नई दिल्ली: क्रिकेट के सभी फॉर्मेट से हाल में संन्यास की घोषणा कर चुके गौतम गंभीर ने खुलासा किया है कि उनकी नजर में अनिल कुंबले सबसे सर्वश्रेष्ठ कप्तान रहे जिनकी कप्तानी में वे खेले हैं। सौरव गांगुली की कप्तानी में 2003 में डेब्यू करने वाले गंभीर ने रणजी ट्रॉफी में दिल्ली की ओर से आंध्र के खिलाफ अपना आखिरी मैच खेला।
कुंबले को राहुल द्रविड़ की कप्तानी छोड़ने के बाद साल 2007 के आखिर में भारतीय टेस्ट टीम की कमान सौंपी गई। इसके साथ ही कुंबले दुनिया के पहले ऐसे लेग स्पिन गेंदबाज बने जिन्हें कप्तानी की जिम्मेदारी सौंपी गई। कुंबले की कप्तानी में इसके बाद भारत ने सात टेस्ट मैच खेले। इसमें एक में टीम को जीत मिली जबकि पांच ड्रॉ रहे। वहीं, विदेश में सात मैचों में भारत ने दो जीते जबकि चार में उसे हार मिली।
इंडिया टुडे के अनुसार गंभीर ने कहा, 'एक कप्तान होने और लीडर होने में अंतर हैं। मैंने अपने करियर में कई कप्तानों के नेतृत्व में खेला है। मैंने सबसे निस्वार्थ और ईमानदार शख्स के नेतृत्व में खेला है। मुझसे पूछा जाता रहा है कि सर्वश्रेष्ठ कप्तान कौन है जिसके साथ मैं खेला हूं और मैं कह सकता हूं कि केवल एक लीडर था और वे अनिल कुंबले हैं। मुझे लगता है कि मैंने उनसे बहुत कुछ सीखा है।'
गंभीर ने आगे कहा, 'मैंने उनके नेतृत्व में पांच टेस्ट खेले हैं। मैंने श्रीलंका में वापसी की जहां मेंडिस और मुरली जैसे खिलाड़ी थे और फिर मैंने घर पर (भारत में) बॉर्डर-गावस्कर सीरीज खेली। मैंने नेतृत्व को लेकर उनसे काफी कुछ सीखा। वह जिस तरह निस्वार्थ रहे हैं और अपने क्रिकेट को लेकर ईमानदार रहे, मुझे लगता है कि आज संन्यास के बाद मैं कह सकता हूं वे सर्वश्रेष्ठ कप्तान रहे जिनके नेतृत्व में मैं खेला।'