10 हजार रन बनाने वाले पहले बल्लेबाज थे। क्रिकेट इतिहास के महानतम बल्लेबाजों में शामिल गावस्कर ने 125 मैचों में 10,122 रन बनाए और 34 शतक जड़े।

हालांकि, गावस्कर के साथ करीब चार साल तक खेले मोरे ने इस बात पर हैरानी जताई कि कैसे ये बल्लेबाज नेट्स में संघर्ष करने के बावजूद मैदान पर रनों का अंबार लगाता था।

मोरे ने कहा, 'नेट्स में सबसे खराब बल्लेबाजों में से एक थे गावस्कर'

एचटी की रिपोर्ट के मुताबिक मोरे ने द ग्रेटेस्ट राइवलरी पॉडकास्ट में कहा, 'वह मेरे द्वारा नेट्स में देखे गए सबसे खराब खिलाड़ियों में से एक थे। उन्हें नेट्स में प्रैक्टिस करना कभी पसंद नहीं था। जब आप उन्हें नेट्स में प्रैक्टिस करते हुए देखते थे और वह जब किसी टेस्ट मैच में बैटिंग के लिए जाते थे तो ये 99.9 फीसदी अलग होता था। जब आप उन्हें नेट्स में बैटिंग करते हुए देखते तो लगता था कि 'वह रन कैसे बनाएंगे?' और अगले दिन सुबह जब आप उन्हें देखते थे तो वह 'वाऊ' होता था।' 

गावस्कर को बड़े स्कोर बनाने और उनकी शानदार एकाग्रता के लिए जाना जाता है। क्रिकेट इतिहास के महानतम और सबसे सफल बल्लेबाजों में शुमार गावस्कर ने दुनिया के सबसे घातक गेंदबाजी आक्रमण का सामना किया, जिसमें वेस्टइंडीज का फेमस तेज गेंदबाजी आक्रमण और ऑस्ट्रेलियाई तेज गेंदबाजों डेनिस डिली और ज्यॉफ थॉमसन की खतरनाक गेंदबाजी जोड़ी शामिल थी, खास बात ये है कि गावस्कर ने अपने करियर के ज्यादातर समय इन तेज गेंदबाजों का सामना बिना हेलमेट के किया, जो उन्हें और खास बनाता है।  

<a href='https://www.lokmatnews.in/topics/sunil-gavaskar/'>सुनील गावस्कर</a> ने 10 हजार से ज्यादा टेस्ट रन और 34 शतक बनाए (File Photo)
सुनील गावस्कर ने 10 हजार से ज्यादा टेस्ट रन और 34 शतक बनाए (File Photo)

पूर्व भारतीय विकेटकीपर ने कहा, 'सुनील गावस्कर को ईश्वर से मिला सर्वश्रेष्ठ तोहफा उनकी एकाग्रता है। उनके पास जो एकाग्रता थी वह अविश्वसनीय थी। एक बार जब वह उस जोन में होते थे, तो कोई भी उनके करीब नहीं जा सकता था या वह किसी को सुनते नहीं थे। अगर आप उनके बगल में ही बात कर रहे हों या डांस कर रहे हों, वह अपने ही जोन में रहेंगे और अपने क्रिकेट पर ध्यान देंगे।'

मोरे ने बताया कैसे घरेलू मैच में आउट होने पर भड़क गए थे गावस्कर

गावस्कर के साथ खेले एक घरेलू मैच को याद करते हुए, मुंबई के पूर्व विकेटकीपर मोरे ने बताया कि कैसे एक बार 50 से कम स्कोर पर आउट होने के बाद ड्रेसिंग रूम लौटने पर गावस्कर बड़ा स्कोर नहीं बना पाने के लिए खुद पर नाराज हुए थे।

मोरे ने कहा, 'सुनील बहुत अनुशासित थे। मुझे याद है कि जब मैं भारतीय टीम में आया था, तो हमने वेस्ट जोन के लिए एक साथ कई घरेलू मैच खेले थे। मुझे याद है कि वानखेड़े में एक टेस्ट मैच और सुनील लगभग 40 या 30 रन पर आउट हो गए थे। और जब वह वापस आए, तो ड्रेसिंग रूम में कोई नहीं था। हर कोई इधर-उधर भाग रहा था, वे कोने में छिपने की कोशिश कर रहे थे, 'सुनील गावस्कर को भगवान द्वारा दिया गया गिफ्ट उनकी एकाग्रता है। उनके पास एकाग्रता का स्तर अविश्वसनीय था।'

मोरे ने कहा, 'वह ड्रेसिंग रूम के अंदर आए और अपने ग्लव्स फेंक दिए, वह बहुत नाराज थे क्योंकि वह 30-40 पर आउट हो गए थे। उन्हें ये कभी पसंद नहीं आता था। अगर वह डक या पांच या 10 रन पर आउट हो जाते थे, तो उनके लिए ठीक होता था, लेकिन अगर वह एक घंटे बैटिंग के बाद आउट हो जाते थे तो उन्हें ये नापसंद था। 'मैं कैसे आउट हो सकता हूं?' लेकिन ड्रेसिंग रूम में वह बेहद सम्मानित थे।'

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