एमएस धोनी को आईसीसी वर्ल्ड कप 2019 सेमीफाइनल में न्यूजीलैंड के खिलाफ सातवें नंबर पर बैटिंग के लिए उतारने के फैसले पर टीम इंडिया के कोच रवि शास्त्री ने सफाई दी है।
धोनी ने इस मैच में 72 गेंदों में 50 रन बनाए थे, लेकिन भारत की खराब शुरुआत के बाद उन्हें पंत, पंड्या और कार्तिक जैसे बल्लेबाजों से नीचे खिलाने के टीम मैनेजमेंट के फैसले की कड़ी आलोचना हुई थी।
शास्त्री ने बताया धोनी को नंबर 7 पर खिलाने की वजह
धोनी को सातवें नंबर पर उतारने के फैसले पर कोच शास्त्री ने कहा है कि वे नहीं चाहते थे कि धोनी जल्दी उतरे और अपना विकेट गंवाएं, क्योंकि ऐसा होने पर भारतीय टीम के लक्ष्य को हासिल करने की उम्मीदें खत्म हो जातीं।
शास्त्री ने भारतीय टीम की हार के एक दिन बाद इंडियन एक्सप्रेस से कहा, 'ये टीम का फैसला था। हर कोई इसमें शामिल था-और ये आसान फैसला भी था। आखिरी चीज जो आप चाहते हैं वह ये है कि धोनी जल्दी बैटिंग के लिए आएं और आउट हो जाएं-इससे चेज की संभावनाएं खत्म हो जातीं।'
भारतीय कोच ने कहा, 'हमें बाद में उनके अनुभव की जरूरत थी। वह सर्वकालिक महानतम फिनिशरों में से एक हैं-और उनका उस तरह से उपयोग अपराध होता। पूरी टीम इस बात को लेकर स्पष्ट थी।'
टीम इंडिया के प्रदर्शन की कोच रवि शास्त्री ने की तारीफ
शास्त्री ने भारतीय टीम के प्रदर्शन पर कहा, 'अपना सिर ऊंचा करके चलो। हमें गर्व है। वे 30 मिनट इस बात को नहीं मिटा सकते कि पिछले कुछ सालों में आप लोग (टीम इंडिया) सर्वश्रेष्ठ टीम रहे हो। आप लोग इसे जानते हैं। एक टूर्नामेंट-एक सीरीज-और वह भी 30 मिनट का खेल फैसला नहीं कर सकता। आप लोगों ने ये सम्मान कमाया है। हां, हम सब निराश हैं और दुखी हैं, लेकिन अंत में इस बात पर गर्व कीजिए, जो पिछले दो सालों में आपने किया है।'
भारतीय कोच ने माना कि भारत मिडिल ऑर्डर में एक बेहतरीन बल्लेबाज खोजने में असफल रहा और शिखर धवन और विजय शंकर की चोट ने चीजों को मुश्किल बना दिया।
शास्त्री ने कहा, 'संक्षेप में कहूं, हमें मिडिल ऑर्डर में एक मजबूत बल्लेबाज की जरूरत थी। लेकिन अब, ये भविष्य की बात है। ये एक स्थान (चौथा नंबर) है, जो हमें हमेशा परेशान करता रहा, लेकिन हम इसका समाधान नहीं खोज पाए। केएल राहुल वहां थे लेकिन शिखर धवन चोटिल हो गए। विजय शंकर वहां थे, वह चोटिल हो गए। हम इन चीजों को नियंत्रित नहीं कर सकते।