बैंक ऑफ बड़ौदा, विजया बैंक और देना बैंक के विलय से बनने वाला नया बैंक जानें कब से होगा शुरू
By पल्लवी कुमारी | Published: September 19, 2018 05:13 AM2018-09-19T05:13:04+5:302018-09-19T05:13:04+5:30
वित्त मंत्री अरुण जेटली की अध्यक्षता वाली ‘‘वैकल्पिक व्यवस्था’’ ने सोमवार को तीन बैंकों को मिलाने निर्णय लिया। इस फैसले से एक बड़ा बैंक अस्तित्व में आयेगा जो कि मजबूत होगा।
नई दिल्ली, 18 सितंबर: नरेन्द्र मोदी सरकार ने बैंक ऑफ बड़ौदा, विजया बैंक और देना बैंक का विलय करने का फैसला लिया है। सार्वजनिक क्षेत्र के तीन बैंकों- बैंक ऑफ बड़ौदा, विजया बैंक और देना बैंक के विलय से बनाने वाला नया बैंक अगले वित्त वर्ष की शुरुआत में काम करने लगेगा। इस बात की जानाकारी केन्द्र सरकार के सूत्रों द्वारा मिली है।
सूत्रों के मुताबिक, तीनों बैंक विलय प्रक्रिया तय सीमा में निपटाएंगे और वित्त वर्ष 2018-19 के अंत तक सभी जरूरी नियामकीय प्रक्रिया पूरी होने की उम्मीद है। उन्होंने कहा कि एक अप्रैल 2019 से नया बैंक चालू हो जाना चाहिये। उनके अनुसार बैंकों के निदेशक मंडलों की इसी माह बैठकें होंगी।
जिसमें एकीकरण की योजना बनायी जायेगी और शेयर अदला-बदली अनुपात और प्रवर्तकों की तरफ से पूंजी की आवश्यकता समेत विभिन्न ब्योरे तय किए जाएंगे। पिछले साल सरकार ने देश के सबसे बड़े बैंक भारतीय स्टेट बैंक में उसके पांच सहयोगी बैंकों और भारतीय महिला बैंक का विलय किया था। इसके बाद स्टेट बैंक दुनिया के शीर्ष 50 बैंकों में शामिल हो गया।
वित्त मंत्री अरुण जेटली की अध्यक्षता वाली ‘‘वैकल्पिक व्यवस्था’’ ने सोमवार को तीन बैंकों को मिलाने निर्णय लिया। इस फैसले से एक बड़ा बैंक अस्तित्व में आयेगा जो कि मजबूत होगा। जेटली ने कहा, 'पिछले कुछ सालों से सार्वजनिक बैंक चुनौतियों का सामना कर रहे हैं। 2008 से 2014 के दौरान अकूत लोन बांटे गए। मानों जैसे कल वापस करना ही नहीं होगा। इससे इकोनॉमी में अवरोध पैदा हुआ है।' उन्होंने कहा कि एनपीए का खेल पर्दे के पीछे हुआ इसलिए उस वक्त सही तस्वीर लोगों के सामने नहीं आई।
(समाचार एजेंसी भाषा इनपुट)